नई दिल्ली : प्लास्टिक की समस्या से हर कोई वाकिफ है. प्लास्टिक जहां प्रदूषण फैलाता है वही यह कूड़े का इजाफा करने में सहायक होता है. लैंडफिल साइट बढ़ाने में भी प्लास्टिक के खतरे को देखते हुए लोगों से प्लास्टिक का कम इस्तेमाल करने को कहा जा रहा है. इसी कड़ी में अन्य सामाजिक संस्थाओं द्वारा भी प्लास्टिक के रोकथाम के लिए कई कदम उठाए जा रहे हैं. दिल्ली एनसीआर में 4 से 9 अक्टूबर तक 25 टन प्लास्टिक कलेक्शन मुहिम की शुरुआत हुई.
भारत को प्लास्टिक के खतरे से निपटने के लिए एकजुट प्रयास की जरूरत है. इसको लेकर भारत सौका गोकाई (बीएसजी) द्वारा दिल्ली के लोधी रोड पर कार्यक्रम का आयोजन किया गया. इस दौरान नीति आयोग के महानिदेशक संजय कुमार मौजूद रहे और उन्होंने कहा कि प्लास्टिक के खतरे से निपटने के लिए जनसाधारण, उद्योगों और सरकारों को एक साथ मिलकर काम करना चाहिए.
कार्यक्रम के दौरान बताया गया कि प्लास्टिक किस तरह हमारे प्रकृति को खत्म कर रहा है. लोग जिस प्रकार से प्लास्टिक का प्रयोग कर रहे हैं ऐसे में प्लास्टिक सिर्फ हमारे लिए ही विनाशक नहीं बन रहा बल्कि प्रकृति से जुड़े कई पेड़ पौधे पशु पक्षियों के लिए भी खतरनाक है. इसलिए हम लोग प्लास्टिक को ना कहे. प्लास्टिक का उपयोग कम करना, इसकी रीसाइक्लिंग करना और टिकाऊ विकल्पों को बढ़ावा देना अत्यंत महत्वपूर्ण कदम है. इसके तहत ही पहले चरण के रूप में 25 टन प्लास्टिक कलेक्शन ड्राइव लॉन्च किया गया है और इस पहल का उद्देश्य दिल्ली एनसीआर को प्लास्टिक से पूरी तरह निजात दिलाना और लोगों को इसके नुकसान के बारे में जागरूक करना है. ताकि प्लास्टिक प्रदूषण से निपटा जा सके.
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