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नई शिक्षा नीति लागू करने में पहल करेगा हिमाचलः शिक्षा मंत्री गोविंद ठाकुर - हिमाचल में नई शिक्षा नीति

शिक्षा मंत्री गोविंद सिंह ठाकुर ने उच्चत्तर शिक्षा विभाग की समीक्षा बैठक के दौरान राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 को लागू करने में प्रदेश सरकार द्वारा की जा रही पहल पर बल दिया. गोविन्द सिंह ठाकुर ने कहा कि हिमाचल प्रदेश ने सदैव शिक्षा के क्षेत्र में उत्कृष्ट कार्य किया है और राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 को लागू करने में हिमाचल प्रदेश देशभर में बेहतरीन कार्य करेगा.

govind thakur
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Published : Aug 17, 2020, 10:38 PM IST

शिमला: शिक्षा मंत्री गोविंद सिंह ठाकुर ने उच्चत्तर शिक्षा विभाग की समीक्षा बैठक के दौरान राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 को लागू करने में प्रदेश सरकार द्वारा की जा रही पहल पर बल दिया.

गोविन्द सिंह ठाकुर ने कहा कि हिमाचल प्रदेश ने सदैव शिक्षा के क्षेत्र में उत्कृष्ट कार्य किया है और राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 को लागू करने में हिमाचल प्रदेश देशभर में बेहतरीन कार्य करेगा. उच्च शिक्षा क्षेत्र में प्रदेश में लगातार प्रगति हो रही है.

हिमाचल प्रदेश को मिला बेस्ट प्रर्फोमिंग अवाॅर्ड इन एजुकेशन 2019

हिमाचल प्रदेश में 1872 राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक पाठशालाएं, 929 राजकीय उच्चत्तर पाठशालाएं, 1511 निजी वरिष्ठ माध्यमिक तथा उच्चत्तर पाठशालाएं, 129 राजकीय डिग्री काॅलेज, चार राजकीय बीएड काॅलेज, 71 निजी बीएड काॅलेज, 54 निजी काॅलेज और 17 निजी विश्वविद्यालय विद्यमान हैं. प्रदेश को बेस्ट प्रर्फोमिंग अवाॅर्ड इन एजुकेशन-2019 और नेशनल स्काॅच अवाॅर्ड फोर क्वालिटी एजुकेशन-2019 से भी नवाजा गया है.

शिक्षा मंत्री ने कहा कि वर्तमान कार्यकाल के दौरान प्रदेश के काॅलेजों में कुल 348597 विद्यार्थियों ने नामांकन करवाया. प्रदेश में वर्ष 2018-19 में माध्यमिक स्तर (10वीं) पर सकल नामांकन अनुपात 107.74 प्रतिशत रहा जबकि उच्चत्तर माध्यमिक स्तर (12वीं) पर यह अनुपात 85 प्रतिशत रहा.

2020-21 के लिए 3671.95 करोड़ रुपये का शिक्षा बजट

प्रदेश में वर्ष 2018-19 में माध्यमिक स्तर पर छात्र-शिक्षक अनुपात 13.9 प्रतिशत रहा जबकि वरिष्ठ माध्यमिक स्तर पर यह अनुपात 10.49 प्रतिशत रहा. विभाग द्वारा वर्ष 2019-20 में 2962.60 करोड़ रुपये व्यय किए हैं और वर्ष 2020-21 के लिए 3671.95 करोड़ रुपये का बजट प्रावधान किया गया है. प्रदेश में विभाग द्वारा आवंटित 1171 निर्माण कार्य पूर्ण हो चुके हैं जबकि 314 कार्य प्रगति पर हैं.

गोविन्द सिंह ठाकुर ने कहा कि प्रदेश में राष्ट्रीय उच्चत्तर शिक्षा अभियान-2 (रूसा) के तहत केन्द्र सरकार द्वारा 92 करोड़ रुपये स्वीकृत किए गए हैं. प्रदेश में सरदार वल्लभभाई पटेल कलस्टर विश्वविद्यालय मंडी के लिए 55 करोड़ रुपये स्वीकृत किए गए हैं.

