नई दिल्लीः दिल्ली विकास प्राधिकरण (डीडीए) द्वारा महरौली में रविवार को लगातार तीसरे दिन अतिक्रमण हटाओ अभियान चल रहा है. वहीं इसके खिलाफ स्थानीय लोगों का विरोध भी लगातार तीसरे दिन जारी है. स्थानीय प्रदर्शनकारियों ने सरकार और डीडीए के खिलाफ जमकर नारेबाजी की. प्रदर्शनकारियों ने 'डीडीए हाय-हाय', 'तानाशाही नहीं चलेगी, नहीं चलेगी' जैसे नारे लगाए. वहीं, दिल्ली हाईकोर्ट ने मामले में सुनवाई की अगली तारीख तक स्थगन आदेश के बावजूद महरौली में अतिक्रमण हटाए जाने को लेकर डीडीए की खिंचाई की है.
दावा किया जा रहा है कि उग्र प्रदर्शनकारियों ने धरना स्थल पर तैनात सुरक्षाकर्मियों पर लाल मिर्च पाउडर फेंके. पुलिस ने यह भी स्पष्ट किया कि किसी भी प्रदर्शनकारी पर लाठीचार्ज नहीं किया और इसमें कोई भी घायल नहीं हुआ है. पुलिस ने कहा कि स्थानीय लोगों ने डीडीए कर्मचारियों के काम में बाधा डाल रहे थे और कुछ महिलाओं ने पुलिसकर्मियों पर लाल मिर्च पाउडर भी फेंकी. उनलोगों के खिलाफ पर्याप्त कानूनी कार्रवाई की जाएगी.
डीडीए ने शनिवार को आधिकारिक बयान में कहा कि उनके अभियान का उद्देश्य सरकारी भूमि पर अनधिकृत अतिक्रमण को हटाना है, जिसमें भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (एएसआई) के संरक्षित स्मारक भी शामिल हैं. महरौली पुरातत्व पार्क में पड़ने वाले लाडो सराय गांव में दिल्ली पुलिस के साथ डीडीए ने शुक्रवार से अतिक्रमण हटाओ अभियान चलाया है. अनधिकृत और अवैध अतिक्रमण हटाने का काम उच्च न्यायालय के निर्देश के अनुसार किया गया है.
आम आदमी पार्टी ने कार्रवाई रोकने को कहा: प्रतिष्ठित कुतुब मीनार से लगे इस पार्क में एएसआई, जीएनसीटीडी के राज्य पुरातत्व विभाग और डीडीए के संरक्षण में लगभग 55 स्मारक मौजूद हैं. अवैध अतिक्रमण को हटाकर महरौली पुरातत्व पार्क के अंतर्गत आने वाले क्षेत्र को सुरक्षित और संरक्षित किया जाएगा. दिल्ली सरकार ने शनिवार को डीडीए से दक्षिणी दिल्ली के महरौली में अतिक्रमण हटाओ अभियान को स्थगित करने और जब तक नए सिरे से क्षेत्र का सीमांकन नहीं किया जाता तब तक स्थानीय निवासियों को विस्थापित नहीं करने को कहा था.
(इनपुट- ANI)
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