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15 सौ मीटर और बढ़ी 2 टनलों की लंबाई, 240 करोड़ अतिरिक्त बजट के लिए केंद्र से अप्रूवल का इंतजार - Himachal latest news

एनएचएआई मंडी कार्यालय के प्रोजेक्ट डायरेक्टर नवीन मिश्रा ने बताया कि कीतरपुर-मनाली फोरलेन में पंडोह से लेकर औट तक बन रही 10 टनलों में से 2 टनलों में प्रत्येक की लंबाई 2.1 किमी बढ़ी है. इसके लिए 240 करोड़ के अतिरिक्त धन की आवश्यकता है. इसकी प्रोजेक्ट रिपोर्ट बनाकर दिल्ली भेज दी गई है. मंजूरी मिलते ही कार्य शुरू कर दिया जाएगा.

Work of Kitarpur-Manali Fourlane Tunnel halted of Mandi
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Published : Mar 24, 2021, 1:43 PM IST

मंडीः कीतरपुर-मनाली फोरलेन में पंडोह से लेकर औट तक बन रही 10 टनलों के 2600 करोड़ के प्रोजेक्ट के सर्वे में गड़बड़ी के कारण 2 टनलों की लंबाई बढ़ने के बाद भी 240 करोड़ की अधिक राशि की जरूरत आन पड़ी है. सामरिक दृष्टि से महत्वपूर्ण इस प्रोजेक्ट की फाइल अब दोबारा से दिल्ली दरबार में घूम रही है, जहां से अप्रूवल का इंतजार किया जा रहा है.

मिली जानकारी के अनुसार पंडोह से औट तक जो 10 टनलें बन रही हैं. उसकी सबसे पहली टनल के सर्वे में गड़बड़ी पाई गई है. पहले जो सर्वे किया गया था उसके हिसाब से डयोड के पास से बनने वाली 2 टनलों में प्रत्येक की लंबाई 2.1 किमी थी, लेकिन जब यहां पर काम शुरू हुआ तो पाया गया कि सर्वे सही नहीं हुआ है. इसलिए दोबारा से सर्वे किया गया तो टनलों की लंबाई में 700 से 800 मीटर का इजाफा हो गया.

1500 मीटर बढ़ी दोनों टनल की लंबाई

दोनों टनलों की लंबाई में 1500 मीटर की बढ़ोतरी दर्ज की गई. इस कारण अतिरिक्त कार्य बढ़ गया और अब इस कार्य को पूरा करने के लिए 240 करोड़ के अतिरिक्त बजट की जरूरत आन पड़ी है. ऐसे में नेशनल हाईवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया के मंडी (बगला) कार्यालय ने इसकी पूरी प्रोजेक्ट रिपोर्ट बनाकर मंजूरी के लिए दिल्ली भेज दी है. वहां से अब अप्रूवल का इंतजार किया जा रहा है.

प्रोजेक्ट का कार्य लगभग 57 प्रतिशत पूरा

बता दें कि डयोड के पास जो दो टनलें बननी हैं वह बाकी सभी टनलों का प्रवेश द्वार होगी. बाकी प्रोजेक्ट का कार्य लगभग 57 प्रतिशत पूरा कर लिया गया है लेकिन जहां से इन सभी के लिए प्रवेश होना है. वहीं, पैसे की कमी की कारण काम अब लटकता हुआ नजर आ रहा है.

सितंबर 2021 तक टनल निर्माण कार्य पूरा करने का लक्ष्य

फोरलेन में टनल निर्माण के इस प्रोजेक्ट को पहले सितंबर 2021 तक पूरा करने का लक्ष्य रखा गया था लेकिन लॉकडाउन के कारण देरी होने के चलते अब इसे मार्च 2022 तक पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है. बता दें कि बाकी कार्य लगातार प्रगति पर है सिर्फ शुरूआती टनलों के निर्माण में ही विलंब हो रहा है.

