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साहित्य और कला के विभिन्न रंगों का साक्षी बना धर्मशाला, सुंदर स्मृतियों के साथ सम्पूर्ण हुआ धर्मशाला लिटरेचर फेस्टिवल

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Published : Apr 9, 2023, 9:51 AM IST

धर्मशाला लिटरेचर फेस्टिवल का दूसरा संस्करण शनिवार को मधुर समृतियों के साथ सम्पूर्ण हुआ. उपायुक्त कांगड़ा डॉ. निपुण जिंदल ने इस अवसर पर यहां आए सभी कला और साहित्य प्रेमियों का आभार व्यक्त किया.

धर्मशाला लिटरेचर फेस्टिवल
धर्मशाला लिटरेचर फेस्टिवल

धर्मशाला: डिग्री कॉलेज धर्मशाला का त्रिगर्त सभागार दो दिनों तक कलाकार-साहित्यकारों के सुंदर भावों से सराबोर रहा. धर्मशाला लिटरेचर फेस्टिवल का दूसरा संस्करण शनिवार को मधुर समृतियों के साथ सम्पूर्ण हुआ. उपायुक्त कांगड़ा डॉ. निपुण जिंदल ने इस अवसर पर यहां आए सभी कला और साहित्य प्रेमियों का आभार व्यक्त किया. उन्होंने कहा कि दो दिन तक चले धर्मशाला लिटरेचर फेस्टिवल के दूसरे संस्करण से धर्मशाला साहित्य और कला के विभिन्न रंगों का साक्षी बना.

इस अवसर पर पूर्व मंत्री विप्लव ठाकुर भी उपस्थित रहीं. धर्मशाला लिटरेचर फेस्टिवल 2023 के समापन के दौरान आए हुए प्रतिभागियों को जिला प्रशासन की ओर से सम्मानित भी किया गया. उपायुक्त ने बताया कि फेस्टिवल में साहित्य-कला क्षेत्र के नामचीन लोगों के साथ नवोदित और प्रतिभाशाली लेखक-कलाकार-कवियों ने भी भाग लिया. उन्होंने कहा कि इस दौरान साहित्य और कला प्रेमियों को अपने पसंदीदा साहित्यकारों से रूबरू होने का अवसर मिला. इस दौरान साहित्यकारों ने आकर्षक चर्चा सत्रों में भाग लिया. उन्होंने कहा कि आयोजन में मनोरंजन, प्रेरणा और शिक्षा का समन्वय रहा. उन्होंने बताया कि इस दौरान स्थानीय कला को बढ़ावा देने के लिए लाइव कांगड़ा पेंटिंग पर कार्यशालाओं का आयोजन भी किया गया.

धर्मशाला के वातावरण ने बनाया इसे और भी सुनहरा: उपायुक्त ने कहा कि साहित्य और कला से जुड़े लोगों के लिए विचारने और काम करने के लिए धर्मशाला से बेहतर कोई अन्य जगह नहीं हो सकती. उन्होंने कहा कि धर्मशाला को दिन-रात निहारती और अपने आंचल में पालती धौलाधार की ऊंची चौटियां स्वयं ईश्वर द्वारा रचित एक खूबसूरत कविता और कला जैसी है.

उन्होंने कहा कि इस वातावरण को देखकर उनके मन में विचार आया कि यहां कला और साहित्य से जुड़े लोगों का संगम होना चाहिए. उन्होंने कहा कि इसी के तहत जिला प्रशासन ने धर्मशाला लिटरेचर फेस्टिवल की शुरुआत करने की पहल की. उन्होंने कहा कि जिला प्रशासन की इस पहल को कला और साहित्य से जुड़े लोगों ने न केवल सराहा अपितु बड़े उत्साह से भाग लेते हुए इसे सफल भी बनाया.

राष्ट्रीय-अंतरराष्ट्रीय पटल पर स्थान दिलाने का रहेगा प्रयास: डॉ. निपुण जिंदल ने कहा कि धर्मशाला लिटरेचर फेस्टिवल के माध्यम से स्थाानीय कलाकारों और साहित्यकारों को भी एक अच्छा मंच मिला. उन्होंने कहा कि इस लिटरेचर फेस्टिवल में साहित्यकारों और कलाकारों की उत्सुक्ता को देखते हुए वे अपनी पहल को सफल मानते हैं. उन्होंने कहा कि कला और साहित्य क्षेत्र की सहभागिता के साथ धर्मशाला लिटरेचर फेस्टिवल का दूसरा संस्करण आज सम्पूर्ण हुआ. उन्होंने कहा कि धर्मशाला लिटरेचर फेस्टिवल के आने वाले संस्करण इसे राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय पटल पर एक पहचान दिलाएं, ऐसा उनका प्रयास रहेगा.

