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MCC on Mankading Rule: नॉन स्ट्राइकर के रन आउट होने पर एमसीसी का बड़ा बयान, कहा- विलेन...

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Published : Feb 24, 2023, 5:35 PM IST

बीते कुछ समय में मांकडिंग का इस्तेमाल ज्यादा होने लगा है. इसे लेकर मेरिलबोन क्रिकेट क्लब अपनी बात रखा है.

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MCC on Non Striker's Run Out

लंदन : मेरिलबोन क्रिकेट क्लब (एमसीसी) की विश्व क्रिकेट समिति ने कहा कि किसी भी गेंदबाज को नॉन स्ट्राइकर छोर पर रन चुराने के प्रयास में अपनी क्रीज पर आगे खड़े बल्लेबाज को ‘रन आउट’ करने के लिए ‘विलेन’ नहीं कहा जा सकता. विश्व क्रिकेट समिति (डब्ल्यूसीसी) ने सभी उम्र ग्रुप स्तर के क्रिकेट में इस तरीके से आउट होने के तरीके को सामान्य करने की कोशिश में यह बात कही.

डब्ल्यूसीसी ने इस विवादास्पद मुद्दे पर ‘संयम’ बनाए रखने की भी बात कही क्योंकि कुछ पूर्व क्रिकेटर अब भी मानते हैं कि इस तरह बल्लेबाज को रन आउट करना खेल भावना के खिलाफ है जबकि आईसीसी (अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट परिषद) नियम बना चुका है कि इसे ‘रन आउट’ माना जाएगा. खेल के नियम बनाने वाली एमसीसी ने पिछले महीने ऑस्ट्रेलियाई लेग स्पिनर एडम जम्पा के बिग बैश लीग मैच में नॉन स्ट्राइकर छोर पर खड़े टॉम रोजर्स को रन आउट करने का प्रयास की घटना के बाद नियम के शब्दों पर स्पष्टीकरण जारी किया था.

इस स्पष्टीकरण में नियम 38.3 के शब्दों में बेहतर स्पष्टता प्रदान करने और गलतफहमियों को दूर करने के लिए बदलाव शामिल था. डब्ल्यूसीसी में कुमार संगकारा, सौरव गांगुली, जस्टिन लैंगर, एलिस्टेयर कुक जैसे खिलाड़ी हैं जिसके चेयरमैन माइक गैटिंग हैं.

डब्ल्यूसीसी ने पिछले हफ्ते दुबई में आईसीसी मुख्यालय में बैठक की थी और अब वह खेल के सभी स्तरों (मनोरजंन के लिए क्रिकेट से लेकर एलीट स्तर तक) में इस नियम को स्वीकार करने के लिए शांत रहने की बात कर रही है क्योंकि नॉन स्ट्राइकर छोर पर क्रीज से आगे खड़े खिलाड़ी को रन आउट करना नियमों के अंतर्गत है.

यह भी पढ़ें : Cummins to miss third Test : तीसरे टेस्ट में स्टीव स्मिथ करेंगे ऑस्ट्रेलिया की कप्तानी

एमसीसी ने गुरूवार को एक बयान में कहा, सबसे अहम कारक यही है कि इस तरह के आउट होने के तरीके पर एक सरल तरीके से सभी तरह के संदेह और विवादों को खत्म किया जा सकता है कि नॉन स्ट्राइकर छोर पर खड़ा खिलाड़ी नियमों का पालन करे और अपनी क्रीज के अंदर तब तक बना रहे जब तक गेंदबाज के हाथ से गेंद फेंकी नहीं जाए.

इसके अनुसार, दुबई में चर्चा में यह मुद्दा भी सामने आया कि इस तरह आउट करने पर गेंदबाज की आलोचना की जाती है. समिति के सभी सदस्य एकमत थे कि जो बल्लेबाज खेल के नियमों को तोड़कर क्रीज पर अपनी जगह से आगे खड़ा रहता है, वही दोषी है. बयान में कहा गया, वे इस बात पर भी सहमत थे कि गेंदबाज को बल्लेबाज को कोई चेतावनी देने की आवश्यकता नहीं है जिससे पुष्टि होती है कि उनके पास नियम तोड़ने वाले बल्लेबाज को उसी समय आउट करने का अधिकार है.

श्रीलंका के महान क्रिकेटर संगकारा ने कहा, यहां गेंदबाज ‘विलेन’ (खलनायक) नहीं है. प्रत्येक बल्लेबाज के पास विकल्प है कि वे अपनी क्रीज के अंदर रहें या फिर अगर वे आगे बढ़ने की कोशिश करते हैं तो रन आउट किए जाने के जोखिम के लिए तैयार रहें. अगर वे अपनी क्रीज से बाहर रहते हैं तो वे ही नियमों को तोड़ रहे हैं.

