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दिल्ली शराब घोटाले पर सीबीआई रेड के बाद ईडी की रेड, जानिए पूरा मामला

दिल्ली शराब घोटाले में सीबीआई के बाद अब ईडी (Enforcement Directorate) की एंड्री हो चुकी है. मंगलवार को दिल्ली समेत देश के अन्य शहरों में ईडी रेड कर रही है. दिल्ली के जोर बाग के अलावा लखनऊ, हैदराबाद, बेंगलुरू, गुरुग्राम, मुंबई में भी कई जगहों पर ED की रेड चल रही है. ED raid on liquor scam in Delhi

ED raid on liquor scam in Delhi
ED raid on liquor scam in Delhi
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Published : Sep 6, 2022, 12:58 PM IST

Updated : Sep 6, 2022, 2:23 PM IST

नई दिल्ली : दिल्ली में नई एक्साइज पॉलिसी (New Excise Policy) में भ्रष्टाचार मामले की गत माह उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया के निवास, कार्यालय से लेकर अन्य जगहों पर सीबीआई (Central Beuro of Investigation) रेड के बाद आज ईडी (Enforcement Directorate) भी दिल्ली समेत देश के अन्य शहरों में रेड कर रही है. दिल्ली के जोर बाग स्थित शराब विक्रेता वेंडर समीर महेंद्रू एमडी, इंडोस्पिरिट ग्रुप, जिसका नाम सीबीआई की FIR में भी दर्ज है, उसके निवास पर ED की रेड चल रही है. इसके अलावे लखनऊ, हैदराबाद, बेंगलुरू, गुरुग्राम, मुंबई में भी कई जगहों पर ED की रेड जारी है. ED raid on liquor scam in Delhi

दिल्ली सरकार द्वारा गत वर्ष लागू नई आबकारी नीति जिसे अब वापिस ले लिया गया है, उपराज्यपाल विनय कुमार सक्सेना (Lieutenant Governor Vinay Kumar Saxena) ने पिछले महीने नई आबकारी नीति (New Excise Policy) को लागू करने में अनियमितता व भ्रष्टाचार मामले में जांच की सीबीआई से सिफारिश की थी. दिल्ली में पहले शराब की बिक्री सरकारी दुकानों में होती थी. निर्धारित रेट पर ही चुनिंदा जगहों पर खुली हुई दुकानों में ही शराब बेची जाती थी. यह वर्षों पुरानी बनाई गई नीति के तहत शराब की बिक्री होती थी. केजरीवाल सरकार ने गत वर्ष नवंबर में शराब की बिक्री के लिए नई आबकारी नीति को लागू किया. इसके तहत शराब की बिक्री की जिम्मेदारी निजी कंपनियों व दुकानदारों को दे दिया गया. सरकार का कहना था कि इससे कंपटीशन होगा और कम कीमत पर शराब खरीद सकेंगे. इसके अलावा दुकान पर देसी विदेशी सभी ब्रांडों की शराब एक जगह मिलेगी. लेकिन नई आबकारी नीति के तहत नवंबर से दिल्ली में बिक रही शराब की दुकानों को अचानक बंद करने का सरकार ने फैसला लिया. जिससे शराब की बिक्री को लेकर अफरा-तफरी मच गई.

दिल्ली की नई आबकारी नीति 2021-2022 (New Excise Policy 2021-2022) के तहत पूरी दिल्ली को 32 लिकर जोन में बांटा गया. 9 जोन ने पहले ही लाइसेंस सरेंडर कर दिया है. इसके तहत 849 दुकानें खुलीं. 31 जोन में 27 दुकानें मिली. एयरपोर्ट जोन को 10 दुकानें मिलीं. 639 दुकानें 9 मई को और 464 दुकानें 2 जून को खोली गईं. जबकि इस 17 नवंबर 2021 को लागू होने से पहले दिल्ली में शराब की कुल 864 दुकानें थी. 475 दुकानें सरकार चला रही थी, जबकि 389 दुकानें प्राइवेट थीं. दिल्ली में नई आबकारी नीति को लागू करने के पीछे दिल्ली सरकार का सबसे बड़ा तर्क शराब माफिया को खत्म करने और शराब के समान वितरण का था. साथ ही शराब पीने की उम्र 25 से घटाकर 21 साल कर दी गई. इसके साथ ही ड्राइ डे भी घट गए. इस नीति के लागू होने से दिल्ली पहली सरकार बनी जिसने शराब व्यवसाय से खुद को अलग कर लिया. पब्लिक प्लेस में स्टोर के आगे कोई शराब पीता है तो पुलिस नहीं बल्कि स्टोर वाला जिम्मेदार होगा. लोगों को स्टैंडर्ड लेवल की शराब पीने को मिलेगी.

