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अंजू बॉबी जॉर्ज का चौंकाने वाला खुलासा, एक किडनी के सहारे हासिल की सफलता

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Published : Dec 7, 2020, 7:49 PM IST

अंजू ने ट्वीट किया, "मानो या न मानो, मैं उन भाग्यशाली लोगों में शामिल हूं जो एक किडनी के सहारे विश्व में शीर्ष स्तर पर पहुंची. यहां तक कि मुझे दर्द निवारक दवाईयों से एलर्जी थी, दौड़ की शुरुआत करते समय मेरा आगे वाला पांव सही काम नहीं करता था."

Anju bobby george reveals she had 1 kidney when she won world athletics finals
Anju bobby george reveals she had 1 kidney when she won world athletics finals

कोच्चि: पेरिस में 2003 में विश्व एथलेटिक्स चैंपियनशिप में कांस्य पदक जीतकर भारतीय खेलों में इतिहास रचने वाली ओलंपियन अंजू बॉबी जार्ज ने सोमवार को कहा कि उन्होंने एक किडनी के सहारे शीर्ष स्तर पर सफलताएं हासिल की.

IAFF विश्व एथलेटिक्स फाइनल्स (मोनाको 2005) की स्वर्ण पदक विजेता लंबी कूद की इस स्टार एथलीट ने कहा कि उन्हें यहां तक कि दर्द निवारक दवाईयों से भी एलर्जी थी और ऐसी तमाम बाधाओं के बावजूद वो सफलताएं हासिल कर पाई.

Anju bobby george reveals she had 1 kidney when she won world athletics finals
अंजू बॉबी जॉर्ज

अंजू ने ट्वीट किया, "मानो या न मानो, मैं उन भाग्यशाली लोगों में शामिल हूं जो एक किडनी के सहारे विश्व में शीर्ष स्तर पर पहुंची. यहां तक कि मुझे दर्द निवारक दवाईयों से एलर्जी थी, दौड़ की शुरुआत करते समय मेरा आगे वाला पांव सही काम नहीं करता था. कई सीमाएं थी तब भी मैंने सफलताएं हासिल की. क्या हम इसे कोच का जादू या उनकी प्रतिभा कह सकते हैं."

अपने पति राबर्ट बॉबी जॉर्ज से कोचिंग लेने के बाद अंजू का करियर नई ऊंचाईयों पर पहुंचा.

उनके ट्वीट पर जवाब देते हुए केंद्रीय खेल मंत्री किरन रिजिजू ने कहा कि अंजू ने अपनी कड़ी मेहनत, धैर्य और प्रतिबद्धता से देश का मान बढ़ाया.

उन्होंने कहा, "अंजू भारत का मान बढ़ाने के लिए ये आपकी कड़ी मेहनत, धैर्य और प्रतिबद्धता थी जिसमें समर्पित कोच और पूरी तकनीकी टीम का सहयोग भी रहा."

भारतीय एथलेटिक्स महासंघ (AFI) ने कहा कि IAFF विश्व चैंपियनशिप (पेरिस 2003) में भारत की एकमात्र पदक विजेता, IAFF विश्व एथलेटिक्स फाइनल्स (मोनाको 2005) की स्वर्ण पदक विजेता और अपने शानदार करियर के दौरान लगातार अच्छा प्रदर्शन करने वाली अंजू देश की सबसे प्रेरणादायी ट्रैक एवं फील्ड स्टार है.

वो ओलंपिक खेल 2004 में छठे स्थान पर रही थी. उन्होंने तब 6.83 मीटर कूद लगाई थी. अमेरिका की मरियन जोन्स को डोपिंग आरोपों के कारण अयोग्य घोषित किए जाने के बाद अंजू को 2007 में पांचवां स्थान दिया गया था.

कोच्चि: पेरिस में 2003 में विश्व एथलेटिक्स चैंपियनशिप में कांस्य पदक जीतकर भारतीय खेलों में इतिहास रचने वाली ओलंपियन अंजू बॉबी जार्ज ने सोमवार को कहा कि उन्होंने एक किडनी के सहारे शीर्ष स्तर पर सफलताएं हासिल की.

IAFF विश्व एथलेटिक्स फाइनल्स (मोनाको 2005) की स्वर्ण पदक विजेता लंबी कूद की इस स्टार एथलीट ने कहा कि उन्हें यहां तक कि दर्द निवारक दवाईयों से भी एलर्जी थी और ऐसी तमाम बाधाओं के बावजूद वो सफलताएं हासिल कर पाई.

Anju bobby george reveals she had 1 kidney when she won world athletics finals
अंजू बॉबी जॉर्ज

अंजू ने ट्वीट किया, "मानो या न मानो, मैं उन भाग्यशाली लोगों में शामिल हूं जो एक किडनी के सहारे विश्व में शीर्ष स्तर पर पहुंची. यहां तक कि मुझे दर्द निवारक दवाईयों से एलर्जी थी, दौड़ की शुरुआत करते समय मेरा आगे वाला पांव सही काम नहीं करता था. कई सीमाएं थी तब भी मैंने सफलताएं हासिल की. क्या हम इसे कोच का जादू या उनकी प्रतिभा कह सकते हैं."

अपने पति राबर्ट बॉबी जॉर्ज से कोचिंग लेने के बाद अंजू का करियर नई ऊंचाईयों पर पहुंचा.

उनके ट्वीट पर जवाब देते हुए केंद्रीय खेल मंत्री किरन रिजिजू ने कहा कि अंजू ने अपनी कड़ी मेहनत, धैर्य और प्रतिबद्धता से देश का मान बढ़ाया.

उन्होंने कहा, "अंजू भारत का मान बढ़ाने के लिए ये आपकी कड़ी मेहनत, धैर्य और प्रतिबद्धता थी जिसमें समर्पित कोच और पूरी तकनीकी टीम का सहयोग भी रहा."

भारतीय एथलेटिक्स महासंघ (AFI) ने कहा कि IAFF विश्व चैंपियनशिप (पेरिस 2003) में भारत की एकमात्र पदक विजेता, IAFF विश्व एथलेटिक्स फाइनल्स (मोनाको 2005) की स्वर्ण पदक विजेता और अपने शानदार करियर के दौरान लगातार अच्छा प्रदर्शन करने वाली अंजू देश की सबसे प्रेरणादायी ट्रैक एवं फील्ड स्टार है.

वो ओलंपिक खेल 2004 में छठे स्थान पर रही थी. उन्होंने तब 6.83 मीटर कूद लगाई थी. अमेरिका की मरियन जोन्स को डोपिंग आरोपों के कारण अयोग्य घोषित किए जाने के बाद अंजू को 2007 में पांचवां स्थान दिया गया था.

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