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दिल्ली अग्निकांड: छत का दरवाजा खुला होता तो बच जाती कई जिंदगियां!

गिरफ्तार किए गए फुरकान ने पुलिस को बताया कि क्षेत्र में चोरी की काफी घटनाएं होती थी. इसलिए उसने छत की सीढ़ियों के ऊपर लगे हुए दरवाजे को बाहर से बंद कर दिया था. इस पर उसने ताला लगा दिया था, ताकि कोई भी छत के रास्ते नीचे दाखिल ना हो सके.

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अनाज मंडी आग बिल्डिंग मैनेजर फुरकान
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Published : Dec 11, 2019, 9:15 AM IST

नई दिल्ली: फिल्मिस्तान के समीप अनाज मंडी के जिस मकान में अग्निकांड हुआ, उसके छत की सीढ़ियों पर बने दरवाजे में बाहर से ताला लगा हुआ था. यही वजह है कि बिल्डिंग में फंसे लोग चाहकर भी छत पर नहीं जा सके. अगर यह दरवाजा खुला होता तो लोग छत पर जाकर खुली हवा में सांस ले पाते और उनकी जान बच जाती. लेकिन फुरकान ने छत के दरवाजे पर बाहर से ताला लगा रखा था.

अनाज मंडी अग्निकांड में हो रहे हैं खुलासे

चोरी से बचने के लिए लगाया था छत पर ताला
गिरफ्तार किए गए फुरकान ने पुलिस को बताया है कि वो इस बिल्डिंग से किराया लेने का काम करता था. इस काम के लिए उसे 15 हजार रुपए महीना वेतन मिलता था. वो इस बिल्डिंग की देखरेख का काम संभालता था.
उसने पुलिस को दिए बयान में बताया है कि क्षेत्र में चोरी की काफी घटनाएं होती थी. इसलिए उसने छत की सीढ़ियों के ऊपर लगे हुए दरवाजे को बाहर से बंद कर दिया था. इस पर उसने ताला लगा दिया था, ताकि कोई भी छत के रास्ते नीचे दाखिल ना हो सके. लेकिन उसके इस कदम की कीमत किरायेदारों को जान देकर चुकानी पड़ी.


फंसे लोगों ने छत पर जाने का किया था प्रयास
पुलिस के मुताबिक जांच में पता चला है कि दूसरी और तीसरी मंजिल पर सीढ़ियों के पास आग लगी हुई थी. इस वजह से ये लोग सीढ़ियों के रास्ते नीचे नहीं जा सके. इनके पास केवल ऊपर जाने का रास्ता था. मौके से ऐसा लगता है कि कुछ लोग जान बचाने के लिए ऊपर की तरफ भागे भी, लेकिन सीढ़ियों पर बने दरवाजे में बाहर की तरफ से ताला लगा हुआ था. इस वजह से वो छत पर नहीं जा सके. वहां से नीचे लौटकर कमरों में छिपकर उन्होंने जान बचाने की कोशिश की, लेकिन धुएं की वजह से इन लोगों की मौत हो गई.


जलने से केवल 3 लोगों की हुई है मौत
इस अग्निकांड में मरने वाले 43 में से 40 लोगों के शव का पोस्टमार्टम अस्पताल में किया जा चुका है. वहीं 3 लोगों के परिजन अभी नहीं पहुंचे हैं. क्राइम ब्रांच को इसकी प्राथमिक जांच में पता चला है कि केवल 2 लोगों की जलने से मौत हुई है. इसके अलावा अन्य 41 लोगों की मौत दम घुटने से हुई है. पुलिस को इनके शरीर पर जलने के निशान नहीं मिले हैं.

नई दिल्ली: फिल्मिस्तान के समीप अनाज मंडी के जिस मकान में अग्निकांड हुआ, उसके छत की सीढ़ियों पर बने दरवाजे में बाहर से ताला लगा हुआ था. यही वजह है कि बिल्डिंग में फंसे लोग चाहकर भी छत पर नहीं जा सके. अगर यह दरवाजा खुला होता तो लोग छत पर जाकर खुली हवा में सांस ले पाते और उनकी जान बच जाती. लेकिन फुरकान ने छत के दरवाजे पर बाहर से ताला लगा रखा था.

अनाज मंडी अग्निकांड में हो रहे हैं खुलासे

चोरी से बचने के लिए लगाया था छत पर ताला
गिरफ्तार किए गए फुरकान ने पुलिस को बताया है कि वो इस बिल्डिंग से किराया लेने का काम करता था. इस काम के लिए उसे 15 हजार रुपए महीना वेतन मिलता था. वो इस बिल्डिंग की देखरेख का काम संभालता था.
उसने पुलिस को दिए बयान में बताया है कि क्षेत्र में चोरी की काफी घटनाएं होती थी. इसलिए उसने छत की सीढ़ियों के ऊपर लगे हुए दरवाजे को बाहर से बंद कर दिया था. इस पर उसने ताला लगा दिया था, ताकि कोई भी छत के रास्ते नीचे दाखिल ना हो सके. लेकिन उसके इस कदम की कीमत किरायेदारों को जान देकर चुकानी पड़ी.


