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कोरोनाकाल में मंदिरों के 'खजाने' पर पड़ा असर, नवरात्रों में नैना देवी मंदिर की आय में 30 लाख की कमी

कोरोना संकट की वजह से इस बार अश्विन नवरात्र में उत्तर भारत के प्रसिद्ध शक्तिपीठ श्री नैना देवी के चढ़ावे में लाखों रुपये की कमी दर्ज की गई है. पिछले साल के चढ़ावे की तुलना में इस बार मंदिर न्यास की आय में 30 लाख रुपये से ज्यादा कमी दर्ज की गई है. श्रद्धालुओं की ओर से मां नैना देवी के चरणों में अर्पित किया जाने वाला चढ़ावा ही मंदिर न्यास की आय का मुख्य स्रोत रहता है.

श्री नैना देवी
श्री नैना देवी
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Published : Oct 27, 2020, 5:19 PM IST

नैना देवी/बिलासपुर: कोरोना संकट की वजह से इस बार अश्विन नवरात्र में उत्तर भारत के प्रसिद्ध शक्तिपीठ श्री नैना देवी के चढ़ावे में लाखों रुपये की कमी दर्ज की गई है. हालांकि पिछले साल इन नवरात्र में मंदिर में 91 लाख 33 हजार 245 रुपये रुपये का चढ़ावा चढ़ा था, लेकिन इस बार 9वें नवरात्र तक यह घटकर 61 लाख 32 हजार 502 रुपये रह गया.

पिछले साल के चढ़ावे की तुलना में इस बार मंदिर न्यास की आय में 30 लाख रुपये से ज्यादा कमी दर्ज की गई है. वहीं, पिछले साल इस अवधि के दौरान लाखों रुपये का सोने व चांदी का चढ़ावा भी इक्ट्ठा हुआ था, लेकिन इस साल चढ़ावे में कमी आई है.

वीडियो

चढ़ावा मंदिर न्यास की आय का स्रोत

शक्तिपीठ नैना देवी में हर साल लाखों श्रद्धालुओं का आवागमन रहता है. श्रद्धालुओं की ओर से मां नैना देवी के चरणों में अर्पित किया जाने वाला चढ़ावा ही मंदिर न्यास की आय का मुख्य स्रोत रहता है. कोरोना काल ने प्रसिद्ध शक्तिपीठ नैना देवी की आय के स्रोत को भी बुरी तरह से प्रभावित किया है.

एसओपी जारी होने के बाद खुले मंदिर

पिछले साल नकद चढ़ावे के साथ 240 ग्राम 760 मिलीग्राम सोना व 16 किलोग्राम 866 ग्राम चांदी चढ़ा था, लेकिन इस बार नवमें नवरात्र तक 199 ग्राम सोना और 9 किलोग्राम 168 ग्राम चांदी चढ़ा है. कोरोना का खतरा अभी बरकरार है. हालांकि सरकार की ओर से एसओपी जारी होने के बाद श्रद्धालुओं के लिए मंदिर खोल दिए गए हैं और अब दिनों-दिन श्रद्धालुओं की आमद भी बढ़ने लगी है.

10 सितंबर गुरुवार को खुले थे मंदिर

बता दें कि 10 सितंबर गुरुवार को श्रद्धालुओं के लिए मंदिरों के कपाट खोले गए थे और उस समय मंदिर खुलने पर पहले दिन 266 और दूसरे दिन 144 श्रद्धालु नैना देवी आए थे. 10 सितंबर को 30 हजार 200 रुपये चढ़ावा दर्ज किया गया था. 12 सितंबर शनिवार को श्रद्धालुओं की तादाद 215 दर्ज की गई है. इस तरह धीरे-धीरे श्रद्धालुओं ने मां नैना देवी का रूख करना शुरू किया.

बाहरी राज्यों से भी पंहुचे श्रद्धालु

इस बार अश्विन नवरात्र में हजारों की संख्या में प्रदेश के अलावा बाहरी राज्यों से श्रद्धालु मां नैना देवी के दर पहुंचे. हालांकि प्रशासन की ओर से कोविड-19 की स्थिति को ध्यान में रखते हुए पुख्ता बंदोबस्त किए गए थे. टोकन आधार पर श्रद्धालुओं को मंदिर दर्शन के लिए भेजा गया और हर एक जगह सेनिटाइजेशन की व्यवस्था थी. श्रद्धालुओं को मास्क के साथ ही मंदिर दर्शन के लिए प्रवेश दिया गया. ऐसे में नवरात्र मेले शांतिपूर्ण ढंग से संपन्न हो गए. रविवार शाम तक 75 हजार श्रद्धालु मां नयना के दर्शन कर चुके हैं.