नई एक्साइज पॉलिसी बनाने में बरती गई अनियमितता को लेकर इसी महीने उपराज्यपाल विनय कुमार सक्सेना (Lieutenant Governor Vinay Kumar Saxena) द्वारा आबकारी विभाग के पूर्व कमिश्नर ए गोपी कृष्ण और डिप्टी कमिश्नर आनंद कुमार तिवारी समिति ने 11 अधिकारियों को सस्पेंड किया था. यह कार्रवाई दिल्ली के मुख्य सचिव नरेश कुमार द्वारा उपराज्यपाल को सौंपी गई 37 पेज की रिपोर्ट के बाद की गई है. रिपोर्ट में सतर्कता विभाग (Vigilance Department) की जांच को आधार बनाया गया है. विजिलेंस विभाग द्वारा दी गई अपनी रिपोर्ट में नई आबकारी नीति में कई तरह की कथित गड़बड़ियों को बताया गया है. इसमें एयरपोर्ट पर शराब की दुकान खोलने के लिए जरूरी एयरपोर्ट ऑपरेटर से एनओसी लाने में कामयाब ना होने वाले कंपनी को 30 करोड़ रुपये वापस किए जाना बताया गया है. इसे नियमों के खिलाफ बताया गया है. इसी तरह कोरोना काल में लाइसेंस धारकों को 144 करोड़ रुपये का राहत पैकेज देना, मैन्युफैक्चरर्स और ब्लैक लिस्टेड कंपनियों को रिटेल में शराब बेचने का टेंडर मिलने, शराब कारोबारियों के एक साथ बिजनेस करने को आधार बनाया गया है. रिपोर्ट के आधार पर तत्कालीन एक्साइज कमिश्नर ए गोपीकृष्ण और डिप्टी कमिश्नर आनंद कुमार तिवारी को सस्पेंड करने संबंधी फाइल केंद्रीय गृह मंत्रालय को भेजी गई है जबकि 3 असिस्टेंट कमिश्नर पंकज भटनागर, नरेंद्र सिंह, नीरज गुप्ता सेक्शन ऑफिसर कुलदीप सिंह, सुभाष रंजन, सुमन डीलिंग हैंड सत्यव्रत भटनागर, सचिन सोलंकी और गौरव मान को निलंबित कर दिया गया है. इनमें से पूर्व कमिश्नर की जगह अब कृष्ण मोहन आ गए हैं.

सीबीआई द्वारा दर्ज FIR के मुताबिक, उन तमाम आरोपियों का नाम प्रमुख तौर पर इस प्रकार से हैं-

  1. मनीष सिसोदिया - दिल्ली के उपमुख्यमंत्री
  2. अरवा गोपी कृष्णा - पूर्व एक्साइज कमिश्नर
  3. पंकज भटनागर - सहायक एक्साइज कमिश्नर
  4. मनोज राय - पूर्व कर्मचारी, मेसर्स प्रमोद रिकॉर्ड, लखनऊ
  5. विजय नायर - पूर्व CEO, ओनली मच लाउडर, मुंबई
  6. अमनदीप ढल - निदेशक, मेसर्स ब्रिंडको सेल्स प्राइवेट लिमिटेड
  7. आनंद तिवारी - डिप्टी कमिश्नर, आबकारी विभाग
  8. समीर महेंद्रू - एमडी, इंडोस्पिरिट ग्रुप
  9. अमित अरोड़ा - मेसर्स बडी रिटेल प्राइवेट लिमिटेड
  10. मेसर्स बडी रेटेल्स प्राइवेट लिमिटेड
  11. दिनेश अरोड़ा
  12. मेसर्स महादेव लिकर्स - ओखला, दिल्ली
  13. सनी मारवाह
  14. अरुण रामचंद्र पिल्लई
  15. अरुण पण्डेय - गुरुग्राम
  16. अज्ञात सरकारी और प्राइवेट पर्सन

