पानीपत: एनक्वास टीम आज पानीपत सिविल अस्पताल (Panipat Civil Hospital) में निरीक्षण करने पहुंची. टीम ने गहनता से जांच पड़ताल की. टीम ने PMO से बैठक करने के बाद आपातकालीन, ईएनटी, प्रसूति विभाग, स्किन विभाग और आई ओपीडी का भी निरीक्षण किया. बता दें कि तीन दिवसीय दौरे पर आई एनक्वास टीम ने बंद कमरे में डॉक्टर्स और स्टाफ से सवाल पूछे. चिकित्सकों के रजिस्टरों की जांच की गई. मरीजों से भी अस्पताल की व्यस्थाओं के बारे में सवाल किए गए. टीम को मरीजों की संख्या के अनुसार व्यवस्था कुछ खास नहीं लगी.
डॉक्टर्स को मेडिकल नियम रटने का दिया होमवर्क: अस्पताल प्रबंधन सर्टिफिकेट लेने के लिए कोई कोर कसर नहीं छोड़ रहा है. चौथी श्रेणी के कर्मचारियों को आपात स्थिति के कोड वर्ड याद कराए गए हैं. इतना ही नहीं अस्पताल प्रबंधन की ओर से डॉक्टरों और स्टाफ नर्सों को मेडिकल नियमों को रटने का होमवर्क भी दिया गया है.
मरीजों के साथ ऊंची आवाज में बात ना करने के निर्देश: एनक्वास टीम ने निरीक्षण के दौरान स्टाफ को सख्त निर्देश दिए गए हैं कि वो मरीजों के प्रति अपना व्यवहार शालीन बनाकर रखे. जो मरीज चल नहीं सकते उनको व्हील चेयर व स्ट्रेचर उपलब्ध कराएं. टीम ने शुक्रवार को भी पानीपत सिविल हॉस्पिटल का पांच घंटे तक निरीक्षण किया है. इस दौरान टीम ने मुख्य वार्डों का भी निरीक्षण किया. शनिवार को अस्पताल के सभी OPD का गहनता से निरीक्षण किया जाएगा. साथ ही SNCU वार्ड की भी सेवाएं देखी जाएगी. शनिवार को टीम अपनी रिपोर्ट को फाइल में बंद कर लेगी. ये रिपोर्ट मुख्यालय में जमा कराई जाएगी.
मिली जानकारी के मुताबिक पानीपत सिविल हॉस्पिटल में निरीक्षण (Enquas team inspection Panipat Civil Hospital) करने पहुंची एनक्वास टीम को दिखाने के लिए अस्पताल प्रबंधन की ओर से कुछ बदलाव भी किए गए. इमरजेंसी में मिनी ओटी में सिर्फ डॉक्टर्स और स्टाफ नर्सों की ही एंट्री दिखाई गई. वहीं इमरजेंसी में हेल्प डेस्क भी बनाया.साथ ही इमरजेंसी के सभी रजिस्टर के कवरों को ठीक किया गया.
साथ ही बताया जा रहा है कि इस दौरान सुरक्षाकर्मियों को सीटी उपलब्ध कराई गई. तीमारदारों को प्रस्तुति वार्ड से बाहर भेजा गया. साथ ही ऑप्रेशन थियेटर के बाहर से भी तीमारदारों को हटाया. डॉक्टर्स की ओपीडी के बाहर डिजिटल बोर्ड लगवाए गए. जिसमे मरीज देख सकते हैं कि उनका नंबर कब आएगा.
अस्तपाल के हालात इतने खराब हैं कि निरीक्षण करने पहुंची टीम को दिखाने के लिए मरीजों के बैठने वाली कुर्सियां तक लगवाई गई. यहां तक की कूड़ेदान भी बदले गए. जरा सोचिए जो अस्पताल खुद बीमारियों का घर है वो मरीजों की समस्याओं को कैसे दूर करेगा. खबर ये भी कि दिखावे के लिए अस्पताल की सफाई एक दिन में पांच बार की गई.
बताया जा रहा है कि अस्पताल में कोई गोवंश या कुत्ता न घुस सके इसके लिए भी स्पेशल दो कर्मचारियों की ड्यूटी लगाई गई. इमरजेंसी वार्ड के बहर आठ स्ट्रेचर और दो व्हील चेयर रखी गई. अस्पताल का पूरा स्टाफ ट्रेस कोड और आई कार्ड के साथ नजर आया.बता दें कि एनक्वास की टीम यहां तीन दिन के निरीक्षण दौरे पर है जिसका आखिरी दिन शनिवार को है.