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ट्रम्प के वार्ता रोकने से सर्वाधिक नुकसान अमेरिका झेलेगा: तालिबान

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Published : Sep 9, 2019, 12:00 AM IST

Updated : Sep 29, 2019, 10:48 PM IST

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने शांति वार्ता से पीछे हटने की घोषणा कर दी. इसके बाद तालिबान ने रविवार को कहा कि इससे सबसे ज्यादा नुकसान अमेरिका को होगा. हालांकि तालिबान भावी वार्ता के लिए 'द्वार' खुला छोड़ता है. पढ़ें विस्तार से...

तालिबान (सांकेतिक चित्र)

काबुल: अमेरिका की सबसे लंबी लड़ाई को समाप्त करने पर केंद्रित सालभर से चल रही शांति वार्ता से अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की पीछे हटने की घोषणा कर दिया है.

इसके बाद तालिबान ने रविवार को कहा कि इससे सबसे ज्यादा नुकसान अमेरिका को होगा. हालांकि तालिबान भावी वार्ता के लिए 'द्वार' खुला छोड़ता है.

तालिबान की ओर से ट्विटर पर जारी बयान में उसके प्रवक्ता जबीहुल्लाह मुजाहिद ने कहा, 'हम अब भी विश्वास करते हैं कि अमेरिकी पक्ष को यह समझ में आएगा. पिछले 18 सालों से हमारी लड़ाई ने अमेरिकियों को साबित कर दिया है कि जबतक हम उनके कब्जे का पूर्ण समापन नहीं देख लेते तबतक हम संतुष्ट नहीं बैठेंगे.'

बयान में कहा गया है कि तालिबान ने अमेरिका के साथ समझौते को करीब अंतिम रूप दे दिया था. इसके बाद अमेरिका तालिबान से सुरक्षा वादों के एवज में अपने सैनिकों को वापस करना शुरू कर देता.

बयान के अनुसार दोनों इस करार की घोषणा होने की तैयारी कर रहे थे, लेकिन उसी बीच ट्रंप ने शनिवार को घोषणा कर दी कि उन्होंने शांति वार्ता रोक दी है.

ट्रंप ने वार्ता से पीछे हटने की वजह वृहस्पतिवार को काबुल में हुए एक तालिबान हमले को बतायी है, जिसमें एक अमेरिकी सैनिक समेत 12 लोग मारे गये. इस वार्ता में इस सप्ताहांत मैरीलैंड के कैंप डेविड में तालिबान के साथ होने वाली गुप्त बैठक भी शामिल है.

हालांकि, तालिबान ने अपने बयान में ट्रंप द्वारा बतायी गयी वजह को खारिज कर दिया.

पढ़ें- काबुल में तालिबान का हफ्तेभर में दूसरा बड़ा विस्फोट, 10 की मौत

तालिबान ने कहा है कि उनमें न तो अनुभव और न ही धैर्य झलकता है.अमेरिका पर लड़ाई में सैंकड़ों अफगानों की हत्या करने का आरोप लगाया.

बयान में कहा गया है कि ट्रंप के फैसले से सबसे ज्यादा नुकसान अमेरिकियों को होगा. अमेरिका की साख को क्षति पहुंचेगी तथा उसका शांति विरोधी रुख दुनिया के सामने और स्पष्ट होकर सामने आएगा.

काबुल: अमेरिका की सबसे लंबी लड़ाई को समाप्त करने पर केंद्रित सालभर से चल रही शांति वार्ता से अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की पीछे हटने की घोषणा कर दिया है.

इसके बाद तालिबान ने रविवार को कहा कि इससे सबसे ज्यादा नुकसान अमेरिका को होगा. हालांकि तालिबान भावी वार्ता के लिए 'द्वार' खुला छोड़ता है.

तालिबान की ओर से ट्विटर पर जारी बयान में उसके प्रवक्ता जबीहुल्लाह मुजाहिद ने कहा, 'हम अब भी विश्वास करते हैं कि अमेरिकी पक्ष को यह समझ में आएगा. पिछले 18 सालों से हमारी लड़ाई ने अमेरिकियों को साबित कर दिया है कि जबतक हम उनके कब्जे का पूर्ण समापन नहीं देख लेते तबतक हम संतुष्ट नहीं बैठेंगे.'

बयान में कहा गया है कि तालिबान ने अमेरिका के साथ समझौते को करीब अंतिम रूप दे दिया था. इसके बाद अमेरिका तालिबान से सुरक्षा वादों के एवज में अपने सैनिकों को वापस करना शुरू कर देता.

बयान के अनुसार दोनों इस करार की घोषणा होने की तैयारी कर रहे थे, लेकिन उसी बीच ट्रंप ने शनिवार को घोषणा कर दी कि उन्होंने शांति वार्ता रोक दी है.

ट्रंप ने वार्ता से पीछे हटने की वजह वृहस्पतिवार को काबुल में हुए एक तालिबान हमले को बतायी है, जिसमें एक अमेरिकी सैनिक समेत 12 लोग मारे गये. इस वार्ता में इस सप्ताहांत मैरीलैंड के कैंप डेविड में तालिबान के साथ होने वाली गुप्त बैठक भी शामिल है.

हालांकि, तालिबान ने अपने बयान में ट्रंप द्वारा बतायी गयी वजह को खारिज कर दिया.

पढ़ें- काबुल में तालिबान का हफ्तेभर में दूसरा बड़ा विस्फोट, 10 की मौत

तालिबान ने कहा है कि उनमें न तो अनुभव और न ही धैर्य झलकता है.अमेरिका पर लड़ाई में सैंकड़ों अफगानों की हत्या करने का आरोप लगाया.

बयान में कहा गया है कि ट्रंप के फैसले से सबसे ज्यादा नुकसान अमेरिकियों को होगा. अमेरिका की साख को क्षति पहुंचेगी तथा उसका शांति विरोधी रुख दुनिया के सामने और स्पष्ट होकर सामने आएगा.

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.KABUL FGN15
AFGHAN-TALIBAN-US
Taliban say US 'will be harmed more than anyone' after Trump halts talks
         Kabul, Sept 8 (AFP) The Taliban said the US "will be harmed more than anyone" but left the door open for future negotiations Sunday after President Donald Trump abruptly announced that he had called off year-long talks to end America's longest war.
         "We still... believe that the American side will come back to this position... Our fight for the past 18 years should have proven to the Americans that we will not be satisfied until we witness the complete end of the occupation," the group said in a statement released on Twitter by spokesman Zabihullah Mujahid.
         The statement said the insurgents had "finalised" a deal with the US that had been expected to allow Washington to begin withdrawing troops in exchange for security promises from the Taliban.         
         It added that both sides had been preparing for the deal to be announced and signed when Trump tweeted late Saturday that he had "called off peace negotiations".
         Trump had cited a Taliban attack in Kabul on Thursday which killed 12 people including a US soldier as his reason for calling off the talks, including a secret meeting with the insurgents at Camp David in Maryland planned for this weekend.
         But the Taliban dismissed his reasoning in their statement, saying it showed "neither experience nor patience", and accused the US of killing "hundreds of Afghans" in the fighting.
         "Americans will be harmed more than any other," by Trump's decision, the statement said, adding that the US's "credibility will be harmed, their anti-peace stance will become more visible to the world, their casualties and financial losses will increase, and the US role in international political interaction will be discredited even further."(AFP)
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Last Updated : Sep 29, 2019, 10:48 PM IST
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