हमीरपुर: छोटे यूनिट संचालकों को सुदृढ़ करने के लिए चल रही प्राइम मिनिस्टर फॉर्मेलाइजेशन ऑफ माइक्रो फूड प्रोसेसिंग (Micro Food Processing) को लेकर उद्योग विभाग ने हमीरपुर में कार्यशाला का आयोजन (Workshop organized in Hamirpur) किया. कार्यशाला में शिमला से विशेषज्ञ पहुंचे जिन्होंने इस योजना की विस्तृत जानकारी उपलब्ध करवाई. इसके साथ ही बैंकों से भी अधिकारी मौजूद रहे.
योजना के तहत छोटे फूड फूड प्रोसेसिंग संचालकों को सुदृढ़ किया जाएगा, ताकि वे अच्छे उत्पाद अधिक संख्या में बनाकर मुनाफा कमा सकें. इनकी यूनिट के विस्तार को लेकर इन्हें फाइनेंशियल मदद (Financial Support) भी की जाएगी. कार्यशाला में आवेदकों, जिला के अधिकारियों और बैंक संचालकों को शामिल किया गया था, ताकि योजना की विस्तृत जानकारी प्राप्त की जा सके.
उद्योग विभाग के महाप्रबंधक विजय चौधरी ने कहा कि छोटे फूड यूनिट संचालकों को सुदृढ़ करने के लिए पीएमएफएमएफपी योजना संचालित की जा रही है. इस योजना के तहत ऐसे यूनिट संचालकों को उभरने का अवसर मिल रहा है. योजना के तहत फूट यूनिट में बनने वाली सामग्री को और बेहतर तरीके से कैसे बनाकर पेश किया जा सकता है, इसकी जानकारी भी जा रही है. उन्होंने कहा कि कई कई ऐसे यूनिट संचालक होते हैं जो अपने स्तर पर काम करते रहते हैं, लेकिन उनका कोई रिकार्ड नहीं होता. ऐसे यूनिट संचालकों को सुदृढ़ कर इनके उत्पादों को अच्छी पहचान देने के लिए योजना कारगर सिद्ध होगी.
उन्होंने कहा कि एक जिला एक प्रोडक्ट (One District One Product Scheme) योजना के तहत हमीरपुर जिले में दूध व दूध से बनी चीजों की यूनिट खोली जाएंगी. इसके लिए चार आवेदनों को बैंकों से मंजूरी मिल चुकी है. कई आवेदन अभी अंडर प्रोसेस है. दूध से बने प्रोडक्ट्स के लिए हमीरपुर जिला जाना जाएगा. दूध प्रोसेसिंग को कैसे बेहतर (How milk processing can be improved) किया जा सकता है, इसके लिए पशुशालन विभाग (Animal Husbandry Department) की भी मदद ली जा सकती है. विभागीय विशेषज्ञ यूनिट संचालकों को दूध प्रोसेसिंग से संबंधित महत्वपूर्ण जानकारियां उपलब्ध करवाएंगे.
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