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यमुनानगर: लंबित पड़ी मांगों को लेकर भारतीय मजदूर संघ का प्रदर्शन

सरकार द्वारा श्रम कानून में किए गए बदलाव और लंबित पड़ी मांगों को लेकर भारतीय मजदूर संघ के कर्मचारियों ने जोरदार विरोध प्रदर्शन किया. इस दौरान प्रदर्शन कर रहे कर्मचारियों ने प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री के नाम उपायुक्त को ज्ञापन सौंपा है.

bhartiya mazdur sangh protests against government in yamunanagar
यमुनानगर: लंबित पड़ी मांगों को लेकर भारतीय मजदूर संघ का जोरदार प्रदर्शन
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Published : Oct 28, 2020, 4:23 PM IST

Updated : Oct 28, 2020, 4:53 PM IST

यमुनानगर: सरकार द्वारा श्रम कानून में किए गए बदलाव और लंबित पड़ी मांगों को लेकर भारतीय मजदूर संघ के कर्मचारियों ने जोरदार विरोध प्रदर्शन किया. इस दौरान प्रदर्शन कर रहे कर्मचारियों ने प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री के नाम उपायुक्त को ज्ञापन सौंपा है जिसमें उन्होंने श्रम कानून में छेड़छाड़ न करने और लंबित पड़ी मांगों को पूरा करने की बात कही गई है.

प्रदर्शनकारियों ने कहा कि श्रम कानूनों को तोड़कर सरकार मजदूरों और कर्मचारियों को उनके हितों को छीनने का प्रयास कर रही है. उन्होंने कहा कि यदि सरकार के द्वारा बनाया गया ये कानून लागू हुआ तो किसी कर्मचारी और मजदूर को न तो अपनी आवाज उठाने का अधिकार रहेगा और ना ही वो उनके लिए कभी लड़ पाएगा.

यमुनानगर: लंबित पड़ी मांगों को लेकर भारतीय मजदूर संघ का प्रदर्शन

इस कानून से मालिक जब चाहे कर्मचारी को नौकरी से निकाल देगा और उसे ना बोनस मिलेगा, ना ही उसको मूलभूत सुविधाएं मिलेंगी और उसके संवैधानिक अधिकार भी छीन लिए जाएंगे.

प्रदर्शन कर रहे कर्मचारियों का कहना है कि सरकार की नीतियां बिल्कुल कर्मचारी विरोधी है. सरकार अपनी मजदूर और कर्मचारी विरोधी नीतियों से बाज आए और उन काले कानूनों को तुरंत रद्द करें. उन्होंने कहा कि पहले ही बड़े अधिकारी कर्मचारियों की आवाज को सुन नहीं रहे और ना तो स्वास्थ्य विभाग में ठेकेदारी प्रथा को खत्म कर रहे हैं, जिसकी वजह से आज कर्मचारियों को कई दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है.

उन्होंने कहा कि एनएचएम कर्मचारियों को सातवां पे कमीशन भी नहीं दिया जा रहा है और आज हर वर्ग के छोटे कर्मचारियों के साथ शोषण हो रहा है. उन्होंने सरकार को चेतावनी देते हुए कहा है कि जल्द से जल्द हमारी समस्याओं का समाधान किया जाए नहीं तो वो बड़ा आंदोलन करने पर मजबूर होंगे.

ये भी पढ़िए: चरखी दादरी में कपास का नहीं हुआ भुगतान, किसानों ने जताया रोष

यमुनानगर: सरकार द्वारा श्रम कानून में किए गए बदलाव और लंबित पड़ी मांगों को लेकर भारतीय मजदूर संघ के कर्मचारियों ने जोरदार विरोध प्रदर्शन किया. इस दौरान प्रदर्शन कर रहे कर्मचारियों ने प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री के नाम उपायुक्त को ज्ञापन सौंपा है जिसमें उन्होंने श्रम कानून में छेड़छाड़ न करने और लंबित पड़ी मांगों को पूरा करने की बात कही गई है.

प्रदर्शनकारियों ने कहा कि श्रम कानूनों को तोड़कर सरकार मजदूरों और कर्मचारियों को उनके हितों को छीनने का प्रयास कर रही है. उन्होंने कहा कि यदि सरकार के द्वारा बनाया गया ये कानून लागू हुआ तो किसी कर्मचारी और मजदूर को न तो अपनी आवाज उठाने का अधिकार रहेगा और ना ही वो उनके लिए कभी लड़ पाएगा.

यमुनानगर: लंबित पड़ी मांगों को लेकर भारतीय मजदूर संघ का प्रदर्शन

इस कानून से मालिक जब चाहे कर्मचारी को नौकरी से निकाल देगा और उसे ना बोनस मिलेगा, ना ही उसको मूलभूत सुविधाएं मिलेंगी और उसके संवैधानिक अधिकार भी छीन लिए जाएंगे.

प्रदर्शन कर रहे कर्मचारियों का कहना है कि सरकार की नीतियां बिल्कुल कर्मचारी विरोधी है. सरकार अपनी मजदूर और कर्मचारी विरोधी नीतियों से बाज आए और उन काले कानूनों को तुरंत रद्द करें. उन्होंने कहा कि पहले ही बड़े अधिकारी कर्मचारियों की आवाज को सुन नहीं रहे और ना तो स्वास्थ्य विभाग में ठेकेदारी प्रथा को खत्म कर रहे हैं, जिसकी वजह से आज कर्मचारियों को कई दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है.

उन्होंने कहा कि एनएचएम कर्मचारियों को सातवां पे कमीशन भी नहीं दिया जा रहा है और आज हर वर्ग के छोटे कर्मचारियों के साथ शोषण हो रहा है. उन्होंने सरकार को चेतावनी देते हुए कहा है कि जल्द से जल्द हमारी समस्याओं का समाधान किया जाए नहीं तो वो बड़ा आंदोलन करने पर मजबूर होंगे.

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Last Updated : Oct 28, 2020, 4:53 PM IST
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