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तिहाड़ जेल में बंद गैंगस्टर नीरज बवानिया ने की नॉन-वेज और रेडियो की मांग - तिहाड़ जेल गैंगस्टर

कुख्यात बदमाश नीरज बवानिया को तिहाड़ जेल के हाई रिस्क वार्ड में जेल प्रशासन ने डाल दिया था. यहां पर कैदी को अकेले रखा जाता है और वो अन्य कैदियों के संपर्क में नहीं रहता है. उसने तिहाड़ प्रशासन से रेडियो (आई पॉड) और घर का बना खाना देने की मांग की है.

तिहाड़ जेल, गैंगस्टर नीरज बवानिया
गैंगस्टर नीरज बवानिया
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Published : Dec 4, 2019, 11:14 AM IST

नई दिल्ली: तिहाड़ जेल में बंद कुख्यात बदमाश नीरज बवाना को जेल में सुनने के लिए रेडियो और खाने के लिए घर का बना नॉनवेज चाहिए. ये मांग उसने जेल प्रशासन के समक्ष रखी है, जिसे उन्होंने ठुकरा दिया है. उनका कहना है कि जेल नियमों के अनुसार यह सुविधाएं उसे नहीं मिल सकती हैं क्योंकि यह सुविधाएं जेल के किसी भी कैदी को नहीं दी जाती.

नीरज बवानिया ने की जेल में नॉन-वेज और रेडियो की मांग

जानकारी के मुताबिक कुख्यात बदमाश नीरज बवाना साल 2015 से तिहाड़ जेल में बंद है. उसके खिलाफ हत्या, हत्या प्रयास, अपहरण, जमीन कब्जाने, जबरन उगाही आदि के तीन दर्जन से ज्यादा मामले दर्ज हैं. उसे साल 2015 में दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने गिरफ्तार किया था. वो ना केवल दिल्ली बल्कि हरियाणा, उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड तक भी वारदातों को अंजाम देता था.

तिहाड़ जेल से चला रहा था गैंग
तिहाड़ जेल में रहने के दौरान भी वो अपना गैंग चला रहा था. जेल से बाहर मौजूद अपने गुर्गों को वो आदेश दे रहा था. इसकी जानकारी स्पेशल सेल की तरफ से भी जेल प्रशासन को दी गई थी. इसके चलते उसे तिहाड़ जेल के हाई रिस्क वार्ड में जेल प्रशासन ने डाल दिया था. यहां पर कैदी को अकेले रखा जाता है और वो अन्य कैदियों के संपर्क में नहीं रहता है.

तिहाड़ प्रशासन के सामने रखी मांग
हाल ही में उसने तिहाड़ प्रशासन से रेडियो (आई पॉड) और घर का बना खाना देने की मांग की है. उसका कहना है हाई रिस्क वार्ड में अकेले होने के चलते वो वहां पर बोर होता है. इसलिए उसे एफएम वाला रेडियो उपलब्ध कराया जाए.

इसके अलावा जेल के खाने से उसकी सेहत खराब हो रही है. इसलिए उसे घर का खाना मुहैया कराया जाए. इसमें भी उसे नॉनवेज खाने की अनुमति दी जाए, ताकि घर से आये नॉनवेज खाने से उसकी सेहत ठीक हो सके.

जेल प्रशासन ने ठुकराई मांग
जेल प्रशासन ने उसकी दोनों मांगों को ठुकरा दिया है. जेल प्रशासन का कहना है कि नियमों के मुताबिक ना तो उसे घर से बना खाना उपलब्ध कराया जा सकता है और ना ही उसे रेडियो दिया जा सकता है. तिहाड़ प्रशासन का इंटरनल रेडियो सिस्टम है, जो वो सुन सकता है. जहां तक घर के खाने की बात है, तो कई बार इससे तस्करी बढ़ती है. इसलिए उसे घर का नॉनवेज तो दूर वेज खाना भी नहीं मिलेगा. उसे जेल की रोटी ही खानी होगी.

नई दिल्ली: तिहाड़ जेल में बंद कुख्यात बदमाश नीरज बवाना को जेल में सुनने के लिए रेडियो और खाने के लिए घर का बना नॉनवेज चाहिए. ये मांग उसने जेल प्रशासन के समक्ष रखी है, जिसे उन्होंने ठुकरा दिया है. उनका कहना है कि जेल नियमों के अनुसार यह सुविधाएं उसे नहीं मिल सकती हैं क्योंकि यह सुविधाएं जेल के किसी भी कैदी को नहीं दी जाती.

नीरज बवानिया ने की जेल में नॉन-वेज और रेडियो की मांग

जानकारी के मुताबिक कुख्यात बदमाश नीरज बवाना साल 2015 से तिहाड़ जेल में बंद है. उसके खिलाफ हत्या, हत्या प्रयास, अपहरण, जमीन कब्जाने, जबरन उगाही आदि के तीन दर्जन से ज्यादा मामले दर्ज हैं. उसे साल 2015 में दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने गिरफ्तार किया था. वो ना केवल दिल्ली बल्कि हरियाणा, उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड तक भी वारदातों को अंजाम देता था.

