ऊना: लोकसभा चुनाव में मोदी की सुनामी चलते हिमाचल प्रदेश में चारों सीटें हारने के बाद हिमाचल कांग्रेस में पड़ी दरार खुलकर सामने आ गई है. ऊना सदर विधायक सतपाल रायजादा ने हार के लिए पूर्व मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह की जिद को कसूरवार ठहराया है. उन्होंने पूर्व सीएम वीरभद्र सिंह पर पूर्व कांग्रेस प्रदेशाध्यक्ष सुखविंदर सिंह सुक्खू को हटाकर संगठन की जड़ें काटने का आरोप भी लगाया है. वहीं, रायजादा ने बीजेपी कार्यकर्ताओं की कड़ी मेहनत का हवाला देते हुए उन्हें चाणक्य की उपाधि तक दे डाली.
लोकसभा चुनाव में कांग्रेस को मिली करारी हार पर रायजादा ने कहा कि पार्टी के नेताओं को आत्ममंथन करना चाहिए. कांग्रेस की इस बड़ी हार का जिम्मेदार मोदी सरकार की किसान सम्मान निधि के तहत मिलने वाले वार्षिक 6000 रुपयों को बताया है. उन्होंने नई सरकार में अगले पांच वर्ष तक लागू रहने पर शंका व्यक्त की है.
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हिमाचल में कांग्रेस के सभी चार उम्मीदवारों को तीन लाख के अधिक अंतर से हार का मुंह देखना पड़ा. लेकिन इस हार पर मंथन की अपेक्षा प्रदेश कांग्रेस में पड़ी दरार खुलकर सामने आ गई है. हार के समय जिम्मेदारी लेने की अपेक्षा नेतागण एक दूसरे पर हार का ठीकरा फोड़ रहे हैं. पार्टी विधायक सतपाल रायजादा ने इस हार के लिए पूर्व मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह की जिद को दोषी ठहराया है.