शिमलाः स्मार्ट सिटी शिमला में पेयजल उपलब्ध करवाने के नगर निगम और जल निगम बड़े-बड़े दावे करती है, लेकिन शहर के उपनगर संजौली में चौक पर सार्वजनिक नल दावों की पोल खोलता नजर आ रहा है. बता दें कि नगर निगम की महापौर का वार्ड भी है. यहां छह महीने पहले पुराने सार्वजनिक स्त्रोत को उखाड़ कर सार्वजनिक नल लगाया गया है. लेकिन छह महीने बीत जाने के बाद भी पीने के नल का नहीं लग पाए हैं.
नगर निगम की अनदेखी लोगों के लिए परेशानी का कारण बन गया है. लोगों को चौक पर पानी पीने के लिए नहीं मिल रहा है. संजौली चोक पर हर रोज हजारों लोग गुजरते हैं और काफी व्यस्त मार्केट भी मानी जाती है. यहां से लोग ढली भट्टाकुफर के लिए बस के लिए खड़े रहते हैं, लेकिन यहां पीने के लिए पानी नही मिलता है.
राहगीरों को नहीं मिल रही पेयजल की सुविधा
नगर निगम शिमला की इस लापरवाही से लोग परेशान है और सार्वजिनक नल लगाने की मांग कर रहे हैं. कारोबारी रवि कुमार ने कहा कि चौक के साथ काफी पुराना सार्वजिक नल था, जिसको हटा कर नगर निगम ने नया सार्वजिक नल तो बना दिया, लेकिन हैरानी की बात है कि छह महीने बीत जाने के बाद भी इसमें पानी के नल नहीं लगाए गए हैं, जबकि यहां काफी तादात में हर रोज लोग गुजरते हैं और खास कर दुकानदार भी यही पानी भरते हैं.
सर्वनिजक नल लगाने की उठाई मांग
उन्होंने नगर निगम पर जल्द से जल्द यहां पर सर्वनिजक नल लगाने की मांग की और यदि नगर निगम नल नहीं लगाती है तो दुकानदारों के साथ यहां पर धरने पर बैठ जाएंगे. बता दें कि संजौली वार्ड नगर निगम की महापौर सत्या कौंडल का है और महापौर भी यही से हर रोज गुजरती है. यहां लोग भी पानी पीने आते हैं, लेकिन पाइपों में नल लगाने की जगह पर लकड़ी के टुकड़े डाल दिए हैं जोकि नगर निगम की कार्यप्रणाली की पोल भी खोल रहे हैं.
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