तिहाड़ जेल से चला रहा था गैंग
तिहाड़ जेल में रहने के दौरान भी वो अपना गैंग चला रहा था. जेल से बाहर मौजूद अपने गुर्गों को वो आदेश दे रहा था. इसकी जानकारी स्पेशल सेल की तरफ से भी जेल प्रशासन को दी गई थी. इसके चलते उसे तिहाड़ जेल के हाई रिस्क वार्ड में जेल प्रशासन ने डाल दिया था. यहां पर कैदी को अकेले रखा जाता है और वो अन्य कैदियों के संपर्क में नहीं रहता है.

तिहाड़ प्रशासन के सामने रखी मांग
हाल ही में उसने तिहाड़ प्रशासन से रेडियो (आई पॉड) और घर का बना खाना देने की मांग की है. उसका कहना है हाई रिस्क वार्ड में अकेले होने के चलते वो वहां पर बोर होता है. इसलिए उसे एफएम वाला रेडियो उपलब्ध कराया जाए.

इसके अलावा जेल के खाने से उसकी सेहत खराब हो रही है. इसलिए उसे घर का खाना मुहैया कराया जाए. इसमें भी उसे नॉनवेज खाने की अनुमति दी जाए, ताकि घर से आये नॉनवेज खाने से उसकी सेहत ठीक हो सके.

जेल प्रशासन ने ठुकराई मांग
जेल प्रशासन ने उसकी दोनों मांगों को ठुकरा दिया है. जेल प्रशासन का कहना है कि नियमों के मुताबिक ना तो उसे घर से बना खाना उपलब्ध कराया जा सकता है और ना ही उसे रेडियो दिया जा सकता है. तिहाड़ प्रशासन का इंटरनल रेडियो सिस्टम है, जो वो सुन सकता है. जहां तक घर के खाने की बात है, तो कई बार इससे तस्करी बढ़ती है. इसलिए उसे घर का नॉनवेज तो दूर वेज खाना भी नहीं मिलेगा. उसे जेल की रोटी ही खानी होगी.

Intro:नई दिल्ली
तिहाड़ जेल में बंद कुख्यात बदमाश नीरज बवाना को जेल में सुनने के लिए रेडियो और खाने के लिए घर का बना नॉनवेज चाहिए. यह मांग उसने जेल प्रशासन के समक्ष रखी है, जिसे उन्होंने ठुकरा दिया है. उनका कहना है की जेल नियमों के अनुसार यह सुविधाएं उसे नहीं मिल सकती हैं क्योंकि यह सुविधाएं जेल के किसी भी कैदी को नहीं दी जाती.


Body:जानकारी के अनुसार कुख्यात बदमाश नीरज बवाना वर्ष 2015 से तिहाड़ जेल में बंद है. उसके खिलाफ हत्या, हत्या प्रयास, अपहरण, जमीन कब्जाने, जबरन उगाही आदि के तीन दर्जन से ज्यादा मामले दर्ज हैं. उसे वर्ष 2015 में दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने गिरफ्तार किया था. वह न केवल दिल्ली बल्कि हरियाणा, उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड तक भी वारदातों को अंजाम देता था.


तिहाड़ जेल से चला रहा था गैंग
तिहाड़ जेल में रहने के दौरान भी वह अपना गैंग चला रहा था. जेल से बाहर मौजूद अपने गुर्गों को वह आदेश दे रहा था. इसकी जानकारी स्पेशल सेल की तरफ से भी जेल प्रशासन को दी गई थी. इसके चलते उसे तिहाड़ जेल के हाई रिस्क वार्ड में जेल प्रशासन ने डाल दिया था. यहां पर कैदी को अकेले रखा जाता है और वह अन्य कैदियों के संपर्क में नहीं रहता है.


तिहाड़ प्रशासन के सामने रखी मांग
हाल ही में उसने तिहाड़ प्रशासन से रेडियो (आई पॉड) और घर का बना खाना देने की मांग की है. उसका कहना है हाई रिस्क वार्ड में अकेले होने के चलते वह पर बोर होता है. इसलिए उसे एफएम वाला रेडियो उपलब्ध कराया जाए. इसके अलावा जेल के खाने से उसकी सेहत खराब हो रही है. इसलिए उसे घर का खाना मुहैया कराया जाए. इसमें भी उसे नॉनवेज खाने की अनुमति दी जाए ताकि घर से आये नॉनवेज खाने से उसकी सेहत ठीक हो सके.





Conclusion:जेल प्रशासन ने ठुकराई मांग
जेल प्रशासन ने उसकी दोनों मांगों को ठुकरा दिया है. जेल प्रशासन का कहना है कि नियमों के अनुसार ना तो उसे घर से बना खाना उपलब्ध कराया जा सकता है और ना ही उसे रेडियो दिया जा सकता है. तिहाड़ प्रशासन का इंटरनल रेडियो सिस्टम है, जो वह सुन सकता है. जहां तक घर के खाने की बात है तो कई बार इससे तस्करी बढ़ती है. इसलिए उसे घर का नॉनवेज तो दूर वेज खाना भी नहीं मिलेगा. उसे जेल की रोटी ही खानी होगी.
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