महेंद्रगढ़ः हरियाणा में विधानसभा चुनाव का बिगुल बज चुका है. एक ओर बीजेपी जहां अपनी जीत को कायम रखने की कोशिश कर रही है तो वहीं कांग्रेस अपने वर्चस्व की लड़ाई लड़ रही है. बात करें महेंद्रगढ़ जिले की तो यहां का चुनावी समीकरण काफी रोचक हैं. महेंद्रगढ़ विधानसभा सीट पर तो दो चिर प्रतिद्वंदी ऐसे हैं जो पिछले 23 सालों से एक दूसरे को चुनौती देते आ रहे हैं. वहीं नारनौल विधानसभा सीट पर भी काफी कड़ा मुकाबला देखने को मिलेगा. इसी के साथ अटेली और नांगल चौधरी पर भी बीजेपी और कांग्रेस के बीच टक्कर है. जानें चारों विधानसभा सीटों के समीकरण
महेंद्रगढ़ विधानसभा सीट
हरियाणा विधानसभा चुनाव का दंगल शुरू हो चुका है. महेंद्रगढ़ के चुनावी दंगल में जबरदस्त मुकाबला देखने को मिलने वाला है. महेंद्रगढ़ विधानसभा सीट से इस बार 6ठीं बार रामबिलास शर्मा और राव दान सिंह आमने-सामने होंगे. महेंद्रगढ़ हरियाणा का उभरता हुआ शिक्षा केंद्र माना जाता है. महेंद्रगढ़ विधानसभा सीट भिवानी-महेंद्रगढ़ संसदीय क्षेत्र के अंतर्गत आती है. ये एक अनारक्षित सीट है. बीजेपी के राम बिलास शर्मा यहां के निवर्तमान विधायक हैं. जो हरियाणा कैबिनेट में मंत्री भी हैं.
क्या था 2014 का समीकरण
2014 के विधानसभा चुनाव में रामबिलास शर्मा ने हरियाणा कांग्रेस के दिग्गज नेता और तीन बार के विधायक रहे राव दान सिंह को करीब 35 हजार वोटों से करारी शिकस्त दी थी. रामबिलास शर्मा सन् 1982 से 2000 तक लगातार चार बार महेंद्रगढ़ सीट से विधायक रह चुके हैं. यहां उनकी अच्छी पकड़ मानी जाती है. वहीं, कांग्रेस के राव दान सिंह सन 2000 से लेकर 2014 तक यहां से विधायक रह चुके हैं. उन्होंने लगातार तीसरी बार यहां से जीत दर्ज की थी.
महेंद्रगढ़ विधानसभा सीट का चुनावी इतिहासः
साल | विजेता उम्मीदवार | वोट | प्रतिद्वंद्वी | वोट |
2014 | रामबिलास शर्मा (बीजेपी) | 83724 | राव दान सिंह (कांग्रेस) | 49233 |
2009 | राव दान सिंह (कांग्रेस) | 42286 | रामबिलास शर्मा (बीजेपी) | 36833 |
2005 | राव दान सिंह (कांग्रेस) | 59128 | रामबिलास शर्मा (बीजेपी) | 38479 |
2000 | राव दान सिंह (कांग्रेस) | 68472 | रामबिलास शर्मा (बीजेपी) | 29622 |
1996 | रामबिलास शर्मा (बीजेपी) | 19015 | राव दान सिंह (निर्दलीय) | 15307 |
नारनौल विधानसभा सीट
नारनौल विधानसभा सीट भिवानी-महेंद्रगढ़ संसदीय क्षेत्र का एक हिस्सा है. ये एक अनारक्षित सीट है. बीजेपी के ओम प्रकाश यादव यहां के निवर्तमान विधायक हैं. नारनौल में मुख्य रूप से यादवों का वर्चस्व है और कई ऐतिहासिक स्मारक हैं. बीजेपी ने एक बार फिर ओम प्रकाश यादव को टिकट दिया है, जबकि कांग्रेस ने नरेंद्र सिंह गोलवा को टिकट दिया है.
क्या था 2014 का समीकरण
2014 के विधानसभा चुनाव में बीजेपी के ओम प्रकाश यादव ने इनेलो की उम्मीदवार कमलेश को 4 हजार से अधिक वोटों से हराकर अपनी जीत पक्की की थी. ओम प्रकाश यादव को जहां 31664 वोट मिले थे, वहीं कमलेश को मात्र 27091 वोटों से संतोष करना पड़ा था. बीजेपी की ये नारनौल में दूसरी जीत थी. इससे पहले 1987 के बीजेपी के उम्मीदवार कैलाश चंद शर्मा यहां से चुनाव जीते थे.