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नई दिल्ली : दिल्ली में नई एक्साइज पॉलिसी (New Excise Policy) में भ्रष्टाचार मामले की गत माह उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया के निवास, कार्यालय से लेकर अन्य जगहों पर सीबीआई (Central Beuro of Investigation) रेड के बाद आज ईडी (Enforcement Directorate) भी दिल्ली समेत देश के अन्य शहरों में रेड कर रही है. दिल्ली के जोर बाग स्थित शराब विक्रेता वेंडर समीर महेंद्रू एमडी, इंडोस्पिरिट ग्रुप, जिसका नाम सीबीआई की FIR में भी दर्ज है, उसके निवास पर ED की रेड चल रही है. इसके अलावे लखनऊ, हैदराबाद, बेंगलुरू, गुरुग्राम, मुंबई में भी कई जगहों पर ED की रेड जारी है. ED raid on liquor scam in Delhi

दिल्ली सरकार द्वारा गत वर्ष लागू नई आबकारी नीति जिसे अब वापिस ले लिया गया है, उपराज्यपाल विनय कुमार सक्सेना (Lieutenant Governor Vinay Kumar Saxena) ने पिछले महीने नई आबकारी नीति (New Excise Policy) को लागू करने में अनियमितता व भ्रष्टाचार मामले में जांच की सीबीआई से सिफारिश की थी. दिल्ली में पहले शराब की बिक्री सरकारी दुकानों में होती थी. निर्धारित रेट पर ही चुनिंदा जगहों पर खुली हुई दुकानों में ही शराब बेची जाती थी. यह वर्षों पुरानी बनाई गई नीति के तहत शराब की बिक्री होती थी. केजरीवाल सरकार ने गत वर्ष नवंबर में शराब की बिक्री के लिए नई आबकारी नीति को लागू किया. इसके तहत शराब की बिक्री की जिम्मेदारी निजी कंपनियों व दुकानदारों को दे दिया गया. सरकार का कहना था कि इससे कंपटीशन होगा और कम कीमत पर शराब खरीद सकेंगे. इसके अलावा दुकान पर देसी विदेशी सभी ब्रांडों की शराब एक जगह मिलेगी. लेकिन नई आबकारी नीति के तहत नवंबर से दिल्ली में बिक रही शराब की दुकानों को अचानक बंद करने का सरकार ने फैसला लिया. जिससे शराब की बिक्री को लेकर अफरा-तफरी मच गई.

दिल्ली की नई आबकारी नीति 2021-2022 (New Excise Policy 2021-2022) के तहत पूरी दिल्ली को 32 लिकर जोन में बांटा गया. 9 जोन ने पहले ही लाइसेंस सरेंडर कर दिया है. इसके तहत 849 दुकानें खुलीं. 31 जोन में 27 दुकानें मिली. एयरपोर्ट जोन को 10 दुकानें मिलीं. 639 दुकानें 9 मई को और 464 दुकानें 2 जून को खोली गईं. जबकि इस 17 नवंबर 2021 को लागू होने से पहले दिल्ली में शराब की कुल 864 दुकानें थी. 475 दुकानें सरकार चला रही थी, जबकि 389 दुकानें प्राइवेट थीं. दिल्ली में नई आबकारी नीति को लागू करने के पीछे दिल्ली सरकार का सबसे बड़ा तर्क शराब माफिया को खत्म करने और शराब के समान वितरण का था. साथ ही शराब पीने की उम्र 25 से घटाकर 21 साल कर दी गई. इसके साथ ही ड्राइ डे भी घट गए. इस नीति के लागू होने से दिल्ली पहली सरकार बनी जिसने शराब व्यवसाय से खुद को अलग कर लिया. पब्लिक प्लेस में स्टोर के आगे कोई शराब पीता है तो पुलिस नहीं बल्कि स्टोर वाला जिम्मेदार होगा. लोगों को स्टैंडर्ड लेवल की शराब पीने को मिलेगी.