पीटीआई-भाषा

लंदन : मेरिलबोन क्रिकेट क्लब (एमसीसी) की विश्व क्रिकेट समिति ने कहा कि किसी भी गेंदबाज को नॉन स्ट्राइकर छोर पर रन चुराने के प्रयास में अपनी क्रीज पर आगे खड़े बल्लेबाज को ‘रन आउट’ करने के लिए ‘विलेन’ नहीं कहा जा सकता. विश्व क्रिकेट समिति (डब्ल्यूसीसी) ने सभी उम्र ग्रुप स्तर के क्रिकेट में इस तरीके से आउट होने के तरीके को सामान्य करने की कोशिश में यह बात कही.

डब्ल्यूसीसी ने इस विवादास्पद मुद्दे पर ‘संयम’ बनाए रखने की भी बात कही क्योंकि कुछ पूर्व क्रिकेटर अब भी मानते हैं कि इस तरह बल्लेबाज को रन आउट करना खेल भावना के खिलाफ है जबकि आईसीसी (अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट परिषद) नियम बना चुका है कि इसे ‘रन आउट’ माना जाएगा. खेल के नियम बनाने वाली एमसीसी ने पिछले महीने ऑस्ट्रेलियाई लेग स्पिनर एडम जम्पा के बिग बैश लीग मैच में नॉन स्ट्राइकर छोर पर खड़े टॉम रोजर्स को रन आउट करने का प्रयास की घटना के बाद नियम के शब्दों पर स्पष्टीकरण जारी किया था.

इस स्पष्टीकरण में नियम 38.3 के शब्दों में बेहतर स्पष्टता प्रदान करने और गलतफहमियों को दूर करने के लिए बदलाव शामिल था. डब्ल्यूसीसी में कुमार संगकारा, सौरव गांगुली, जस्टिन लैंगर, एलिस्टेयर कुक जैसे खिलाड़ी हैं जिसके चेयरमैन माइक गैटिंग हैं.

डब्ल्यूसीसी ने पिछले हफ्ते दुबई में आईसीसी मुख्यालय में बैठक की थी और अब वह खेल के सभी स्तरों (मनोरजंन के लिए क्रिकेट से लेकर एलीट स्तर तक) में इस नियम को स्वीकार करने के लिए शांत रहने की बात कर रही है क्योंकि नॉन स्ट्राइकर छोर पर क्रीज से आगे खड़े खिलाड़ी को रन आउट करना नियमों के अंतर्गत है.

यह भी पढ़ें : Cummins to miss third Test : तीसरे टेस्ट में स्टीव स्मिथ करेंगे ऑस्ट्रेलिया की कप्तानी

एमसीसी ने गुरूवार को एक बयान में कहा, सबसे अहम कारक यही है कि इस तरह के आउट होने के तरीके पर एक सरल तरीके से सभी तरह के संदेह और विवादों को खत्म किया जा सकता है कि नॉन स्ट्राइकर छोर पर खड़ा खिलाड़ी नियमों का पालन करे और अपनी क्रीज के अंदर तब तक बना रहे जब तक गेंदबाज के हाथ से गेंद फेंकी नहीं जाए.

इसके अनुसार, दुबई में चर्चा में यह मुद्दा भी सामने आया कि इस तरह आउट करने पर गेंदबाज की आलोचना की जाती है. समिति के सभी सदस्य एकमत थे कि जो बल्लेबाज खेल के नियमों को तोड़कर क्रीज पर अपनी जगह से आगे खड़ा रहता है, वही दोषी है. बयान में कहा गया, वे इस बात पर भी सहमत थे कि गेंदबाज को बल्लेबाज को कोई चेतावनी देने की आवश्यकता नहीं है जिससे पुष्टि होती है कि उनके पास नियम तोड़ने वाले बल्लेबाज को उसी समय आउट करने का अधिकार है.

श्रीलंका के महान क्रिकेटर संगकारा ने कहा, यहां गेंदबाज ‘विलेन’ (खलनायक) नहीं है. प्रत्येक बल्लेबाज के पास विकल्प है कि वे अपनी क्रीज के अंदर रहें या फिर अगर वे आगे बढ़ने की कोशिश करते हैं तो रन आउट किए जाने के जोखिम के लिए तैयार रहें. अगर वे अपनी क्रीज से बाहर रहते हैं तो वे ही नियमों को तोड़ रहे हैं.

पीटीआई-भाषा

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