फंसे लोगों ने छत पर जाने का किया था प्रयास
पुलिस के मुताबिक जांच में पता चला है कि दूसरी और तीसरी मंजिल पर सीढ़ियों के पास आग लगी हुई थी. इस वजह से ये लोग सीढ़ियों के रास्ते नीचे नहीं जा सके. इनके पास केवल ऊपर जाने का रास्ता था. मौके से ऐसा लगता है कि कुछ लोग जान बचाने के लिए ऊपर की तरफ भागे भी, लेकिन सीढ़ियों पर बने दरवाजे में बाहर की तरफ से ताला लगा हुआ था. इस वजह से वो छत पर नहीं जा सके. वहां से नीचे लौटकर कमरों में छिपकर उन्होंने जान बचाने की कोशिश की, लेकिन धुएं की वजह से इन लोगों की मौत हो गई.


जलने से केवल 3 लोगों की हुई है मौत
इस अग्निकांड में मरने वाले 43 में से 40 लोगों के शव का पोस्टमार्टम अस्पताल में किया जा चुका है. वहीं 3 लोगों के परिजन अभी नहीं पहुंचे हैं. क्राइम ब्रांच को इसकी प्राथमिक जांच में पता चला है कि केवल 2 लोगों की जलने से मौत हुई है. इसके अलावा अन्य 41 लोगों की मौत दम घुटने से हुई है. पुलिस को इनके शरीर पर जलने के निशान नहीं मिले हैं.

Intro:नई दिल्ली
फिल्मिस्तान के समीप अनाज मंडी के जिस मकान में अग्निकांड हुआ, उसके छत की सीढ़ियों पर बने दरवाजे में बाहर से ताला लगा हुआ था. यही वजह है कि बिल्डिंग में फंसे लोग चाहकर भी छत पर नहीं जा सके. अगर यह दरवाजा खुला होता तो लोग छत पर जाकर खुली हवा में सांस ले पाते और उनकी जान बच जाती. लेकिन फुरकान ने छत के दरवाजे पर बाहर से ताला लगा रखा था.


Body:गिरफ्तार किए गए फुरकान ने पुलिस को बताया है कि इस बिल्डिंग से किराया लेने का काम वह करता था. इस काम के लिए उसे 15 हजार रुपए महीना वेतन मिलता था. वह इस बिल्डिंग की देखरेख का काम संभालता था. उसने पुलिस को दिए बयान में बताया है कि क्षेत्र में चोरी की काफी घटनाएं होती थी. इसलिए उसने छत की सीढ़ियों के ऊपर लगे हुए दरवाजे को बाहर से बंद कर दिया था. इस पर उसने ताला लगा दिया था ताकि कोई भी छत के रास्ते नीचे दाखिल ना हो सके. लेकिन उसके इस कदम की कीमत किरायेदारों को जान देकर चुकानी पड़ी.



मर रहे लोगों ने ऊपर जाने का किया था प्रयास
पुलिस के अनुसार जांच में पता चला है कि दूसरी और तीसरी मंजिल पर सीढ़ियों के पास आग लगी हुई थी. इस वजह से यह लोग सीढ़ियों के रास्ते नीचे नहीं जा सके. इनके पास केवल ऊपर जाने का रास्ता था. मौके से ऐसा लगता है कि कुछ लोग जान बचाने के लिए ऊपर की तरफ भागे भी, लेकिन सीढ़ियों पर बने दरवाजे में बाहर की तरफ से ताला लगा हुआ था. इस वजह से वह छत पर नहीं जा सके. वहां से नीचे लौटकर कमरों में छिपकर उन्होंने जान बचाने की कोशिश की, लेकिन धुएं की वजह से इन लोगों की मौत हो गई.


Conclusion:जलने से केवल दो लोगों की हुई है मौत
इस अग्निकांड में मरने वाले 43 में से 40 लोगों के शव का पोस्टमार्टम अस्पताल में किया जा चुका है. वहीं तीन लोगों के परिजन अभी नहीं पहुंचे हैं. क्राइम ब्रांच को इसकी प्राथमिक जांच में पता चला है कि केवल दो लोगों की जलने से मौत हुई है. इसके अलावा अन्य 41 लोगों की मौत दम घुटने से हुई है. इनके शरीर पर जलने के निशान पुलिस को नहीं मिले हैं.
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