नई दिल्ली: केजरीवाल सरकार पर्यावरण संरक्षण को महत्व देते हुए इस साल भी दिल्ली में लाखों पौधे लगाएगी. इसी कड़ी में अब दिल्ली के सरकारी स्कूलों में पौधे लगाने के लिए निर्देश जारी किया गया है. शिक्षा विभाग ने सभी 1045 सरकारी स्कूलों के प्रमुखों को निर्देश दिया है कि वह अपने स्कूलों में 250 पौधे लगाए. इस तरह से करीब दो लाख पौधे सरकारी स्कूलों में लगाए जाएंगे. पौधरोपण कार्यक्रम को सफल बनाने के उद्वेश्य से शिक्षा विभाग ने एक परिपत्र भी जारी कर दिया है. विभाग ने कहा है कि गत वर्ष की तरह इस साल भी स्कूलों में "दो लाख पचहत्तर हजार पौधे" लगाने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है.
पौधरोपण कार्यक्रम के लिए दिशा निर्देश: वृक्षारोपण के बारे में जागरुकता अभियान चलाना, हरियाली विद्यालय पर निबंध व नारा लेखन प्रतियोगिता, पर्यावरण पर पोस्टर, पेंटिंग और नुक्कड़ नाटक प्रतियोगिता, विशेष पौधरोपण अभियान चलाना. धूल से होने वाले वायु प्रदूषण को कम करने के लिए घास और लताओं का उपयोग करके ग्रीन पैच क्षेत्र बढ़ाना है. सभी खुले क्षेत्रों में पौधरोपण का 75 प्रतिशत लक्ष्य 11 अगस्त 2023 तक सभी विद्यालयों द्वारा प्राप्त किया जायेगा.
स्कूल प्रमुख यहां से ले फ्री में पौधे: शिक्षा विभाग ने कहा है कि स्कूलों में पौधे लगाने के लिए उन्हें फ्री में पौधे मुहैया कराया जाएगा. किसी भी चिन्हित नर्सरी से स्कूल द्वारा नि: शुल्क पौधे प्राप्त किए जा सकते हैं. इको-क्लब के प्रभारी शिक्षक और सभी स्टाफ सदस्य पौधे लगाएंगे. छात्रों की भागीदारी की मदद से पौधों की स्थिति की नियमित निगरानी करने के साथ-साथ उनका रखरखाव व संरक्षण करेंगे. सभी सरकारी स्कूलों के प्रमुखों को पौध रोपण के संबंध में रिपोर्ट जिला शिक्षा निदेशक को देनी हैं.
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पर्यावरण संकट के प्रति आगाह: पश्चिमी दिल्ली के जनकपुरी में स्थित भारती गर्ल्स कॉलेज की छात्राओं ने पर्यावरण संरक्षण और जलवायु परिवर्तन को लेकर लोगों को जागरूक किया. छात्राओं का कहना था कि भारत सहित विश्व इस पर चिंता कर रहा है. इसी के मद्देनजर अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (एबीवीपी) की गतिविधि विकासार्थ विद्यार्थी द्वारा विश्व पृथ्वी दिवस मनाया गया. इस दौरान अलग-अलग स्लोगन के माध्यम से लोगों को प्रकृति सरंक्षण के लिए जागरूक किया गया.
एबीवीपी भारती महाविद्यालय की इकाई मंत्री शैलवी शुक्ला ने कहा कि वर्तमान में विश्वविद्यालयों में पढ़ रहे छात्र देश के ज़िम्मेदार नागरिक भी है. वर्तमान समय में जब पूरा विश्व पर्यावरण के विषय पर चिंता कर रहा है. तब आवश्यक है कि भारत के युवा भी इसके संरक्षण के लिए नेतृत्वकारी भूमिका में आएं.
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