नई एक्साइज पॉलिसी बनाने में बरती गई अनियमितता को लेकर इसी महीने उपराज्यपाल विनय कुमार सक्सेना (Lieutenant Governor Vinay Kumar Saxena) द्वारा आबकारी विभाग के पूर्व कमिश्नर ए गोपी कृष्ण और डिप्टी कमिश्नर आनंद कुमार तिवारी समिति ने 11 अधिकारियों को सस्पेंड किया था. यह कार्रवाई दिल्ली के मुख्य सचिव नरेश कुमार द्वारा उपराज्यपाल को सौंपी गई 37 पेज की रिपोर्ट के बाद की गई है. रिपोर्ट में सतर्कता विभाग (Vigilance Department) की जांच को आधार बनाया गया है. विजिलेंस विभाग द्वारा दी गई अपनी रिपोर्ट में नई आबकारी नीति में कई तरह की कथित गड़बड़ियों को बताया गया है. इसमें एयरपोर्ट पर शराब की दुकान खोलने के लिए जरूरी एयरपोर्ट ऑपरेटर से एनओसी लाने में कामयाब ना होने वाले कंपनी को 30 करोड़ रुपये वापस किए जाना बताया गया है. इसे नियमों के खिलाफ बताया गया है. इसी तरह कोरोना काल में लाइसेंस धारकों को 144 करोड़ रुपये का राहत पैकेज देना, मैन्युफैक्चरर्स और ब्लैक लिस्टेड कंपनियों को रिटेल में शराब बेचने का टेंडर मिलने, शराब कारोबारियों के एक साथ बिजनेस करने को आधार बनाया गया है. रिपोर्ट के आधार पर तत्कालीन एक्साइज कमिश्नर ए गोपीकृष्ण और डिप्टी कमिश्नर आनंद कुमार तिवारी को सस्पेंड करने संबंधी फाइल केंद्रीय गृह मंत्रालय को भेजी गई है जबकि 3 असिस्टेंट कमिश्नर पंकज भटनागर, नरेंद्र सिंह, नीरज गुप्ता सेक्शन ऑफिसर कुलदीप सिंह, सुभाष रंजन, सुमन डीलिंग हैंड सत्यव्रत भटनागर, सचिन सोलंकी और गौरव मान को निलंबित कर दिया गया है. इनमें से पूर्व कमिश्नर की जगह अब कृष्ण मोहन आ गए हैं.

सीबीआई द्वारा दर्ज FIR के मुताबिक, उन तमाम आरोपियों का नाम प्रमुख तौर पर इस प्रकार से हैं-

  1. मनीष सिसोदिया - दिल्ली के उपमुख्यमंत्री
  2. अरवा गोपी कृष्णा - पूर्व एक्साइज कमिश्नर
  3. पंकज भटनागर - सहायक एक्साइज कमिश्नर
  4. मनोज राय - पूर्व कर्मचारी, मेसर्स प्रमोद रिकॉर्ड, लखनऊ
  5. विजय नायर - पूर्व CEO, ओनली मच लाउडर, मुंबई
  6. अमनदीप ढल - निदेशक, मेसर्स ब्रिंडको सेल्स प्राइवेट लिमिटेड
  7. आनंद तिवारी - डिप्टी कमिश्नर, आबकारी विभाग
  8. समीर महेंद्रू - एमडी, इंडोस्पिरिट ग्रुप
  9. अमित अरोड़ा - मेसर्स बडी रिटेल प्राइवेट लिमिटेड
  10. मेसर्स बडी रेटेल्स प्राइवेट लिमिटेड
  11. दिनेश अरोड़ा
  12. मेसर्स महादेव लिकर्स - ओखला, दिल्ली
  13. सनी मारवाह
  14. अरुण रामचंद्र पिल्लई
  15. अरुण पण्डेय - गुरुग्राम
  16. अज्ञात सरकारी और प्राइवेट पर्सन

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Last Updated : Sep 6, 2022, 2:23 PM IST
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