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जर्मनी ने चुनाव पूर्व साइबर हमले के मुद्दे पर रूस के समक्ष विरोध दर्ज कराया - German foreign ministry for parliament cyber attack

सितंबर से होने वाले संसदीय चुनाव से पहले जासूसी वाले ई-मेल का इस्तेमाल कर संघीय और राज्य विधायिका के सदस्यों की व्यक्तिगत लॉगइन जानकारी हासिल करने के विरोध में जर्मनी ने रूस के समक्ष विरोध जताया है.

जर्मनी ने चुनाव से पूर्व जर्मनी ने चुनाव से पूर्व
जर्मनी ने चुनाव से पूर्व जर्मनी ने चुनाव से पूर्व
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Published : Sep 6, 2021, 10:59 PM IST

बर्लिन : जर्मनी ने अपनी विधायिका के सदस्यों का डाटा चोरी करने की कोशिश को लेकर रूस के समक्ष विरोध दर्ज कराया है.जर्मनी को आशंका है कि यह आगामी जर्मन चुनाव से पहले भ्रामक सूचना का प्रसार करने की तैयारी हो सकती है.जर्मनी विदेश मंत्रालय ने यह जानकारी साझा की है.

विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता एंड्रिया सास्से ने कहा कि हैकर समूह घोस्टराइटर पारंपरिक साइबर हमले को दुष्प्रचार एवं प्रभावित करने वाले अभियान से मिला रहा है और जर्मनी को निशाना बनाने की उसकी गतिविधि कुछ समय से देखी जा रही है.

उन्होंने बताया कि जर्मनी में 26 सितंबर को होने वाले संसदीय चुनाव से पहले जासूसी वाले ई-मेल का इस्तेमाल कर संघीय और राज्य विधायिका के सदस्यों की व्यक्तिगत लॉगइन जानकारी हासिल करने की कोशिश की जा रही है और इसका लक्ष्य चोरी है.

प्रवक्ता ने बताया इन हमलों का इस्तेमाल प्रभवित करने के अभियान की तैयारी के लिए किया जा सकता है जैसे संसदीय चुनाव से जुड़ा भ्रामक सूचना अभियान.

सास्से ने कहा जर्मनी की सरकार के पास पुख्ता सूचना है जिसके आधार पर घोस्टराइर की गतिविधियों को रूसी राज्य के साइबर किरदारों खासतौर पर रूस की जीआरयू सैन्य खुफिया सेवा से जोड़ा जा सकता है.

इसे भी पढे़ं-'जलवायु संबंधी कार्रवाई महामारी के खत्म होने का इंतजार नहीं कर सकती'

उन्होंने कहा कि यह अस्वीकार्य गतिविधि है क्योंकि इसे वह संघीय जर्मन गणराज्य की सुरक्षा और उसके लोकतांत्रिक निर्णय प्रक्रिया और द्विपक्षीय संबंधों पर खतरे के तौर पर देखता है. प्रवक्ता ने बताया कि जर्मनी ने रूस की सरकार से ऐसी गतिविधियों को तत्काल बंद करने को कहा है.

उन्होंने बताया कि गुरूवार और शुक्रवार को जर्मनी-रूस सुरक्षा नीति पर गठित कार्यसमूह की बैठक में जर्मनी के उप विदेशमंत्री मिगुएल बर्जर ने अपने रूसी समकक्ष के समक्ष यह मुद्दा उठाया.

(पीटीआई-भाषा)

बर्लिन : जर्मनी ने अपनी विधायिका के सदस्यों का डाटा चोरी करने की कोशिश को लेकर रूस के समक्ष विरोध दर्ज कराया है.जर्मनी को आशंका है कि यह आगामी जर्मन चुनाव से पहले भ्रामक सूचना का प्रसार करने की तैयारी हो सकती है.जर्मनी विदेश मंत्रालय ने यह जानकारी साझा की है.

विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता एंड्रिया सास्से ने कहा कि हैकर समूह घोस्टराइटर पारंपरिक साइबर हमले को दुष्प्रचार एवं प्रभावित करने वाले अभियान से मिला रहा है और जर्मनी को निशाना बनाने की उसकी गतिविधि कुछ समय से देखी जा रही है.

उन्होंने बताया कि जर्मनी में 26 सितंबर को होने वाले संसदीय चुनाव से पहले जासूसी वाले ई-मेल का इस्तेमाल कर संघीय और राज्य विधायिका के सदस्यों की व्यक्तिगत लॉगइन जानकारी हासिल करने की कोशिश की जा रही है और इसका लक्ष्य चोरी है.

प्रवक्ता ने बताया इन हमलों का इस्तेमाल प्रभवित करने के अभियान की तैयारी के लिए किया जा सकता है जैसे संसदीय चुनाव से जुड़ा भ्रामक सूचना अभियान.

सास्से ने कहा जर्मनी की सरकार के पास पुख्ता सूचना है जिसके आधार पर घोस्टराइर की गतिविधियों को रूसी राज्य के साइबर किरदारों खासतौर पर रूस की जीआरयू सैन्य खुफिया सेवा से जोड़ा जा सकता है.

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उन्होंने कहा कि यह अस्वीकार्य गतिविधि है क्योंकि इसे वह संघीय जर्मन गणराज्य की सुरक्षा और उसके लोकतांत्रिक निर्णय प्रक्रिया और द्विपक्षीय संबंधों पर खतरे के तौर पर देखता है. प्रवक्ता ने बताया कि जर्मनी ने रूस की सरकार से ऐसी गतिविधियों को तत्काल बंद करने को कहा है.

उन्होंने बताया कि गुरूवार और शुक्रवार को जर्मनी-रूस सुरक्षा नीति पर गठित कार्यसमूह की बैठक में जर्मनी के उप विदेशमंत्री मिगुएल बर्जर ने अपने रूसी समकक्ष के समक्ष यह मुद्दा उठाया.

(पीटीआई-भाषा)

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