रांची: कम वक्त में एक के बाद एक रिकॉर्ड कायम कर क्रिकेट की दुनिया में कीर्तिमान बनाने वाले भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान महेंद्र सिंह धोनी आज अपना 40वां जन्मदिन मना रहे हैं. 7 जुलाई 1981 को लोअर मिडिल क्लास परिवार में जन्मे महेंद्र सिंह धोनी को उनके फैंस खूब बधाइयां दे रहे हैं. माही के नाम से मशहूर महेंद्र सिंह पान सिंह धोनी और देवकी देवी के सबसे छोटे बेटे हैं. बुलंदियों पर पहुंचने के लिए धोनी ने लंबा संघर्ष किया.
गोलकीपर से विकेटकीपर तक का सफर
कभी पीछे मुड़कर नहीं देखने वाले माही ने अपने जीवन में खेल की शुरुआत स्कूल टीम के साथ की थी. फुटबॉल के गोलकीपर महेंद्र सिंह धोनी कब क्रिकेट के बेहतरीन विकेटकीपर बन गए यह उनके स्कूल टाइम के कोच ही जानते हैं. उनके जानने वाले और 1996 से लेकर 2004 तक कोच रहे चंचल भट्टाचार्य भी उनके सभी खूबियों को बखूबी जानते हैं. मेकॉन स्थित H-122 क्वार्टर में सबसे पहले महेंद्र सिंह धोनी अपने पूरे परिवार के साथ रहने आए थे. हालांकि, इस क्वार्टर में ज्यादा दिनों तक वो नहीं रहे. वो बहुत जल्द ही E-25 में शिफ्ट हो गए. इसी क्वार्टर से उनका क्रिकेट का सफर शुरू हुआ था.
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23 दिसंबर 2004 को अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में रखा कदम
डीएवी श्यामली स्कूल ग्राउंड से शुरू होकर मेकॉन स्टेडियम, हरमू मैदान और झारखंड के सभी मैदानों में गली-कूचों में खेल चुके महेंद्र सिंह धोनी का इंटरनेशनल क्रिकेट में 23 दिसंबर 2004 को पदार्पण हुआ. उन्होंने 2004 में बांग्लादेश के खिलाफ वनडे मैच खेला था. T20 में उनका पदार्पण 1 दिसंबर 2006 में हुआ था. जैसे-जैसे महेंद्र सिंह धोनी क्रिकेट में सफल होते गए उनके करियर का ग्राफ भी चढ़ता गया. फिर माही ने कभी पीछे मुड़कर नहीं देखा. स्कूल टाइम से ही महेंद्र सिंह धोनी का लक्ष्य जीत पर होता था. एक के बाद एक टूर्नामेंट और मैच को जीतना महेंद्र सिंह धोनी का लक्ष्य बनता गया और लक ने भी हमेशा उनका साथ दिया.
माही को लेफ्टिनेंट कर्नल की उपाधि
महेंद्र सिंह धोनी मानद लेफ्टिनेंट कर्नल की उपाधि भी प्राप्त कर चुके हैं. पद्म भूषण, पद्म श्री, राजीव गांधी खेल रत्न पुरस्कार से भी माही सम्मानित हो चुके हैं. भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान और भारत के सबसे सफल एक दिवसीय अंतरराष्ट्रीय कप्तान रह चुके धोनी भारतीय एक दिवसीय टीम के सबसे कूल कप्तानों में से जाने जाते हैं. महेंद्र सिंह धोनी की बैडमिंटन और फुटबॉल में भी रुचि थी. महेंद्र सिंह धोनी ने डीएवी श्यामली से पढ़ाई की है. जो वर्तमान में जवाहर विद्या मंदिर के नाम से जाना जाता है. माही ने इंटर स्कूल प्रतियोगिता में बैडमिंटन और फुटबॉल में स्कूल का प्रतिनिधित्व भी किया था, जहां उन्होंने अच्छा प्रदर्शन किया था. इस कारण वे जिला और क्लब लेवल में चुने गए थे.
