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AIIMS के डाक्टरों ने NMC बिल को बताया जनविरोधी, सरकार से बदलने की मांग

दिल्ली एम्स के डॉक्टरों ने एनएमसी बिल का विरोध करते हुए बिल की प्रतियां जलाईं. डॉक्टरों का कहना है कि यह बिल जनविरोधी और गरीब विरोधी है.

एनएमसी बिल प्रतियों को एम्स के बाहर डॉक्टरों ने जलाया etv bharat
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Published : Jul 24, 2019, 5:37 AM IST

Updated : Jul 24, 2019, 6:49 AM IST

नई दिल्ली: राजधानी में एम्स के बाहर डॉक्टरों ने एनएमसी बिल का विरोध किया और बिल की प्रतियों को जलाया. दरअसल डॉक्टरों का कहना है कि यह बिल जनविरोधी के साथ-साथ डॉक्टर विरोधी भी है.

एनएमसी बिल प्रतियों को एम्स के बाहर डॉक्टरों ने जलाया


डॅाक्टरों का कहना है कि हम तब तक इसका विरोध करते रहेंगे जब तक इसमें बदलाव नहीं किया जाएगा. डॅाक्टरों की मांग है कि जो जनविरोधी नीतियां हैं. उसको बदला जाना चाहिए. दिल्ली एम्स के बाहर डॉक्टरों ने इस बिल के विरोध में नारे लगाए और एनएमसी बिल की प्रतियां जलाई.

जनविरोधी और गरीब विरोधी है बिल
डॉक्टरों का कहना है कि यह बिल जनविरोधी और गरीब विरोधी है क्योंकि इस बिल के लागू होने के बाद डॉक्टरी पेशा में पैसे का बोलबाला बढ़ेगा और डॉक्टरी पढ़ाई की सीटें बेची जाएंगी.


एमबीबीएस बनने के लिए लाखों करोड़ों रुपए खर्च किए जाएंगे जिससे डॉक्टरी की पढ़ाई महंगी हो जाएगी. जो डॉक्टर बनेगा वह डॉक्टर बनने में खर्च हुए रुपए की वसूली इलाज से करेगा. जिससे इलाज महंगा हो जाएगा.


साथ ही डॉक्टरों का कहना है कि इस बिल से सरकार कई ऐसे बदलाव कर रही है. जो गरीब छात्रों के लिए नासूर बन सकता है. क्योंकि जिन गरीब छात्रों के पास मोटी फीस देने के लिए पैसे नहीं होंगे वो डॉक्टर नहीं बन पाएंगे.

बढ़ जाएगी मैनेजमेंट कॉलेजों की मनमानी
डॉक्टरों के अनुसार गरीब छात्र अपनी मेहनत के बल पर सरकारी अस्पतालों में डॉक्टर बनते हैं, लेकिन इस बिल के बाद वह डॉक्टर नहीं बन पाएंगे और डॉक्टर बनाने या पढ़ाने के लिए मैनेजमेंट कॉलेज मनमानी फीस लेंगे.जो कि गरीब छात्रों के लिए गलत है. इसलिए हम इसका विरोध कर रहे हैं.


ऐसी तमाम बातों को गिना कर, डॉक्टर इस बिल का विरोध कर रहे हैं और इस बिल में उन नीतियों को बदलने की मांग कर रहे हैं. जो गरीब छात्रों के हित में नहीं है.


साथ ही डॉक्टरों ने यह भी कहा कि जब तक इस बिल में सरकार बदलाव नहीं करेगी तब तक हम इसका विरोध करते रहेंगे.

नई दिल्ली: राजधानी में एम्स के बाहर डॉक्टरों ने एनएमसी बिल का विरोध किया और बिल की प्रतियों को जलाया. दरअसल डॉक्टरों का कहना है कि यह बिल जनविरोधी के साथ-साथ डॉक्टर विरोधी भी है.

एनएमसी बिल प्रतियों को एम्स के बाहर डॉक्टरों ने जलाया


डॅाक्टरों का कहना है कि हम तब तक इसका विरोध करते रहेंगे जब तक इसमें बदलाव नहीं किया जाएगा. डॅाक्टरों की मांग है कि जो जनविरोधी नीतियां हैं. उसको बदला जाना चाहिए. दिल्ली एम्स के बाहर डॉक्टरों ने इस बिल के विरोध में नारे लगाए और एनएमसी बिल की प्रतियां जलाई.

जनविरोधी और गरीब विरोधी है बिल
डॉक्टरों का कहना है कि यह बिल जनविरोधी और गरीब विरोधी है क्योंकि इस बिल के लागू होने के बाद डॉक्टरी पेशा में पैसे का बोलबाला बढ़ेगा और डॉक्टरी पढ़ाई की सीटें बेची जाएंगी.


