नई दिल्लीः जेल प्रशासन के तमाम कोशिशों के बावजूद कैदी चोरी-छिपे जेल के अंदर मोबाइल ले जाने की लगातार कोशिश कर रहे हैं. वहीं दूसरी तरफ अपने इंफॉर्मेशन और सतर्कता की मदद से जेल प्रशासन की टीम भी कैदियों पर नकेल कसने और उनके पास से मोबाइल बरामद करने में कामयाब हो रही है. ताजा मामला दिल्ली के मंडोली सेन्ट्रल जेल का है, यहां से जेल प्रशासन ने पांच मोबाइल बरामद किया है. इसी महीने, तिहाड़ के एक जेल में कैदी के पास से मोबाइल फोन के साथ-साथ 23 सर्जिकल ब्लेड मिले थे.
तिहाड़ जेल हेडक्वार्टर के प्रवक्ता ने बताया कि यह पांच मोबाइल एक अंडर ट्रायल कैदी अलमस उर्फ अल्लू के पास से बरामद किया है. यह नासिर गैंग से ताल्लुक रखता है. इसे दिल्ली आर्म्ड पुलिस के थर्ड बटालियन की टीम जेल से कोर्ट में पेशी के लिए ले गई थी, जब वहां से वापस से लाया गया और मंडोली के जेल नंबर 11 में दोपहर में तलाशी ली गई तो इसके पास से यह मोबाइल बरामद किए गए.
अल्लू ने बरामद मोबाइल को बैंडेज के अंदर रैप करके छुपा रखा था. जब इसे कोर्ट से मंडोली जेल लाया गया तो ड्यूटी पर तैनात कर्मियों पर उसकी संदिग्ध गतिविधि को देखकर शक हुआ. उसके बाद इसकी गहनता से जांच की गई और तो मोबाइल बरामद किए गए. बरामद मोबाइल को इसने जख्म के ऊपर लगाने वाले मरहम वाली पट्टी के अंदर रैप करके पैर के बैक साइड में इस तरह से बांध रखी थी, जिससे पता न चल सके. इस मामले को लेकर मंडोली जेल प्रशासन ने स्थानीय पुलिस को सूचना दे दी है, जिससे आगे की कानूनी कार्रवाई वह कर सकेंगे.
गौरतलब है कि इससे कुछ दिन पहले ही तिहाड़ के जेल नंबर 3 में 23 सर्जिकल ब्लेड, दो मोबाइल और ड्रग्स बरामद किया गया था. उससे पहले भी मंडोली, रोहिणी और तिहाड़ के अलग-अलग जेलों में काफी मात्रा में मोबाइल बरामद किए जा चुके हैं. जब से डायरेक्टर जनरल संजय बेनीवाल तिहाड़ में पदस्थापित हुए हैं, लगातार जेल में कैदियों पर मोबाइल के इस्तेमाल, सर्जिकल ब्लेड, ड्रग्स आदि को लेकर कार्रवाई की जा रही है. सैकड़ों की संख्या में अब तक मोबाइल के अलावा दूसरे प्रतिबंधित सामग्री रिकवर की जा चुकी है.