नई दिल्ली: केजरीवाल सरकार द्वारा 613 करोड़ की लागत से CCTV खरीदने की दूसरी चरण की परियोजना पर अतिरिक्त मुख्य लोक निर्माण सचिव ने सवाल खड़े किए हैं.
प्रथम चरण में दिल्ली सरकार द्वारा 530 करोड़ रुपये की लागत से CCTV कैमरे लगाने की प्रक्रिया जारी है. जिसमें कुल परियोजना का मात्र 15% सीसीटीवी लग पाया है. योजना के लिए प्रस्तावित राशि का मात्र 4% खर्च हो पाया है.
मुख्य सचिव ने लगाए आरोप
इस बीच एक्सपेंडिचर फाइनेंस कमेटी की बैठक में 613 करोड़ रुपये की लागत से दूसरे चरण के लिए CCTV खरीदने का प्रस्ताव लाने का अतिरिक्त मुख्य सचिव रेनू शर्मा ने सवाल खड़ा कर दिए. उनका कहना है कि बिना प्रथम चरण पूरा हुए किस प्रकार दूसरे चरण के लिए खरीदी की जा रही है.
'दूसरी परियोजना को मिली मंजूरी'
रेनू शर्मा ने कमेटी की बैठक में कहा कि दूसरे चरण का डीपीआर यानी विस्तृत परियोजना रिपोर्ट भी तैयार नहीं है. बैठक में लोक निर्माण विभाग के सचिव ने कहा कि योजना विभाग व वित्त विभाग का कहना है कि पहले चरण की CCTV योजना पूरा होने के बाद ही दूसरे चरण की योजना शुरू होनी चाहिए.
'निर्माण विभाग ने नहीं दी जानकारी'
अतिरिक्त मुख्य सचिव ने बैठक में कई सवाल उठाए उन्होंने कहा कि लोक निर्माण विभाग से सीसीटीवी लगाने के प्रथम चरण के संबंध में कई बिंदुओं पर गौर करने व रिपोर्ट देने को कहा गया था. लेकिन किसी बिंदु पर कोई जवाब नहीं मिला है.
रेनू शर्मा ने कहा कि जब तक दूसरे चरण के लिए विस्तृत परियोजना रिपोर्ट तैयार नहीं है तो कैसे पता चलेगा कि कहां पर कितने सीसीटीवी जरूरी है, सुरक्षा भी कितनी जरूरी है. लेकिन छोटे-छोटे टुकड़ों में प्रबंध नहीं किया जाना चाहिए.