ग्लोबल इन्वेस्टर मीट-2019 शिक्षा क्षेत्र में खर्च होंगे 1468 करोड़

रूसा के तहत विभिन्न काॅलेजों में जिम, एम्फीथियेटर, सोलर ऊर्जा प्लांट, वाद्य यंत्र, विज्ञान, भाषा और आईटी प्रयोगशालाएं, विभिन्न उपकरण, पुस्तकालय आदि सुविधाएं प्रदान की जा रही हैं. प्रदेश में ग्लोबल इन्वेस्टर मीट-2019 के तहत शिक्षा विभाग ने 1468 करोड़ रुपये के निवेश के 45 समझौता ज्ञापन हस्ताक्षरित किए, जिनमें से 344.50 करोड़ रुपये के निवेश की नौ परियोजनाओं पर कार्य आरम्भ हो चुका है.

छात्रवृति योजनाओं के तहत 25249 विद्यार्थियों पर 8.80 करोड़ खर्च

शिक्षा सचिव राजीव शर्मा ने बैठक के दौरान बताया कि वर्ष 2018-19 में विभिन्न केन्द्र प्रायोजित छात्रवृति योजनाओं के तहत 25249 विद्यार्थियों पर 8.80 करोड़ रुपये खर्च किए गए जबकि विभिन्न राज्यों प्रायोजित छात्रवृति योजनाओं के तहत 38312 विद्यार्थियों पर 12.21 करोड़ रुपये खर्च किए गए.

वर्ष 2019-20 में 1,03,134 विद्यार्थियों को निःशुल्क पाठ्यक्रम पुस्तकें वितरित की गई जिस पर 11.89 करोड़ रुपये खर्च किए गए. अटल स्कूल वर्दी योजना के तहत वर्ष 2019-20 में 1,59,509 विद्यार्थियों को निःशुल्क वर्दी वितरित की गई जिस पर 13.05 करोड़ रुपये खर्च किए गए. वर्ष 2019-20 में राष्ट्रीय सेवा योजना (एनएसएस) की गतिविधियों के लिए 2.33 करोड़ रुपये जारी किए गए.

निदेशक उच्चत्तर शिक्षा डाॅ. अमरजीत शर्मा ने इस अवसर पर शिक्षा मंत्री का स्वागत किया. प्रदेश में 12 काॅलेजों में बी. वोकेशनल डिग्री कोर्स करवाया जा रहा है, जिससे विद्यार्थियों को रोजगार उन्मुख शिक्षा प्रदान की जा रही है. इसके अतिरिक्त विद्यार्थियों को नशा निवारण सड़क सुरक्षा, आपदा प्रबन्धन आदि महत्वपूर्ण विषयों के बारे में भी जागरूक किया जा रहा है.

पढ़ें: किसी भी SMC अध्यापक नहीं निकालेगी सरकार, कानूनी सलाह के बाद निर्णय लेगी सरकार

शिमला: शिक्षा मंत्री गोविंद सिंह ठाकुर ने उच्चत्तर शिक्षा विभाग की समीक्षा बैठक के दौरान राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 को लागू करने में प्रदेश सरकार द्वारा की जा रही पहल पर बल दिया.

गोविन्द सिंह ठाकुर ने कहा कि हिमाचल प्रदेश ने सदैव शिक्षा के क्षेत्र में उत्कृष्ट कार्य किया है और राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 को लागू करने में हिमाचल प्रदेश देशभर में बेहतरीन कार्य करेगा. उच्च शिक्षा क्षेत्र में प्रदेश में लगातार प्रगति हो रही है.

हिमाचल प्रदेश को मिला बेस्ट प्रर्फोमिंग अवाॅर्ड इन एजुकेशन 2019

हिमाचल प्रदेश में 1872 राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक पाठशालाएं, 929 राजकीय उच्चत्तर पाठशालाएं, 1511 निजी वरिष्ठ माध्यमिक तथा उच्चत्तर पाठशालाएं, 129 राजकीय डिग्री काॅलेज, चार राजकीय बीएड काॅलेज, 71 निजी बीएड काॅलेज, 54 निजी काॅलेज और 17 निजी विश्वविद्यालय विद्यमान हैं. प्रदेश को बेस्ट प्रर्फोमिंग अवाॅर्ड इन एजुकेशन-2019 और नेशनल स्काॅच अवाॅर्ड फोर क्वालिटी एजुकेशन-2019 से भी नवाजा गया है.