नारनौल विधानसभा सीट का चुनावी इतिहास
साल | विजेता उम्मीदवार | वोट | प्रतिद्वंद्वी | वोट |
2014 | ओम प्रकाश (बीजेपी) | 31664 | कमलेश (इनेलो) | 27091 |
2009 | नरेंदर सिंह (एचजेसीबीएल) | 25011 | भाना राम (इनेलो) | 21619 |
2005 | राधेश्याम (इंडिपेंडेंट) | 24485 | चंद्रप्रकाश (कांग्रेस) | 20087 |
2000 | मूलाराम (इंडिपेंडेंट) | 15488 | राधेश्याम (इनेलो) | 15061 |
1996 | कैलाश चंद (इंडिपेंडेंट) | 25671 | कैलाश चंद (बीजेपी) | 20325 |
1991 | पूसा राम (कांग्रेस) | 29366 | उदमी राम (जनता दल) | 11123 |
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अटेली विधानसभा सीट
महेंद्रगढ़ की तीसरी अहम विधानसभा सीट है अटेली. अटेली का विधानसभा क्षेत्र भिवानी-महेंद्रगढ़ संसदीय क्षेत्र के अंतर्गत आता है. बीजेपी की संतोष यादव अटेली विधानसभा सीट से मौजूदा विधायक हैं. अटेली एक अनारक्षित सीट है. इस बार बीजेपी ने संतोष यादव का टिकट काटकर सीता राम को मैदान में उतारा है. जिनको टक्कर देने के लिए कांग्रेस के राव अर्जुन सिंह चुनावी मैदान में उतरे हैं.
क्या था 2014 का समीकरण
2014 के विधानसभा चुनाव में बीजेपी उम्मीदवार संतोष यादव ने इनेलो के उम्मीदवार सतबीर को 48 हजार से अधिक वोटों से हराकर यहां पहली बार बीजेपी का कमल खिलाया था. संतोष यादव को जहां 64659 वोट मिले थे जबकि उनके प्रतिद्वंद्वी सतबीर को महज 16058 वोट मिले थे. गौरतलब है कि कांग्रेस की मजबूत पकड़ वाली इस सीट पर 2005 के विधानसभा चुनावों में एक निर्दलीय उम्मीदवार नरेश यादव ने कांग्रेस के नरेंद्र सिंह को हराकर सबको चौंका दिया था.
अटेली विधानसभा सीट का इतिहास
साल | विजेता उम्मीदवार | वोट | प्रतिद्वंद्वी | वोट |
2014 | संतोष यादव (बीजेपी) | 64659 | सतबीर (इनेलो) | 16058 |
2009 | अनीता यादव (कांग्रेस) | 24103 | संतोष यादव (बीजेपी) | 23130 |
2005 | नरेश यादव (कांग्रेस) | 43396 | नरेंद्र सिंह (कांग्रेस) | 40440 |
2000 | नरेंद्र सिंह (कांग्रेस) | 31755 | संतोष (इनेलो) | 31421 |
1996 | नरेंद्र सिंह (कांग्रेस) | 22114 | राव ओमप्रकाश (एचवीपी) | 19270 |
1991 | बमसी सिंह (कांग्रेस) | 19343 | अजीत सिंह (जेपी) | 19277 |
नांगल चौधरी विधानसभा सीट
नांगल चौधरी नारनौल का एक शहर और तहसील मुख्यालय है. इसे 'हरियाणा का पहला साइबर गांव' भी माना जाता है. यादव बाहुल्य नांगल चौधरी विधानसभा सीट भिवानी-महेंद्रगढ़ संसदीय क्षेत्र के अंतर्गत आती है. ये एक अनारक्षित सीट है. बीजेपी के अभय सिंह यादव नांगल चौधरी सीट से वर्तमान विधायक हैं. उमर खालिद पर हमला करने वाले नवीन दलाल को शिवसेना ने यहां से टिकट दिया है. बीजेपी ने यहां से एक बार फिर अजय सिंह यादव को टिकट दिया है और उनके सामने कांग्रेस के राजा राम गोलवा चुनावी मैदान में मौजूद हैं.
क्या था 2014 का समीकरण
2014 के विधानसभा चुनाव में बीजेपी के उम्मीदवार अभय सिंह यादव ने इनेलो की उम्मीदवार मंजू को बेहद कम अंतर से हराकर जीत हासिल की थी. अभय सिंह यादव को जहां 33929 मिले थे, वहीं इनेलो की उम्मीदवार मंजू को 32948 वोट हासिल हुए थए. इससे पहले इनेलो के बहादुर सिंह ने कांग्रेस के उम्मीदवार राधेश्याम को हराकर 2009 का विधानसभा चुनाव जीता था.
नांगल चौधरी विधानसभा सीट का इतिहासः
साल | विजेता उम्मीदवार | वोट | प्रतिद्वंद्वी | वोट |
2014 | अभय सिंह यादव (बीजेपी) | 33929 | मंजू (इनेलो) | 32948 |
2009 | बहादुर सिंह (इनेलो) | 32984 | राधेश्याम (कांग्रेस) | 21321 |
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