नैना देवी/बिलासपुर: कोरोना संकट की वजह से इस बार अश्विन नवरात्र में उत्तर भारत के प्रसिद्ध शक्तिपीठ श्री नैना देवी के चढ़ावे में लाखों रुपये की कमी दर्ज की गई है. हालांकि पिछले साल इन नवरात्र में मंदिर में 91 लाख 33 हजार 245 रुपये रुपये का चढ़ावा चढ़ा था, लेकिन इस बार 9वें नवरात्र तक यह घटकर 61 लाख 32 हजार 502 रुपये रह गया.

पिछले साल के चढ़ावे की तुलना में इस बार मंदिर न्यास की आय में 30 लाख रुपये से ज्यादा कमी दर्ज की गई है. वहीं, पिछले साल इस अवधि के दौरान लाखों रुपये का सोने व चांदी का चढ़ावा भी इक्ट्ठा हुआ था, लेकिन इस साल चढ़ावे में कमी आई है.

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चढ़ावा मंदिर न्यास की आय का स्रोत

शक्तिपीठ नैना देवी में हर साल लाखों श्रद्धालुओं का आवागमन रहता है. श्रद्धालुओं की ओर से मां नैना देवी के चरणों में अर्पित किया जाने वाला चढ़ावा ही मंदिर न्यास की आय का मुख्य स्रोत रहता है. कोरोना काल ने प्रसिद्ध शक्तिपीठ नैना देवी की आय के स्रोत को भी बुरी तरह से प्रभावित किया है.

एसओपी जारी होने के बाद खुले मंदिर

पिछले साल नकद चढ़ावे के साथ 240 ग्राम 760 मिलीग्राम सोना व 16 किलोग्राम 866 ग्राम चांदी चढ़ा था, लेकिन इस बार नवमें नवरात्र तक 199 ग्राम सोना और 9 किलोग्राम 168 ग्राम चांदी चढ़ा है. कोरोना का खतरा अभी बरकरार है. हालांकि सरकार की ओर से एसओपी जारी होने के बाद श्रद्धालुओं के लिए मंदिर खोल दिए गए हैं और अब दिनों-दिन श्रद्धालुओं की आमद भी बढ़ने लगी है.

10 सितंबर गुरुवार को खुले थे मंदिर

बता दें कि 10 सितंबर गुरुवार को श्रद्धालुओं के लिए मंदिरों के कपाट खोले गए थे और उस समय मंदिर खुलने पर पहले दिन 266 और दूसरे दिन 144 श्रद्धालु नैना देवी आए थे. 10 सितंबर को 30 हजार 200 रुपये चढ़ावा दर्ज किया गया था. 12 सितंबर शनिवार को श्रद्धालुओं की तादाद 215 दर्ज की गई है. इस तरह धीरे-धीरे श्रद्धालुओं ने मां नैना देवी का रूख करना शुरू किया.

बाहरी राज्यों से भी पंहुचे श्रद्धालु

इस बार अश्विन नवरात्र में हजारों की संख्या में प्रदेश के अलावा बाहरी राज्यों से श्रद्धालु मां नैना देवी के दर पहुंचे. हालांकि प्रशासन की ओर से कोविड-19 की स्थिति को ध्यान में रखते हुए पुख्ता बंदोबस्त किए गए थे. टोकन आधार पर श्रद्धालुओं को मंदिर दर्शन के लिए भेजा गया और हर एक जगह सेनिटाइजेशन की व्यवस्था थी. श्रद्धालुओं को मास्क के साथ ही मंदिर दर्शन के लिए प्रवेश दिया गया. ऐसे में नवरात्र मेले शांतिपूर्ण ढंग से संपन्न हो गए. रविवार शाम तक 75 हजार श्रद्धालु मां नयना के दर्शन कर चुके हैं.

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