बेंगलुरू: रणजी ट्रॉफी 2022 के क्वॉर्टर फाइनल मुकाबले में बंगाल ने झारखंड के खिलाफ रिकॉर्ड तोड़ बल्लेबाजी करते हुए सात विकेट पर 773 रनों का विशाल स्कोर बनाकर पारी घोषित की. तीसरे दिन का खेल खत्म होने तक जवाब में झारखंड की आधी टीम 139 रन पर पवेलियन लौट गई. बंगाल के लिए क्रीज पर आए उसके सभी टॉप-9 बल्लेबाजों ने 50 से अधिक का स्कोर बनाया. पारी के अंत में सयन मोंडल और आकाश दीप भी अर्धशतक पूरा कर 53-53 रन बनाकर नाबाद रहे.
रणजी ट्रॉफी के नॉकआउट राउंड के इस मुकाबले में बंगाल ने दो बल्लेबाजों के शतक और सात बल्लेबाजों के अर्धशतक से विशाल स्कोर खड़ा किया. जवाब में तीसरे दिन के अंत तक झारखंड पांच विकेट पर 139 रन बना पाई और बंगाल ने मैच पर शिकंजा कस लिया.
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फर्स्ट क्लास क्रिकेट के इतिहास में यह पहला मौका है, जब किसी पारी में शीर्ष नौ बल्लेबाजों ने 50 या इससे अधिक रन बनाए हों. इससे पहले कभी प्रथम श्रेणी मुकाबले की किसी पारी में शीर्ष आठ बल्लेबाजों ने भी कम से कम 50 रन नहीं बनाए थे.
129 साल पुराना रिकॉर्ड हुआ टूटा...
फर्स्ट क्लास मैच की एक पारी में कम से कम आठ बल्लेबाजों के 50 से अधिक रन बनाने का एकमात्र वाक्या साल 1893 में हुआ था. जब ऑस्ट्रेलिया की टीम ने इंग्लैंड दौरे पर आक्स एंड कैंब टीम के खिलाफ 843 रन का स्कोर खड़ा किया था. इसके बाद करीब 129 साल बाद भारत के सबसे बड़े घरेलू फर्स्ट क्लास क्रिकेट टूर्नामेंट में ऐसा देखने को मिला. जब सभी टॉप-9 बल्लेबाजों ने 50 से अधिक रनों का स्कोर बनाया हो.
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Bengal became the first team to feature 9 fifties on the same scorecard. Only nine of them have batted, by the way.
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We are discussing 250 years of First-class cricket here. pic.twitter.com/F56JxRQYkK
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ऐसा रहा मैच का हाल
मैच के पहले दो दिन सलामी बल्लेबाजों अभिषेक रमन (61) और कप्तान अभिमन्यु ईश्वरन (65) तथा अभिषेक पोरेल (68) के अर्धशतकों के अलावा सुदीप कुमार घारामी (186) और अनुस्तुप मजूमदार (117) ने शतक जड़े. बुधवार को तीसरे दिन बंगाल के मंत्री और क्रिकेटर मनोज तिवारी (73), शाहबाज अहमद (78), सायन मंडल (नाबाद 53) और आकाश दीप (नाबाद 53) ने भी अपनी फिफ्टी पूरी की. इसके बाद आकाश दीप ने ताबड़तोड़ बल्लेबाजी करते हुए सिर्फ 18 गेंद की अपनी पारी में आठ छक्के मारे और 53 रन बना लिए.
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झारखंड की ओर से सुशांत मिश्रा ने 140 रन देकर तीन, जबकि शाहबाज नदीम ने 175 रन देकर दो विकेट चटकाए. अपनी पहली पारी में खेलने उतरी झारखंड ने तीसरे दिन का खेल खत्म होने तक 139 रन पर पांच विकेट गंवा दिए हैं. सलामी बल्लेबाज नाजिम सिद्दीकी (53) ही टिककर बल्लेबाजी कर पाए.
कप्तान सौरभ तिवारी ने 33 रन का योगदान दिया. स्टंप के समय विराट सिंह 17, जबकि अनुकूल रॉय एक रन बनाकर खेल रहे थे. बंगाल की ओर से सयन मोंडल ने 32 रन देकर तीन, जबकि शाहबाज अहमद ने पांच रन देकर दो विकेट चटकाए. झारखंड की टीम को फॉलोआन टालने के लिए अभी भी 435 रनों की जरूरत है.
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इस रिकॉर्ड ने बंगाल क्रिकेट के पिछले महान खिलाड़ियों को उत्साहित किया है. सांभरन बनर्जी, अरुण लाल और अशोक मल्होत्रा ने साल 1989-90 में बंगाल में अपना आखिरी रणजी ट्रॉफी खिताब जीतने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी. बनर्जी कप्तान थे, लाल और मल्होत्रा ने प्रतिष्ठित ट्रॉफी को घर लाने में अच्छा योगदान दिया था. अरुण लाल, जो बंगाल के प्रमुख हैं, उन्होंने प्रशंसा की.
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बंगाल टीम के कोच ने कहा, मुझे विश्वास है कि वे इस बार इसे बना सकते हैं. क्योंकि यह निस्संदेह प्रतियोगिता में सर्वश्रेष्ठ टीम है. साल 1989-90 की विजेता टीम के कप्तान संबारन बनर्जी को ईटीवी भारत द्वारा इस अदम्य उपलब्धि की खबर दी गई थी. बनर्जी ने कहा, ओह, क्या यह विश्व रिकॉर्ड है? यह एक बड़ी उपलब्धि है और दुर्लभ है. मुझे उम्मीद है कि वे अगले मैचों में इस फॉर्म को बरकरार रखते हुए ट्रॉफी अपने घर ले आएंगे.
एक और दिग्गज अशोक मल्होत्रा भी इस प्रयास से उत्साहित हैं. मल्होत्रा ने कहा, मुझे लगता है कि उनके पास इस बार खिताब जीतने का एक अच्छा मौका है. खासकर उनकी बल्लेबाजी के कारण. बंगाल में हमेशा एक मजबूत गेंदबाजी लाइन-अप थी, लेकिन बल्लेबाजी चिंता का विषय थी.