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भारी बारिश से हिमाचल पानी-पानी! शिमला में फिर गहराने लगा जलसंकट

जिला में गर्मियों के सीजन में पेयजल किल्लत नहीं हुई, लेकिन इस बार मानसून शुरू होते ही पेयजल योजनाओं में गाद भरने से जल संकट के बादल मंडराने लगे हैं. शिमला के सेक्टर एक, दो, तीन, चार, हाउसिंग बोर्ड कालोनी संजौली में पानी की सप्लाई नहीं हुई है.

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Published : Jul 10, 2019, 5:25 PM IST

शिमला: जिला में गर्मियों के सीजन में पेयजल किल्लत नहीं हुई, लेकिन इस बार मानसून शुरू होते ही पेयजल योजनाओं में गाद भरने से जल संकट के बादल मंडराने लगे हैं. मंगलवार को 18 क्षेत्रों में पेयजल आपूर्ति न होने से लोगों को परेशानी का सामना करना पड़ा.

दरअसल परियोजनाओं में गाद भरने की वजह से न्यू शिमला के सेक्टर एक, दो, तीन, चार, हाउसिंग बोर्ड कालोनी संजौली, इंजनघर, सांगटी, कनलोग, चक्कर, अपर कामनादेवी, टूटीकंडी, बालूगंज, सेंट्रल जोन के तहत आने वाले रिज, मालरोड, लोअर बाजार, सब्जी मंडी, बसस्टैंड और कृष्णानगर में पानी की सप्लाई नहीं हुई. वहीं, बुधवार को 35 एमएलडी पानी की सप्लाई ही पेयजल योजनाओं से हुई है.

जानकारी देती महापौर कुसुम सदरेट

नगर निगम महापौर कुसुम सदरेट ने बताया कि पेयजल योंजानाओ में गाद आने से पानी की सप्लाई नहीं हो पा रही है, जिससे एक दिन छोड़ कर पानी दिया जा रहा है. साथ ही गिरी और गुम्मा नदी में डंपिंग की जा रही है, जिससे मिट्टी पानी में एकत्रित हो रही है. उन्होंने बताया कि विभिन्न विभागों को पत्र लिखा गया है कि गिरी और गुम्मा नदी में डंपिंग न की जाए.

बता दें कि गिरी, गुम्मा , अश्वनी खड्ड से शिमला के लिए पानी की सप्लाई होती है. ऐसे में बरसात के दिनों में गाद आने से इन परियोजनाओं में पम्पनिंग नहीं हो पाती है. पहले शहर में हर रोज 45 एमएलडी से ऊपर पानी की सप्लाई हो रही थी, लेकिन गाद आने के बाद अब 35 एमएलडी पानी की ही सप्लाई हो रही है.

शिमला: जिला में गर्मियों के सीजन में पेयजल किल्लत नहीं हुई, लेकिन इस बार मानसून शुरू होते ही पेयजल योजनाओं में गाद भरने से जल संकट के बादल मंडराने लगे हैं. मंगलवार को 18 क्षेत्रों में पेयजल आपूर्ति न होने से लोगों को परेशानी का सामना करना पड़ा.

दरअसल परियोजनाओं में गाद भरने की वजह से न्यू शिमला के सेक्टर एक, दो, तीन, चार, हाउसिंग बोर्ड कालोनी संजौली, इंजनघर, सांगटी, कनलोग, चक्कर, अपर कामनादेवी, टूटीकंडी, बालूगंज, सेंट्रल जोन के तहत आने वाले रिज, मालरोड, लोअर बाजार, सब्जी मंडी, बसस्टैंड और कृष्णानगर में पानी की सप्लाई नहीं हुई. वहीं, बुधवार को 35 एमएलडी पानी की सप्लाई ही पेयजल योजनाओं से हुई है.

