नई दिल्ली: भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान और बीसीसीआई के मौजूदा अध्यक्ष सौरव गांगुली ने कहा है कि सामान्य रूप से जैव बुलबुले (बायो बबल) और दबाव को संभालने के मामले में भारतीय क्रिकेटर्स अपने विदेशी समकक्षों की तुलना में अधिक सहिष्णु हैं.
गांगुली ने कोलकाता में मानसिक स्वास्थ्य सेवा केंद्र के वर्चुअल अनावरण के दौरान कहा, ''हम महसूस करते हैं कि हम भारतीय विदेशों (क्रिकेटरों) की तुलना में थोड़ा अधिक सहिष्णु हैं. मैंने बहुत सारे अंग्रेजों, आस्ट्रेलियाई, कैरेबियाई खिलाड़ियों के साथ खेला है .. वे मानसिक स्वास्थ्य का त्याग करते हैं.''
पूर्व भारतीय कप्तान ने कहा, ''पिछले छह-सात महीनों में, बायो-बबल में इतना क्रिकेट चल रहा है, यह कठिन है. बस होटल के कमरे से मैदान तक जा रहे हैं, दबाव को संभालें और कमरे में वापस आएं और फिर वापस जाएं. यह एक अलग जीवन है.''
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गांगुली ने कोविड-19 के डर के कारण दक्षिण अफ्रीका के दौरे पर नहीं जाने का फैसला करने वाली ऑस्ट्रेलियाई टीम का उदाहरण दिया.
गांगुली ने कहा, ऑस्ट्रेलियाई टीम को देखें. ऑस्ट्रेलिया में भारत के साथ हुए सीरीज के बाद वे दक्षिण अफ्रीका जाने वाले थे लेकिन कोरोना के डर से वे वहां नहीं गए.