ये भी पढ़ें: धर्मशाला में दो दिवसीय लिटरेचर फेस्टिवल का आगाज, MLA आरएस बाली ने किया शुभारंभ, फेस्ट के लिए 5 लाख रुपए देने की घोषणा की

धर्मशाला: डिग्री कॉलेज धर्मशाला का त्रिगर्त सभागार दो दिनों तक कलाकार-साहित्यकारों के सुंदर भावों से सराबोर रहा. धर्मशाला लिटरेचर फेस्टिवल का दूसरा संस्करण शनिवार को मधुर समृतियों के साथ सम्पूर्ण हुआ. उपायुक्त कांगड़ा डॉ. निपुण जिंदल ने इस अवसर पर यहां आए सभी कला और साहित्य प्रेमियों का आभार व्यक्त किया. उन्होंने कहा कि दो दिन तक चले धर्मशाला लिटरेचर फेस्टिवल के दूसरे संस्करण से धर्मशाला साहित्य और कला के विभिन्न रंगों का साक्षी बना.

इस अवसर पर पूर्व मंत्री विप्लव ठाकुर भी उपस्थित रहीं. धर्मशाला लिटरेचर फेस्टिवल 2023 के समापन के दौरान आए हुए प्रतिभागियों को जिला प्रशासन की ओर से सम्मानित भी किया गया. उपायुक्त ने बताया कि फेस्टिवल में साहित्य-कला क्षेत्र के नामचीन लोगों के साथ नवोदित और प्रतिभाशाली लेखक-कलाकार-कवियों ने भी भाग लिया. उन्होंने कहा कि इस दौरान साहित्य और कला प्रेमियों को अपने पसंदीदा साहित्यकारों से रूबरू होने का अवसर मिला. इस दौरान साहित्यकारों ने आकर्षक चर्चा सत्रों में भाग लिया. उन्होंने कहा कि आयोजन में मनोरंजन, प्रेरणा और शिक्षा का समन्वय रहा. उन्होंने बताया कि इस दौरान स्थानीय कला को बढ़ावा देने के लिए लाइव कांगड़ा पेंटिंग पर कार्यशालाओं का आयोजन भी किया गया.

धर्मशाला के वातावरण ने बनाया इसे और भी सुनहरा: उपायुक्त ने कहा कि साहित्य और कला से जुड़े लोगों के लिए विचारने और काम करने के लिए धर्मशाला से बेहतर कोई अन्य जगह नहीं हो सकती. उन्होंने कहा कि धर्मशाला को दिन-रात निहारती और अपने आंचल में पालती धौलाधार की ऊंची चौटियां स्वयं ईश्वर द्वारा रचित एक खूबसूरत कविता और कला जैसी है.

उन्होंने कहा कि इस वातावरण को देखकर उनके मन में विचार आया कि यहां कला और साहित्य से जुड़े लोगों का संगम होना चाहिए. उन्होंने कहा कि इसी के तहत जिला प्रशासन ने धर्मशाला लिटरेचर फेस्टिवल की शुरुआत करने की पहल की. उन्होंने कहा कि जिला प्रशासन की इस पहल को कला और साहित्य से जुड़े लोगों ने न केवल सराहा अपितु बड़े उत्साह से भाग लेते हुए इसे सफल भी बनाया.

राष्ट्रीय-अंतरराष्ट्रीय पटल पर स्थान दिलाने का रहेगा प्रयास: डॉ. निपुण जिंदल ने कहा कि धर्मशाला लिटरेचर फेस्टिवल के माध्यम से स्थाानीय कलाकारों और साहित्यकारों को भी एक अच्छा मंच मिला. उन्होंने कहा कि इस लिटरेचर फेस्टिवल में साहित्यकारों और कलाकारों की उत्सुक्ता को देखते हुए वे अपनी पहल को सफल मानते हैं. उन्होंने कहा कि कला और साहित्य क्षेत्र की सहभागिता के साथ धर्मशाला लिटरेचर फेस्टिवल का दूसरा संस्करण आज सम्पूर्ण हुआ. उन्होंने कहा कि धर्मशाला लिटरेचर फेस्टिवल के आने वाले संस्करण इसे राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय पटल पर एक पहचान दिलाएं, ऐसा उनका प्रयास रहेगा.

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