जानकारी देती महापौर कुसुम सदरेट

नगर निगम महापौर कुसुम सदरेट ने बताया कि पेयजल योंजानाओ में गाद आने से पानी की सप्लाई नहीं हो पा रही है, जिससे एक दिन छोड़ कर पानी दिया जा रहा है. साथ ही गिरी और गुम्मा नदी में डंपिंग की जा रही है, जिससे मिट्टी पानी में एकत्रित हो रही है. उन्होंने बताया कि विभिन्न विभागों को पत्र लिखा गया है कि गिरी और गुम्मा नदी में डंपिंग न की जाए.

बता दें कि गिरी, गुम्मा , अश्वनी खड्ड से शिमला के लिए पानी की सप्लाई होती है. ऐसे में बरसात के दिनों में गाद आने से इन परियोजनाओं में पम्पनिंग नहीं हो पाती है. पहले शहर में हर रोज 45 एमएलडी से ऊपर पानी की सप्लाई हो रही थी, लेकिन गाद आने के बाद अब 35 एमएलडी पानी की ही सप्लाई हो रही है.

Intro:पहाड़ो की रानी शिमला में बरसात में भी लोगो को पानी के लिए तरसना पढ़ रहा है ! बरसात में राजधानी शिमला के पेयजल संकट मडराने लगा है शिमला में गर्मियों में पेयजल किल्लत नहीं हुई, लेकिन इस बार ठीक मानसून शुरू होते ही पेयजल योजनाओं में गाद भरने से यह संकट सामने आ गया है। गिरी और गुम्मा में पेयजल योजना में गाद भरने से पानी की सप्लाई ठप्प हो गई है । शिमला के 18 क्षेत्रों में मंगलवार को पेयजल आपूर्ति न होने से लोगों को काफी दिक्कतें आई। गाद आ जाने से बुधवार को 35 एमएलडी पानी की सप्लाई ही पेयजल योजनाओं से हो पाई है ! परियोजनाओं में गाद के चलते बुधवार को शहर के कई इलाकों में पेयजल सप्लाई नहीं हुई । बुधवार को न्यू शिमला के सेक्टर एक, दो, तीन, चार, हाउसिंग बोर्ड कालोनी संजौली, इंजनघर, सांगटी, कनलोग, चक्कर, अपर कामनादेवी, टूटीकंडी, बालूगंज, सेंट्रल जोन के तहत आने वाले रिज, मालरोड, लोअर बाजार, सब्जी मंडी, बसस्टैंड और कृष्णानगर इलाकों में पानी की सप्लाई नहीं हुई । Body:नगर निगम की महापौर कुसुम सदरेट ने कहा की पेयजल योंजाओ में गाद आ जाने से पानी की सप्लाई नही हो प् रही है जिससे एक दिन छोड़ कर पानी दिया जा रहा है ! उन्होंने कहा की गिरी और गुम्मा में डंपिंग की जा रही है जिससे मिटटी के पानी में मिलने से गाद एकत्रित हो रही है ! जिससे पानी की लिफ्टिंग नही हो पा रही है उन्होंने कहा की इन नदियों में डंपिंग न की जा यये इसको लेकर पात्र भी विभागों को लिखा गया है ! गाद आने से मेला पानी की सप्लाई हो रही है जिससे बिमारी होने का खतरा भी हो सकता है जिसको देखते हुए ही पाने की सप्लाई भी रोकी जा रही है ! Conclusion:बता दे बीते वर्ष गर्मिंगो में पानी का गंभीर संकट पैदा हुआ था लोगो को दस दिन बाद पानी मिल रहा था लेकिन इस बार गर्मियों में पानी की किल्लत नही हुई लेकिन बरसात में पानी के लिए लोगो को तरसना पढ़ रहा है ! शिमला शहर में गिरी गुम्मा अश्वनी खड्ड में शिमला के लिए पानी की सप्लाई होती है ! बरसात में गाद आ जाने से इन परियोजनाओं में पम्पनिंग नही हो पाती है ! शहर में हर रोज 45 एमएलडी से उपर पानी की सप्लाई हो रही थी लेकिन गाद आने के बाद अब 35 एमएलडी पानी की ही सप्लाई हो प् रही है ! ऐसे में लोगो को इस बार बरसात में पानी के लिए तरसना पड़ सकता है !
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