नई दिल्ली: शिक्षक दिवस के मौके पर साउथ एमसीडी की ओर से एक कार्यक्रम आयोजित किया गया. इस कार्यक्रम में वेस्ट दिल्ली से सांसद प्रवेश वर्मा मुख्य अतिथि के तौर पर पहुंचे थे. सांसद प्रवेश वर्मा ने शिक्षकों को बधाई दी और कहा कि शिक्षा का कोई मूल्य नहीं होता, ऐसे में शिक्षकों को मिलने वाली धनराशि को सैलरी नहीं कहा जाना चाहिए.
'सैलरी नहीं सम्मान निधि'
पश्चिमी दिल्ली से बीजेपी सांसद वर्मा का कहना है कि शिक्षकों को मिलने वाली सैलरी को सैलरी नहीं कहना चाहिए बल्कि इसे 'सम्मान निधि' इसके लिए बेहतर शब्द है. इसे लेकर वो आने वाले दिनों में संसद में भी आवाज उठाएंगे.
सांसद प्रवेश वर्मा ने कहा कि साउथ एमसीडी ने शिक्षकों को सम्मानित करने का जो कदम उठाया है वो बहुत ही सराहनीय कदम है और ऐसे कार्यक्रमों का बड़े स्तर पर आयोजन किया जाना चाहिए.उन्होंने कहा कि शिक्षकों का हम सभी के जीवन में बहुत योगदान होता है. ऐसे में कोई भी शिक्षक बिना सम्मान के नहीं रहना चाहिए. उन्होंने कहा कि आने वाले दिनों में वो शिक्षकों को सम्मान दिलाने के लिए संसद में भी आवाज उठाएंगे.