मंजूरी मिलते ही शुरू कर दिया जाएगा कार्य

एनएचएआई मंडी (बगला) कार्यालय के प्रोजेक्ट डायरेक्टर नवीन मिश्रा ने बताया कि डयोड के पास बनने वाली दो टनलों की लंबाई में बढ़ोतरी हुई है और इसके लिए 240 करोड़ के अतिरिक्त धन की आवश्यकता है. इसकी प्रोजेक्ट रिपोर्ट बनाकर दिल्ली भेज दी गई है. मंजूरी मिलते ही कार्य शुरू कर दिया जाएगा. दूसरे छोर से टनलों का निर्माण कार्य जारी है. मार्च 2022 तक प्रोजेक्ट को पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है.

ये भी पढ़ें- कैसे नशा मुक्त होगा हिमाचल! बिलासपुर नलवाड़ी मेले में पुलिस कर्मी ने नाबालिग को बेचा चिट्टा

मंडीः कीतरपुर-मनाली फोरलेन में पंडोह से लेकर औट तक बन रही 10 टनलों के 2600 करोड़ के प्रोजेक्ट के सर्वे में गड़बड़ी के कारण 2 टनलों की लंबाई बढ़ने के बाद भी 240 करोड़ की अधिक राशि की जरूरत आन पड़ी है. सामरिक दृष्टि से महत्वपूर्ण इस प्रोजेक्ट की फाइल अब दोबारा से दिल्ली दरबार में घूम रही है, जहां से अप्रूवल का इंतजार किया जा रहा है.

मिली जानकारी के अनुसार पंडोह से औट तक जो 10 टनलें बन रही हैं. उसकी सबसे पहली टनल के सर्वे में गड़बड़ी पाई गई है. पहले जो सर्वे किया गया था उसके हिसाब से डयोड के पास से बनने वाली 2 टनलों में प्रत्येक की लंबाई 2.1 किमी थी, लेकिन जब यहां पर काम शुरू हुआ तो पाया गया कि सर्वे सही नहीं हुआ है. इसलिए दोबारा से सर्वे किया गया तो टनलों की लंबाई में 700 से 800 मीटर का इजाफा हो गया.

1500 मीटर बढ़ी दोनों टनल की लंबाई

दोनों टनलों की लंबाई में 1500 मीटर की बढ़ोतरी दर्ज की गई. इस कारण अतिरिक्त कार्य बढ़ गया और अब इस कार्य को पूरा करने के लिए 240 करोड़ के अतिरिक्त बजट की जरूरत आन पड़ी है. ऐसे में नेशनल हाईवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया के मंडी (बगला) कार्यालय ने इसकी पूरी प्रोजेक्ट रिपोर्ट बनाकर मंजूरी के लिए दिल्ली भेज दी है. वहां से अब अप्रूवल का इंतजार किया जा रहा है.

प्रोजेक्ट का कार्य लगभग 57 प्रतिशत पूरा

बता दें कि डयोड के पास जो दो टनलें बननी हैं वह बाकी सभी टनलों का प्रवेश द्वार होगी. बाकी प्रोजेक्ट का कार्य लगभग 57 प्रतिशत पूरा कर लिया गया है लेकिन जहां से इन सभी के लिए प्रवेश होना है. वहीं, पैसे की कमी की कारण काम अब लटकता हुआ नजर आ रहा है.

सितंबर 2021 तक टनल निर्माण कार्य पूरा करने का लक्ष्य

फोरलेन में टनल निर्माण के इस प्रोजेक्ट को पहले सितंबर 2021 तक पूरा करने का लक्ष्य रखा गया था लेकिन लॉकडाउन के कारण देरी होने के चलते अब इसे मार्च 2022 तक पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है. बता दें कि बाकी कार्य लगातार प्रगति पर है सिर्फ शुरूआती टनलों के निर्माण में ही विलंब हो रहा है.

मंजूरी मिलते ही शुरू कर दिया जाएगा कार्य

एनएचएआई मंडी (बगला) कार्यालय के प्रोजेक्ट डायरेक्टर नवीन मिश्रा ने बताया कि डयोड के पास बनने वाली दो टनलों की लंबाई में बढ़ोतरी हुई है और इसके लिए 240 करोड़ के अतिरिक्त धन की आवश्यकता है. इसकी प्रोजेक्ट रिपोर्ट बनाकर दिल्ली भेज दी गई है. मंजूरी मिलते ही कार्य शुरू कर दिया जाएगा. दूसरे छोर से टनलों का निर्माण कार्य जारी है. मार्च 2022 तक प्रोजेक्ट को पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है.

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