नई दिल्ली: छह बार की विश्व चैंपियन भारत की अनुभवी महिला मुक्केबाज एमसी मैरी कॉम ने बुधवार को कहा कि ओलंपिक में देश के लिए पदक जीतना उनका सपना है और जब तक वह अपने इस लक्ष्य को हासिल नहीं कर लेती तब तक अपना सर्वश्रेष्ठ देना जारी रखेंगी.
मैरी कॉम ने 2012 के लंदन ओलंपिक में 51 किग्रा वर्ग में कांस्य पदक जीता था. वहीं, रियो ओलंपिक के लिए वह क्वालीफाई करने से चूक गई थी. उन्होंने पिछले महीने ही जॉर्डन में संपन्न एशिया ओसिनिया बॉक्सिंग ओलंपिक क्वालीफायर में टोक्यो ओलंपिक का टिकट हासिल किया था, जिसे कोरोनावायरस के कारण अगले साल तक के लिए टाल दिया गया है.
मैरी कॉम ने भारतीय खेल प्राधिकरण (साई) के लिए फेसबुक लाइव में कहा, " मेरा ध्यान ओलंपिक खेलों में भारत के लिए स्वर्ण पदक जीतना है. मैं इस उम्र में भी कड़ी मेहनत कर रही हूं. मेरे लिए पहले स्थान पर ओलंपिक के लिए क्वालीफाई करना बहुत मुश्किल था, जिसे अगले साल तक के लिए स्थगित कर दिया गया है."
उन्होंने आगे कहा, "विश्व चैंपियनशिप या ओलंपिक में जगह हासिल करने के लिए मेरे पास कोई राज नहीं है. मैं हमेशा संघर्ष करती रहूंगी और तब तक हार नहीं मानूंगी, जब तक कि मैं ओलंपिक में स्वर्ण पदक नहीं जीत लूंगी."
जॉर्डन से लौटने के बाद मैरी कॉम भी लॉकडाउन के बीच घर में ही हैं, हालांकि वह खुद को फिट रखने के लिए पूरी कोशिश कर रही है और उनका पूरा ध्यान अगले साल होने वाले टोक्यो ओलंपिक पर लगा हुआ है.
पूर्व विश्व चैंपियन ने कहा, "मैं भी क्वारंटाइन में हूं. मैं घर में ही रहकर तैयारी कर रही हूं. मैं खुद को जितना फिट रख सकती हूं, रखने की कोशिश कर रही हूं ताकि मैं अपने लक्ष्य को हासिल कर सकू. कभी कभी घर पर यह मुश्किल होता है, लेकिन मैं अपने परिवार के साथ इसका आनंद ले रही हूं. अपने सपनों को पूरा करने के लिए मुझे अपने देशवासियों से प्यार और आशीर्वाद चाहिए. "
37 साल की मैरी कॉम ने लॉकडाउन के दौरान लोगों से घरों में ही रहने की अपील की और कोरोनावायरस से लड़ने के लिए सरकार के आदेशों का पालन करने की अपील की.