कुल्लू: जिला कुल्लू में कोरोना संक्रमण को रोकने के लिए जिला प्रशासन लगातार कार्य कर रहा है. वहीं, अब ग्रामीण भी अपने स्तर पर बचाव के इंतजाम में जुटे हुए हैं. कुल्लू के कई गांवों में बाहरी लोगों के प्रवेश पर भी पाबंदी है, तो कुछ जगह पर ग्रामीण खुद भी एहतियात बरत रहे हैं.
आनी की 3 पंचायतें कोरोना मुक्त
जिसका नतीजा यह है कि कई गांव अभी तक कोरोना संक्रमण की चपेट में नहीं आए हैं. कुल्लू जिले के उपमंडल आनी की बात करें तो यहां पर भी 3 पंचायतों में पिछले 15 महीनों से एक भी मामला सामने नहीं आया है. उपमंडल आनी की करशैईगाड़, लगौटी तथा फनौटी पंचायतों में 15 महीने से कोरोना संक्रमण का एक भी केस सामने नहीं आया है.
अप्रैल माह से बाहरी लोगों की एंट्री बंद
इन पंचायतों में अप्रैल महीने से बाहरी लोगों की एंट्री पर पूरी तरह से रोक लगाई गई है. पंचायतों के भीतर भी लोगों के एक-दूसरे गांव में आने-जाने पर प्रतिबंध लगाया गया है. आपस में सटी तीनों पंचायतों की आबादी करीब छह हजार है. इनमें करशाला, बालू, बनाला, फनौटी, निचली फनौटी, जुहड़, कोट, बलेहड़, कोलथा, कुआ, सुहल, छलाच सहित 40 गांव आते हैं.
ग्रामीण सतर्क
इन गांवों में न तो कोरोना संक्रमण की पहली लहर में और न ही दूसरी लहर में कोई मामला सामने आया. ग्राम पंचायत लगौटी के प्रधान मोहन ठाकुर ने कहा कि बस सेवा बंद होने से भी लोगों का आवागमन पूरी तरह बंद हो गया है. कोरोना को लेकर ग्रामीण सतर्क हैं.
बाहरी लोगों पर पंचायत प्रतिनिधियों की नजर
करशैईगाड़ पंचायत की प्रधान शारदा राणा ने कहा कि ग्रामीण अपने बाग-बगीचों में व्यस्त हैं. पंचायत ग्रामीणों को लगातार जागरूक कर रही है. बाहरी लोगों के प्रवेश पर पंचायत प्रतिनिधि नजर रख रहे हुए हैं. पंचायत में मास्क वितरण तथा सेनिटाइजेशन को प्राथमिकता दी जा रही है.
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