सोनीपत: गांव किलोहड़द में आईआईआईटी बनने से प्रदेश के युवाओं को काफी लाभ मिलेगा. दरअसल पिछले 6 साल से जिस जमीन को लेकर खींचतान चल रही थी, वो मामला सुलझ गया.
प्रदेश में कांग्रेस की हुड्डा सरकार के समय साल 2013 में किलोहड़द में आईआईआईटी बनाने की प्रक्रिया शुरू की गई थी. जिसे लेकर 20 जून 2013 को किलोहड़द में पंचायती जमीन को तकनीकी शिक्षा विभाग को 33 साल की लीज पर देने के लिए प्रस्ताव भेजा गया था. ये उस प्रस्ताव को महानिदेशक ने 19 सितंबर 2013 को मंजूर कर दिया था. उसके बाद यह मामला लटका रहा और 2016 में IIT बनाने के लिए चार दीवारी का काम शुरू कर दिया गया.
प्रस्ताव पर सरकार की लगी मुहर
लेकिन मानव संसाधन विकास मंत्रालय ने 2 जनवरी 2017 को पत्र जारी करके कहा कि जिस जमीन पर आईआईआईटी बनाई जाएगी, उस जमीन पर तकनीकी शिक्षा विभाग का मालिकाना हक होना चाहिए. जब जमीन को खरीदने की प्रक्रिया शुरू की गई तो साल 2017 में पंचायत ने इसका विरोध कर दिया. जिससे आईआईआईटी बनने का मामला खटाई में पड़ गया था. गांव किलोहड़द में आईआईआईटी के लिए पंचायत के जमीन बेचने को तैयार होने पर डीसी की ओर से सरकार को फाइल भेजी गई थी. जिस पर सरकार ने मुहर लगा दी है और अब जल्द ही इस पर काम शुरू करा दिया जाएगा.