एमबीबीएस बनने के लिए लाखों करोड़ों रुपए खर्च किए जाएंगे जिससे डॉक्टरी की पढ़ाई महंगी हो जाएगी. जो डॉक्टर बनेगा वह डॉक्टर बनने में खर्च हुए रुपए की वसूली इलाज से करेगा. जिससे इलाज महंगा हो जाएगा.


साथ ही डॉक्टरों का कहना है कि इस बिल से सरकार कई ऐसे बदलाव कर रही है. जो गरीब छात्रों के लिए नासूर बन सकता है. क्योंकि जिन गरीब छात्रों के पास मोटी फीस देने के लिए पैसे नहीं होंगे वो डॉक्टर नहीं बन पाएंगे.

बढ़ जाएगी मैनेजमेंट कॉलेजों की मनमानी
डॉक्टरों के अनुसार गरीब छात्र अपनी मेहनत के बल पर सरकारी अस्पतालों में डॉक्टर बनते हैं, लेकिन इस बिल के बाद वह डॉक्टर नहीं बन पाएंगे और डॉक्टर बनाने या पढ़ाने के लिए मैनेजमेंट कॉलेज मनमानी फीस लेंगे.जो कि गरीब छात्रों के लिए गलत है. इसलिए हम इसका विरोध कर रहे हैं.


ऐसी तमाम बातों को गिना कर, डॉक्टर इस बिल का विरोध कर रहे हैं और इस बिल में उन नीतियों को बदलने की मांग कर रहे हैं. जो गरीब छात्रों के हित में नहीं है.


साथ ही डॉक्टरों ने यह भी कहा कि जब तक इस बिल में सरकार बदलाव नहीं करेगी तब तक हम इसका विरोध करते रहेंगे.

Intro:डेडलाइन - दक्षिण दिल्ली (एम्स )

आज दिल्ली एम्स के बाहर डॉक्टरों ने एनएमसी बिल का विरोध किया और बिल के प्रतियों को जलाया दरअसल डॉक्टरों का कहना है कि यह बिल गरीब विरोधी है डॉक्टर विरोधी है इसीलिए हम इसका विरोध कर रहे हैं और तब तक हम इसका विरोध करते रहेंगे जब तक इसमें बदलाव नहीं किया जाएगा जो जनविरोधी नीतियां हैं उसको बदला नहीं जाएगा आज दिल्ली एम्स के बाहर डॉक्टरों ने इस बिल के विरोध में नारे लगाए और एनएमसी बिल की प्रतियां जलाई ।


Body:डॉक्टर का कहना है कि यह बिल जनविरोधी है गरीब विरोधी है क्योंकि इस बिल के लागू होने के बाद डॉक्टरी पेशा में पैसे का बोलबाला बढ़ेगा और डॉक्टरी पढ़ाई की सीटे बेची जाएंगी और एमबीबीएस बनने के लिए लाखों करोड़ रुपए खर्च किए जाएंगे और डॉक्टर बनना महंगा हो जाएगा फिर जो डॉक्टर बनेगा वह उस डॉक्टर बनने में हुए खर्च रुपए का वसूली इलाज से करेगा और फिर इलाज मांगा होगा और वह महंगा इलाज आम आदमी के पहुंच से दूर होगा साथ ही डॉक्टरों का कहना है कि इस बिल के द्वारा सरकार कई ऐसे बदलाव कर रही हैं जो गरीब छात्रों के लिए नासूर बन सकता है क्योकि जिनगरीब छात्रों के पास मोटे फीस देने लायक नहीं होंगे वो डॉक्टर नहीं बन पाएंगे । फिलहाल वैसे गरीब छात्र अपने मेहनत के बल पर सरकारी अस्पतालों में डॉक्टर बनते हैं लेकिन इस बिल के बाद वह डॉक्टर नहीं बन पाएंगे और डॉक्टर बनाने या पढ़ाने के लिए मैनेजमेंट कॉलेज मनमानी फीस लेंगे जो कि गरीब छात्रों के लिए गलत है इसलिए हम इसका विरोध कर रहे हैं ऐसी तमाम बातों को गिना कर डॉक्टर इस बिल का विरोध कर रहे हैं और इस बिल में उन नीतियों को बदलने की मांग कर रहे हैं जो गरीब छात्रों के विरोध हैं जो जन विरोधी हैं और साथ यह कह रहे हैं कि जब तक इस बिल में बदलाव सरकार नहीं करेगी तब तक हम इसका विरोध करते रहेंगे ।

बाइट- डॉ हरजीत सिंह भाटी (VC, IMA,JDN)


Conclusion:प्रोटेस्ट करने वाले डॉक्टरों का कहना है कि जब तक इस बिल में जरूरी बदलाव जो कि गरीब विरोधी और छात्र विरोधी है उसको नहीं बदला जाएगा तब तक हम इस बिल का विरोध करते रहेंगे ।
Last Updated : Jul 24, 2019, 6:49 AM IST

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