शिक्षा मंत्री ने कहा कि वर्तमान कार्यकाल के दौरान प्रदेश के काॅलेजों में कुल 348597 विद्यार्थियों ने नामांकन करवाया. प्रदेश में वर्ष 2018-19 में माध्यमिक स्तर (10वीं) पर सकल नामांकन अनुपात 107.74 प्रतिशत रहा जबकि उच्चत्तर माध्यमिक स्तर (12वीं) पर यह अनुपात 85 प्रतिशत रहा.

2020-21 के लिए 3671.95 करोड़ रुपये का शिक्षा बजट

प्रदेश में वर्ष 2018-19 में माध्यमिक स्तर पर छात्र-शिक्षक अनुपात 13.9 प्रतिशत रहा जबकि वरिष्ठ माध्यमिक स्तर पर यह अनुपात 10.49 प्रतिशत रहा. विभाग द्वारा वर्ष 2019-20 में 2962.60 करोड़ रुपये व्यय किए हैं और वर्ष 2020-21 के लिए 3671.95 करोड़ रुपये का बजट प्रावधान किया गया है. प्रदेश में विभाग द्वारा आवंटित 1171 निर्माण कार्य पूर्ण हो चुके हैं जबकि 314 कार्य प्रगति पर हैं.

गोविन्द सिंह ठाकुर ने कहा कि प्रदेश में राष्ट्रीय उच्चत्तर शिक्षा अभियान-2 (रूसा) के तहत केन्द्र सरकार द्वारा 92 करोड़ रुपये स्वीकृत किए गए हैं. प्रदेश में सरदार वल्लभभाई पटेल कलस्टर विश्वविद्यालय मंडी के लिए 55 करोड़ रुपये स्वीकृत किए गए हैं.

ग्लोबल इन्वेस्टर मीट-2019 शिक्षा क्षेत्र में खर्च होंगे 1468 करोड़

रूसा के तहत विभिन्न काॅलेजों में जिम, एम्फीथियेटर, सोलर ऊर्जा प्लांट, वाद्य यंत्र, विज्ञान, भाषा और आईटी प्रयोगशालाएं, विभिन्न उपकरण, पुस्तकालय आदि सुविधाएं प्रदान की जा रही हैं. प्रदेश में ग्लोबल इन्वेस्टर मीट-2019 के तहत शिक्षा विभाग ने 1468 करोड़ रुपये के निवेश के 45 समझौता ज्ञापन हस्ताक्षरित किए, जिनमें से 344.50 करोड़ रुपये के निवेश की नौ परियोजनाओं पर कार्य आरम्भ हो चुका है.

छात्रवृति योजनाओं के तहत 25249 विद्यार्थियों पर 8.80 करोड़ खर्च

शिक्षा सचिव राजीव शर्मा ने बैठक के दौरान बताया कि वर्ष 2018-19 में विभिन्न केन्द्र प्रायोजित छात्रवृति योजनाओं के तहत 25249 विद्यार्थियों पर 8.80 करोड़ रुपये खर्च किए गए जबकि विभिन्न राज्यों प्रायोजित छात्रवृति योजनाओं के तहत 38312 विद्यार्थियों पर 12.21 करोड़ रुपये खर्च किए गए.

वर्ष 2019-20 में 1,03,134 विद्यार्थियों को निःशुल्क पाठ्यक्रम पुस्तकें वितरित की गई जिस पर 11.89 करोड़ रुपये खर्च किए गए. अटल स्कूल वर्दी योजना के तहत वर्ष 2019-20 में 1,59,509 विद्यार्थियों को निःशुल्क वर्दी वितरित की गई जिस पर 13.05 करोड़ रुपये खर्च किए गए. वर्ष 2019-20 में राष्ट्रीय सेवा योजना (एनएसएस) की गतिविधियों के लिए 2.33 करोड़ रुपये जारी किए गए.

निदेशक उच्चत्तर शिक्षा डाॅ. अमरजीत शर्मा ने इस अवसर पर शिक्षा मंत्री का स्वागत किया. प्रदेश में 12 काॅलेजों में बी. वोकेशनल डिग्री कोर्स करवाया जा रहा है, जिससे विद्यार्थियों को रोजगार उन्मुख शिक्षा प्रदान की जा रही है. इसके अतिरिक्त विद्यार्थियों को नशा निवारण सड़क सुरक्षा, आपदा प्रबन्धन आदि महत्वपूर्ण विषयों के बारे में भी जागरूक किया जा रहा है.

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