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फुटबॉल में धोनी रह चुके हैं गोलकीपर
धोनी अपने फुटबॉल टीम के गोलकीपर भी रह चुके हैं, लोकल क्रिकेट क्लब में क्रिकेट खेलने के लिए उनके फुटबॉल कोच ने भेजा था. हालांकि, उन्होंने कभी क्रिकेट नहीं खेला था. फिर भी धोनी ने अपने विकेटकीपिंग के कौशल से सबको प्रभावित किया और कमांडो क्रिकेट क्लब के 1994 से 1998 में नियमित विकेटकीपर बने. 1997- 98 सीजन के विनू मांकड़ ट्रॉफी अंडर-16 चैंपियनशिप में चुने गए, जहां उन्होंने उम्दा प्रदर्शन किया. दसवीं कक्षा के बाद ही धोनी ने क्रिकेट की ओर विशेष ध्यान दिया और बाद में वे एक अच्छे विकेटकीपर बनकर उभरे.
रेलवे में निभाई टीटीई की भूमिका
साल 2003 में धोनी ने खड़गपुर रेलवे स्टेशन पर ट्रेन टिकट चेकर के तौर पर भी काम किया. धोनी ने अपने प्रोफेशनल क्रिकेट कैरियर की शुरुआत सन 1998 में बिहार अंडर-19 टीम से की. 1999 -2000 में धोनी ने बिहार रणजी टीम में खेलकर अपना पदार्पण किया. देवधर ट्रॉफी, दिलीप ट्रॉफी, इंडिया ए टूर में गए. जहां अपने प्रदर्शन के बदौलत उन पर राष्ट्रीय टीम चयन समिति ने ध्यान दिया. साल 2004 में एक टीम चयन समिति के बैठक में सौरव गांगुली से पूछा गया था कि टीम में विकेटकीपर किसे बनाएंगे, तब सौरव गांगुली ने कहा था कि मैं एमएस धोनी को विकेटकीपर बनाना चाहूंगा. 2004 में धोनी ने बांग्लादेश के खिलाफ अंतरराष्ट्रीय पदार्पण किया, तब से लेकर अब तक धोनी क्रिकेट में लंबा सफर तय कर चुके हैं.
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5 सदस्यीय है धोनी का परिवार
माही के परिवार में पिता पान सिंह, मां देवकी देवी के अलावा धोनी का एक भाई नरेंद्र सिंह धोनी और बहन जयंती भी है. एमएस धोनी की बहन जयंती अपने भाई के काफी करीब हैं. जयंती एक टीचर हैं, वह अक्सर क्रिकेट टूर्नामेंट के दौरान साक्षी के साथ चीयर करती भी दिखाई देती हैं. वहीं महेंद्र सिंह धोनी के भाई नरेंद्र सिंह धोनी फिलहाल राजनीति में अपना भाग्य आजमा रहे हैं. वह भी रांची में ही रहते हैं.
रफ्तार के शौकीन महेंद्र सिंह धोनी
महेंद्र सिंह धोनी जितने शानदार क्रिकेटर हैं. उतने ही रफ्तार और एडवेंचर के शौकीन हैं. शौक की झलक कैप्टन कूल के नाम से फेमस धोनी के हर अंदाज में नजर आती है. उनके कार और मोटरसाइकिल का कलेक्शन गजब का है. धोनी के पास एक शानदार ऑडी Q7 है, जो उनकी पसंदीदा कारों में से एक है. उन्होंने हमर H2 कार भी खरीदा है. उन्होंने यह कार 2009 में खरीदी थी. अपने होम टाउन रांची के सड़कों पर इस गाड़ी को वह अक्सर दौड़ाते दिखते हैं. ऐसे और भी कई बेहतरीन मॉडल के कार उनके पास है. मोटरसाइकिल की बात करें तो धोनी के संग्रह की पहली मोटरसाइकिल कनफेडरेट हेलकैट x132 है, जो काफी शानदार है और महंगी भी है. कावासाकी निंजा, यामाहा आरडी 350, कावासाकी निंजा जेडएक्स 14r, हार्ले डेविडसन फैट बॉय, यामाहा आर एक्स 100, जैसे बाइक की कलेक्शन महेंद्र सिंह धोनी के पास है.