हमीरपुर: जिला हमीरपुर की जनैहन पंचायत के समताना खुर्द गांव में भूस्खलन से 11 मकान को खतरा पैदा हो गया है. भूस्खलन से हुए नुकसान का जायजा लेने गांव में स्थानीय विधायक इंद्रदत लखनपाल और प्रशासनिक अधिकारी पहुंचे. इस दौरान विधायक ने गांव में जमीन का जियोलॉजिकल सर्वे करवाने की बात कही है. वहीं, दो प्रभावित परिवारों को पांच-पांच हजार की फौरी राहत जारी की है.
बताया जा रहा है कि गांव में भूस्खलन से 11 मकानों को खतरा पैदा हो गया है. गांव में खेतों, घरों के आंगनों में बड़ी-बड़ी दरारें आ गई हैं, जिस वजह से लोगों ने मकान भी खाली कर दिए हैं. वहीं, सूचना के बावजूद प्रशासनिक अधिकारी और कर्मचारी मौके पर नहीं पहुंचे थे. यही नहीं भारी खतरे के बावजूद यहां प्रशासन की तरफ ग्रामीणों को राहत नहीं दी गई थी.
दरअसल, स्थानीय विधायक इंद्र दत लखनपाल मौके प्रशासनिक अधिकारियों के साथ मौके पर पहुंचे. गौरतलब है कि यहां पर 11 परिवार अपने रिश्तेदारों के यहां शरण लेने को भी विवश है. स्थानीय लोगों का कहना है कि बरसात के मौसम में मकान में रहना खतरे से खाली नहीं है. दहशत के साए में जी रहे लोग आस पड़ोस के घरों में अपनी रातें काट रहे हैं.
पीड़ित लोगों का कहना है की जमीन लगातार धंस जा रही है, जिससे कभी भी बड़ा हादसा हो सकता है. पीड़ितो का कहना है कि वह मदद के लिए प्रशासन से गुहार लगा रहे हैं कि उन्हें कोई सुरक्षित जगह आवंटित की जाए. ढलान पर बसे इस इलाके में जमीन पर बड़ी-बड़ी दरारें पड़ चुकी हैं. यही नहीं घरों के आसपास लगाए गए डंगे भी खिसक कर कई फीट नीचे जा चुके हैं.
'मौके पर नुकसान का जायजा लेने के लिए पहुंचे है. पांच-पांच हजार की फौरी दो परिवारों को दी गई है. जमीन का जियोलॉजिकल सर्वे करवाया जाएगा. यदि यह जमीन रहने लायक नहीं होगी तो अन्य जगह पर जमीन उपलब्ध करवाई जाएगी.':- इंद्रदत लखनपाल, विधायक
प्रभावित परिवारों ने प्रशासन से की मांग: प्रभावित परिवारों का कहना है कि अब खतरे को देखते हुए अपने मकानों में रहने को तैयार नहीं हैं. प्रशासन से राहत की गुहार लगा रहे हैं. उन्होंने कहा कि अब यह जगह खतरे से खाली नहीं है. ऐसे में प्रशासन उन्हें कहीं अन्य जगहों पर शिफ्ट कर दे. प्रभावित परिवारों में प्रशासन से जमीन उपलब्ध करवाने और मकान बनाने के लिए राहत राशि की मांग उठाई है.