कैथल: व्यापारी, किसान और मजदूरों ने कैथल की अनाज मंडी से लघु सचिवालय तक प्रदर्शन किया. प्रदर्शन के दौरान किसान, व्यापारी और मजदूरों ने हाथों में काले झंडे भी लिए थे. साथ ही सरकार को मांग ना मानने पर अग्रिम आंदोलन की चेतावनी भी दी. प्रदर्शनकारियों का कहना है कि ये अध्यादेश किसान, व्यापारी और मजदूरों के खिलाफ है. इन अध्यादेशों से किसान और व्यापारी के बीच दरार पैदा होगी.
प्रदर्शनकारियों का कहना है कि सरकार जमाखोरी को बढ़ावा देना चाहती है. अगर मंडी के अंदर किसान अपना अनाज बेचता है, तो उससे 4 प्रतिशत फीस ली जाती है और मंडी के बाहर बेचता है तो उससे मार्केट फीस नहीं देनी होगी. अगर मंडी में किसान अपनी फसल बेचने नहीं आएगा तो कौन आएगा?
प्रदर्शनकारी श्याम खुरानिया का कहना है कि सरकार के नए अध्यादेश से किसान और आढ़ती बर्बाद हो जाएगा. किसान की फसल मंडी में ना तो खुलेभाव में बिकेगी और ना ही किसान को पूरे दाम मिल सकेंगे. नए अध्यादेश में किसानों के खेत में खड़ी बड़ी-बड़ी कंपनियां खरीदेंगी, लेकिन क्या ये किसान को उचित भाव दे पाएंगी?
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व्यापारी, किसान और मजदूरों ने प्रदर्शन भारतीय किसान यूनियन के बैनर तले किया है. इस दौरान उन्होंने सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी भी की. प्रदर्शनकारियों का कहना है कि सरकार ने अगर हमारी बात नहीं मानी तो वो आगे आने वाले समय में बड़ा आंदोलन कर सकते हैं. प्रदर्शनकारियों ने एक ज्ञापन सीएम के नाम उपायुक्त को सौंपा.