नई दिल्ली : दिल्ली नगर निगम चुनाव में अब एक हफ्ते का भी समय नहीं बचा है. शायद इसीलिए अपराधी अधिक सक्रिय हो गए हैं. अपराधियों की सक्रियता को लेकर दिल्ली पुलिस भी सतर्कता अभियान चला रही है. इस दौरान दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने दिल्ली के अलग-अलग इलाकों से तीन हथियार तस्करों को गिरफ्तार किया है. इनके पास से 15 सेमी ऑटोमेटिक पिस्टल व 7 कट्टे बरामद किए गए (Country made pistol recovered) हैं. ये हथियार मध्यप्रदेश से लाए गए थे. इन्हें दिल्ली एनसीआर के बदमाशों को दिया जाना था. गिरफ्तार आरोपियों के खिलाफ आर्म्स एक्ट में मुकदमा दर्ज किया गया है.
दो मध्य प्रदेश और एक राजस्थान का निवासी :डीसीपी स्पेशल सेल प्रमोद सिंह कुशवाहा के मुताबिक, निगम चुनाव को देखते हुए स्पेशल सेल मध्य प्रदेश के उन हथियार तस्करों पर नजर रख रही है जो पूर्व में दिल्ली में कई बार हथियार व कारतूस आपूर्ति करने में लिप्त पाए गए थे. इसी के तहत सेल की टीम ने तीनों को गिरफ्तार किया. इनके नाम मनमोहन चौरसिया, जयप्रकाश पांडेय व अभिषेक सिंह है. मनमोहन व जयप्रकाश दोनों मध्य प्रदेश व अभिषेक राजस्थान के सवाई माधोपुर का रहने का रहने वाला है. तीनों पिछले पांच साल से अधिक समय से दिल्ली समेत पड़ोस के राज्यों में हथियारों की तस्करी कर रहे थे. एसीपी अतर सिंह, इंस्पेक्टर रंजीत सिंह व संजीव कुमार की टीम ने गुप्त सूचना के आधार पर 27 नवंबर को पहले आश्रम चौक के पास स्थित एक बस स्टैंड के पास से मनमोहन चौरसिया व जयप्रकाश पांडेय को गिरफ्तार किया. दोनों के पास से 12 पिस्टल, जिसमें प्वाइंट 32 बोर की पांच सेमी-आटोमैटिक पिस्टल के साथ पांच अतिरिक्त मैग्जीन और सात कट्टे बरामद किए. इनसे पूछताछ के आधार पर इंस्पेक्टर विवेकानंद पाठक और कुलदीप सिंह की टीम ने तीसरे आरोपी अभिषेक सिंह को आउटर रिंग रोड के झील वाला पार्क के पास से गिरफ्तार कर लिया. उसके कब्जे से 10 सेमी आटोमेटिक पिस्टल बरामद की गई. साथ ही हथियार तस्करी की गतिविधियों में इस्तेमाल होने वाले मोबाइल और सिमकार्ड भी बरामद किए गए.
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600 से अधिक हथियार की आपूर्ति कर चुके हैं तीनों: पूछताछ में आरोपियों ने बताया कि उन्हें मध्य प्रदेश के सेंधवा और खरगोन के दो हथियार निर्माताओं से हथियारों की खेप मिली थी. ये मध्य प्रदेश से सेमी आटोमेटिक पिस्टल 8000 रुपये और कट़्टा 3000 रुपये में खरीदते थे. इन हथियारों को सेमी ऑटोमेटिक पिस्टल ये 25000 रुपये व प्रति कट्टा 6000 की दर से बदमाशों को बेच देते थे. पूछताछ में आरोपियों ने यह भी बताया कि पांच साल के दौरान इन्होंने केवल दिल्ली एनसीआर में 600 से अधिक हथियारों आपूर्ति कर चुके हैं. पुलिस अधिकारियों के मुताबिक आरोपियों को जिन्होंने हथियारों की सप्लाई की और इन्होंने जिन लोगों को हथियार बेचे हैं, उन लोगों की भी पहचान की गई है. जल्दी ही उन पर कार्रवाई कर इस पूरे गिरोह का खुलासा किया जाएगा.
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