चंडीगढ़ः आम आदमी पार्टी के संयोजक प्रेम गर्ग ने कहा की सरकार जबरदस्ती किसानों पर ये कानून थोप रही है. सरकार लगातार ये कह रही है कि ये कानून किसानों की बेहतरी के लिए है, लेकिन अब किसान इन कानूनों की असलियत जान चुका है इसलिए वो इसका विरोध कर रहे हैं. ऐसे में सरकारों को इन काले कानूनों को वापस लेना चाहिए. गर्ग ने कहा कि सरकार किसानों को गुमराह कर रही है और पूंजीपतियों को फायदा पहुंचाने के लिए ये कानून बनाए गए हैं.
आम आदमी पार्टी के संयोजक प्रेम गर्ग का कहना है कि सरकार ने किसान नेताओं से सुझाव लिए बिना ये बिल कैसे बना दिए. किसानों के लिए क्या बेहतर रहेगा ये तो किसान ही बता सकते हैं.आम आदमी पार्टी किसानों के साथ है और ये मांग करती है कि केंद्र सरकार इन कानूनों को तुरंत रद्द करे. इसके बाद किसानों के साथ विचार विमर्श करने के बाद ही नए कानून बनाए जाएं. इसके अलावा सरकार एमएसपी को लेकर भी कानून बनाए ताकि देश में कोई भी पूंजीपति एमएसपी से कम कीमत पर किसी भी किसान की फसल ना खरीद सके.
'किसानों को बदनाम करने की साजिश'
उन्होंने कहा कि सरकार की आईटी टीम लगातार किसानों के खिलाफ काम कर रही है. वो इस आंदोलन को और किसानों को बदनाम करने की कोशिश कर रही है तभी इस तरह की अफवाह फैलाई जा रही है कि इस आंदोलन को देशद्रोही ताकतों या खालिस्तानी आतंकियों ने हाईजैक कर लिया है. इस आंदोलन में सिर्फ पंजाब ही नहीं बल्कि हरियाणा, उत्तर प्रदेश, राजस्थान, महाराष्ट्र जैसे कई राज्यों के किसान शामिल है. किसान सिर्फ अपने हकों की लड़ाई लड़ रहे हैं. ऐसे में उन्हें बदनाम करने की कोशिश करना शर्मनाक है.
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पूंजीपतियों को मिलेगी ताकत- गर्ग
बीजेपी को घेरते हुए प्रेम गर्ग ने कहा कि इन कानूनों में समझने वाली कोई बात नहीं है, क्योंकि सरकार ने एमएसपी कानून नहीं बनाया है. जबकि पूजीपतियों को फसलें खरीदने की ताकत दे दी है. ऐसे में भविष्य में पूंजीपति अपने मनमर्जी के दामों में फसलें खरीदेंगे और आम आदमी को महंगे दामों में बेचेंगे. जिससे किसानों का नुकसान होगा और आम आदमी का भी नुकसान होगा.