हमीरपुर: नगर निगम शिमला और विधानसभा चुनाव पचास-पचास फीसदी अनुपात के (election in himachal) आधार पर ईवीएम और बेल्ट पेपर दोनों पर होने चाहिए. आधी सीट पर चुनाव बेल्ट पेपर पर हो और आधी सीट पर चुनाव ईवीएम से हों. सब दूध का दूध और पानी का पानी हो जाएगा. चुनावों में जब ईवीएम पर उंगली उठती है तो शंका होती है. हिमाचल कांग्रेस चुनाव प्रचार समिति के अध्यक्ष सुखविंदर सिंह सुक्खू ने यह बयान दिया है. वह हमीरपुर में जनसभा को संबोधित करते हुए बोल रहे थे. सुक्खू ने कहा कि आगामी नगर निगम शिमला के चुनाव और विधानसभा चुनावों को सरकार 50.50 फिर से अनुपात के आधार पर करवाए. आधी सीटों पर बैलेट पेपर पर और आधी सीट पर ईवीएम से मतदान करवाया जाए. यही फार्मूला विधानसभा चुनावों में भी अपनाया जाए और 34.34 सीट पर चुनाव ईवीएम और बैलेट पेपर पर हों.
इसके अलावा उन्होंने पुरानी पेंशन योजना बहाल करने (sukhvinder singh sukhu Statement on Old pension) को लेकर भी दावा किया है. उन्होंने दावा किया कि यदि ईवीएम भाजपा का साथ ने दे कभी भाजपा सत्ता में नहीं आएगी. उन्होंने कहा कि 2019 के चुनावों में भाजपा को 70 प्रतिशत वोट मिला और कई बूथ पर तो 90 प्रतिशत मिला यह कभी संभव नहीं है. ऐसे नतीजों शंका होती है ऐसे में 50 फीसदी का फार्मूले अपनाने में कोई हर्ज नहीं होना चाहिए.
पुरानी पेंशन बहाली के मसले पर सुक्खू ने कहा कि वह जब भी घर जाते हैं तो उनकी मां उन्हें 100 या ₹500 जरूर देती है. यह वह तभी दे पाती हैं जब उनके पिता एक सरकारी कर्मचारी थे और आज उनके पिता की पेंशन उनकी मां को लगी है. मां को गर्व होता है कि उन्हें पिता की पेंशन लगी है. कांग्रेस पार्टी सत्ता में आएगी तो पुरानी पेंशन योजना को बहाल करेगी और तमाम बोर्ड निगमों के कर्मचारियों को इस योजना के तहत लाएगी. कर्मचारियों ने प्रदेश की नींव रखी है और सभी कर्मचारियों का यह हक है.
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