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एशियाई खेलों के स्वर्ण पदक विजेता फुटबॉलर फ्रैंको का निधन

फ्रैंको ने भारत की तरफ से 26 मैच खेले. इनमें में 1962 का एशियाई कप भी शामिल है जिसमें भारत उप विजेता रहा था. वह मर्डेका कप में 1964 और 1965 में क्रमश: रजत और कांस्य पदक जीतने वाली टीम के भी सदस्य थे.

Fortunato Franco
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Published : May 10, 2021, 2:30 PM IST

नई दिल्ली: भारत की 1962 एशियाई खेलों की स्वर्ण पदक विजेता टीम के सदस्य रहे फोर्टुनाटो फ्रैंको का सोमवार को निधन हो गया.

वह 84 साल के थे. अखिल भारतीय फुटबॉल महासंघ (एआईएफएफ) ने उनके निधन की पुष्टि की लेकिन इसका कारण नहीं बताया. फ्रैंको के परिवार में पत्नी, बेटा और बेटी हैं.

भारत के मध्यपंक्ति के सर्वश्रेष्ठ खिलाड़ियों में से एक फ्रैंको 1960 से 1964 तक भारतीय फुटबॉल के स्वर्णिम युग का हिस्सा थे.

वह 1960 के रोम ओलंपिक में भी भारतीय टीम का हिस्सा थे लेकिन उन्हें कोई मैच खेलने का मौका नहीं मिला था लेकिन वह जकार्ता में 1962 में खेले गये एशियाई खेलों में भारतीय टीम के अहम सदस्य थे.

फ्रैंको ने भारत की तरफ से 26 मैच खेले. इनमें में 1962 का एशियाई कप भी शामिल है जिसमें भारत उप विजेता रहा था. वह मर्डेका कप में 1964 और 1965 में क्रमश: रजत और कांस्य पदक जीतने वाली टीम के भी सदस्य थे.

क्रिकेटर पीयूष चावला के पिता का कोरोना से निधन

उन्होंने हालांकि अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन 1962 एशियाई खेलों के फाइनल में किया था जब भारत ने दक्षिण कोरिया को 2-1 से हराया था.

गोवा के रहने वाले फ्रैंको घरेलू स्तर पर मुंबई के टाटा फुटबॉल क्लब की तरफ से खेला करते थे.

एआईएफएफ अध्यक्ष प्रफुल्ल पटेल और महासचिव कुशल दास ने उनके निधन पर शोक व्यक्त किया.

नई दिल्ली: भारत की 1962 एशियाई खेलों की स्वर्ण पदक विजेता टीम के सदस्य रहे फोर्टुनाटो फ्रैंको का सोमवार को निधन हो गया.

वह 84 साल के थे. अखिल भारतीय फुटबॉल महासंघ (एआईएफएफ) ने उनके निधन की पुष्टि की लेकिन इसका कारण नहीं बताया. फ्रैंको के परिवार में पत्नी, बेटा और बेटी हैं.

भारत के मध्यपंक्ति के सर्वश्रेष्ठ खिलाड़ियों में से एक फ्रैंको 1960 से 1964 तक भारतीय फुटबॉल के स्वर्णिम युग का हिस्सा थे.

वह 1960 के रोम ओलंपिक में भी भारतीय टीम का हिस्सा थे लेकिन उन्हें कोई मैच खेलने का मौका नहीं मिला था लेकिन वह जकार्ता में 1962 में खेले गये एशियाई खेलों में भारतीय टीम के अहम सदस्य थे.

फ्रैंको ने भारत की तरफ से 26 मैच खेले. इनमें में 1962 का एशियाई कप भी शामिल है जिसमें भारत उप विजेता रहा था. वह मर्डेका कप में 1964 और 1965 में क्रमश: रजत और कांस्य पदक जीतने वाली टीम के भी सदस्य थे.

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उन्होंने हालांकि अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन 1962 एशियाई खेलों के फाइनल में किया था जब भारत ने दक्षिण कोरिया को 2-1 से हराया था.

गोवा के रहने वाले फ्रैंको घरेलू स्तर पर मुंबई के टाटा फुटबॉल क्लब की तरफ से खेला करते थे.

एआईएफएफ अध्यक्ष प्रफुल्ल पटेल और महासचिव कुशल दास ने उनके निधन पर शोक व्यक्त किया.

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