कराची : पाकिस्तान ने फंसे हुए अफगानों को प्रवेश देने के मुद्दे पर तालिबान के साथ दो दौर की सफल बातचीत के बाद शनिवार को 'चमन-स्पीन बोल्दक' सीमा को दोबारा खोल दिया' है. बता दें कि युद्धग्रस्त अफागनिस्तान में चरमपंथी तालिबान तेजी से इलाकों पर कब्जा कर रहा है.
तालिबान ने बृहस्पतिवार और शुक्रवार की कार्रवाई के बाद अफगानिस्तान के प्रमुख शहरों हेरात और कंधार पर कब्जा कर लिया और राष्ट्रीय राजधानी काबुल की घेराबंदी और कड़ी कर दी. माना जा रहा है कि चरमपंथी संगठन ने देश के दो तिहाई हिस्से और 34 सूबों में से करीब आधे की राजधानियों पर कब्जा कर लिया है.
पाकिस्तान सरकार के अधिकारी ने चमन में मीडिया से बातचीत में कहा कि तालिबान और पाकिस्तानी अधिकारियों ने शुक्रवार को सफल वार्ता के बाद आर्थिक रूप से अहम सीमा को खोलने का फैसला किया है. उन्होंने बताया कि दोनों पक्षों के बीच दो दौर की बातचीत हुई.
उल्लेखनीय है कि अब तालिबान लड़ाके अफगानिस्तान के स्पीन बोल्दक जिले में सीमा का काम काज देख रहे हैं. तालिबान ने पिछले महीने इसपर कब्जा किया था. सूबे में सभी कर और शुल्क तालिबान द्वारा एकत्र किया जा रहा है.
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चमन-स्पीन बोल्दक सीमा मार्ग से दोनों देशों को भारी राजस्व प्राप्त होता है. सामान्य दिनों में करीब एक हजार ट्रक रोजाना इस सीमा के दोनों ओर सामान की ढुलाई करते हैं. स्पीन बोल्दक पर तालिबान के कब्जे के बाद चमन-स्पीन बोल्दक मार्ग को पिछले सप्ताह बंद कर दिया गया था.
तालिबान ने पाकिस्तानी अधिकारियों से मांग की थी कि सीमा पर फंसे अफगानों को सीमा पार पाकिस्तान में जाने की अनुमति दी जाए. वार्ता के बाद यह फैसला किया गया कि जिन लोगों के पास अफगान पहचान पत्र या पाकिस्तान द्वारा जारी शरणार्थी पंजीकरण कार्ड है, उन्हें सीमा पार करने दिया जाएगा.
अधिकारियों ने बताया कि सीमा खुलने से कारोबारियों को राहत मिलेगी जिनका खराब होने वाले माल की आपूर्ति रुक गई थी. उन्होंने बताया कि बृहस्पतिवार को चमन में जिस अफगान नागरिक की हृदय गति रुकने से मौत हुई थी उसका शव भी अंतिम संस्कार और दफनाने के लिए उसके देश भेज दिया गया है.
(पीटीआई-भाषा)