शिमलाः ईडी ने टेक्नोमैक कंपनी से संबंधित मामले में प्रिवेंशन ऑफ मनी लांड्रिंग एक्ट के तहत शिमला की स्पेशल अदालत में चार्जशीट दायर की है. इसमें कंपनी के मालिक राकेश शर्मा, निदेशक विनय कुमार समेत 14 लोगों को आरोपी बनाया गया है. इन सभी पर 407.13 करोड़ के लोन को गलत तरीके से डायवर्ट कर शैल कंपनियों में लगाने और इसी पैसे का इस्तेमाल करने के आरोप हैं.
मामले की जांच पूरी
आरोपी ने अपनी कंपनी में फर्जी तरीके से प्रोडक्शन दिखाकर राजस्व में भारी बढ़ौतरी दर्शाई. सीआईडी के बाद अब ईडी ने इस मामले की जांच पूरी कर ली है और इसकी चार्जशीट कोर्ट में दायर की है. इसके बाद अब कंपनी के मालिक समेत 14 आरोपितों पर मुकद्दमा चल सकेगा.
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टेक्नोमैक मामले में मनी लांड्रिंग का केस
ईडी ने सीआईडी के केस के आधार पर टेक्नोमैक मामले में मनी लांड्रिंग का केस दर्ज किया था. हालांकि कंपनी का मालिक एवं प्रबंध निदेशक राकेश शर्मा अभी दुबई में हैं. स्टेट सीआईडी ने आरोपी राकेश शर्मा को भारत प्रत्यर्पित करने के लिए सीबीआई के माध्यम से प्रक्रिया शुरू की है. सीआईडी टैक्नोमेक कंपनी के खिलाफ भी केस दर्ज कर अदालत में चालान पेश कर चुकी है.
राज्य सरकार को 2200 करोड़ रुपए का चूना
उल्लेखनीय है कि पांवटा साहिब स्थित इंडियन टैक्नोमेक कंपनी द्वारा राज्य सरकार को टैक्स के रुप में ही करीब 2200 करोड़ रुपए का चूना लगाया है. इसके अलावा कंपनी ने बैंक से करोड़ों का लोन लिया. इस तरह करीब छह हजार करोड़ के फर्जीवाड़े को कंपनी ने अंजाम दिया था.
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