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पाक विदेश मंत्री का आरोप- चीन से ध्यान भटकाने की कोशिश कर रहा भारत - pakistan foreign minister on india over china

पाकिस्तान के विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी ने आरोप लगाया है कि भारत चीन विवाद से ध्यान भटकाने कि लिए पाकिस्तान का सहारा ले रहा है. कुरैशी ने बिना किसी सबूत और ब्यौरा दिए ही भारत पर आरोप लगाए. पढ़ें खबर विस्तार से...

-allegation of pak FM on india
पाकिस्तान के विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी
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Published : Jun 25, 2020, 11:31 AM IST

इस्लामाबाद : पाकिस्तान के विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी ने भारत पर आरोप लगाया कि वह चीन के साथ सीमा विवाद से अपने विपक्ष का ध्यान भटकाने के लिए उनके देश पर हमले की साजिश रच रहा है. भारत ने एक दिन पहले ही पाकिस्तान से कहा था कि वह नई दिल्ली स्थित अपने उच्चायोग में कर्मचारियों की संख्या में कटौती करे.

कुरैशी ने एक स्थानीय चैनल से बातचीत करते हुए भारत पर चीन के साथ अपने सीमा विवाद से ध्यान भटका कर पाकिस्तान की ओर करने का आरोप लगाया.

उन्होंने बिना किसी ब्यौरा और सबूत दिए दावा किया और आरोप लगाया कि पाकिस्तान के खिलाफ भारत 'फॉल्स फ्लैग आपरेशन’ (ऐसी शत्रुतापूर्ण कार्रवाई, जिसमें कार्रवाई करने वाले की पहचान अस्पष्ट हो) शुरू करने का बहाना ढूंढ रहा है.

उन्होंने चीन के साथ सीमा विवाद और गलवान घाटी में 20 भारतीय जवानों के शहीद होने की घटना को लेकर नरेंद्र मोदी सरकार के आलोचना का सामना करने का जिक्र करते हुए कहा, 'भारत में विपक्ष सवाल उठा रहा है कि उनकी सरकार जवाब नहीं दे सकती है.'

उन्होंने कहा कि भारत ने नई दिल्ली में पाकिस्तानी राजनयिकों के खिलाफ जासूसी के बेबुनियाद आरोप लगाए हैं. इसके साथ ही उन्होंने आरोप लगाया कि भारत में पाकिस्तानी कर्मचारियों को परेशान किया गया और अधिकारियों द्वारा उनकी कारों का पीछा किया गया.

कुरैशी ने कहा, 'हमने उनसे (भारतीय उच्चायोग प्रभारी) कहा कि इस एकतरफा नीति की वजह से आप भी अपनी मौजूदगी (उच्चायोग के कर्मचारियों की संख्या के संदर्भ में) 50 प्रतिशत कटौती करें.' उन्होंने कहा, 'अगर पाकिस्तानी कर्मचारी स्वेदश लौटते हैं तो भारतीय कर्मचारियों को भी वापस जाना होगा.'

उल्लेखनीय है कि मंगलवार को भारत ने नई दिल्ली स्थित पाकिस्तानी उच्चायोग को अपने कर्मचारियों की संख्या में 50 प्रतिशत कटौती करने का निर्देश देते हुए कहा कि था कि वह इस्लामाबाद से इसी अनुपात में कर्मचारियों को वापस बुलाएगा.

विदेश मंत्रालय ने बयान जारी कर कहा था, 'पाकिस्तान और उसके अधिकारियों का व्यवहार विएना संधि और राजनयिकों और दूतावास कर्मियों को लेकर कर किए गए द्विपक्षीय समझौते के अनुकूल नहीं है.'

विदेश मंत्रालय ने कहा, 'इसके विपरीत, सीमा पार हिंसा और आतंकवाद का समर्थन करना उसकी नीति का प्रमुख हिस्सा है. इसलिए, भारत सरकार ने नई दिल्ली में पाकिस्तान उच्चायोग के कर्मचारियों की संख्या को 50 प्रतिशत कम करने का निर्णय लिया है.'

इस्लामाबाद : पाकिस्तान के विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी ने भारत पर आरोप लगाया कि वह चीन के साथ सीमा विवाद से अपने विपक्ष का ध्यान भटकाने के लिए उनके देश पर हमले की साजिश रच रहा है. भारत ने एक दिन पहले ही पाकिस्तान से कहा था कि वह नई दिल्ली स्थित अपने उच्चायोग में कर्मचारियों की संख्या में कटौती करे.

कुरैशी ने एक स्थानीय चैनल से बातचीत करते हुए भारत पर चीन के साथ अपने सीमा विवाद से ध्यान भटका कर पाकिस्तान की ओर करने का आरोप लगाया.

उन्होंने बिना किसी ब्यौरा और सबूत दिए दावा किया और आरोप लगाया कि पाकिस्तान के खिलाफ भारत 'फॉल्स फ्लैग आपरेशन’ (ऐसी शत्रुतापूर्ण कार्रवाई, जिसमें कार्रवाई करने वाले की पहचान अस्पष्ट हो) शुरू करने का बहाना ढूंढ रहा है.

उन्होंने चीन के साथ सीमा विवाद और गलवान घाटी में 20 भारतीय जवानों के शहीद होने की घटना को लेकर नरेंद्र मोदी सरकार के आलोचना का सामना करने का जिक्र करते हुए कहा, 'भारत में विपक्ष सवाल उठा रहा है कि उनकी सरकार जवाब नहीं दे सकती है.'

उन्होंने कहा कि भारत ने नई दिल्ली में पाकिस्तानी राजनयिकों के खिलाफ जासूसी के बेबुनियाद आरोप लगाए हैं. इसके साथ ही उन्होंने आरोप लगाया कि भारत में पाकिस्तानी कर्मचारियों को परेशान किया गया और अधिकारियों द्वारा उनकी कारों का पीछा किया गया.

कुरैशी ने कहा, 'हमने उनसे (भारतीय उच्चायोग प्रभारी) कहा कि इस एकतरफा नीति की वजह से आप भी अपनी मौजूदगी (उच्चायोग के कर्मचारियों की संख्या के संदर्भ में) 50 प्रतिशत कटौती करें.' उन्होंने कहा, 'अगर पाकिस्तानी कर्मचारी स्वेदश लौटते हैं तो भारतीय कर्मचारियों को भी वापस जाना होगा.'

उल्लेखनीय है कि मंगलवार को भारत ने नई दिल्ली स्थित पाकिस्तानी उच्चायोग को अपने कर्मचारियों की संख्या में 50 प्रतिशत कटौती करने का निर्देश देते हुए कहा कि था कि वह इस्लामाबाद से इसी अनुपात में कर्मचारियों को वापस बुलाएगा.

विदेश मंत्रालय ने बयान जारी कर कहा था, 'पाकिस्तान और उसके अधिकारियों का व्यवहार विएना संधि और राजनयिकों और दूतावास कर्मियों को लेकर कर किए गए द्विपक्षीय समझौते के अनुकूल नहीं है.'

विदेश मंत्रालय ने कहा, 'इसके विपरीत, सीमा पार हिंसा और आतंकवाद का समर्थन करना उसकी नीति का प्रमुख हिस्सा है. इसलिए, भारत सरकार ने नई दिल्ली में पाकिस्तान उच्चायोग के कर्मचारियों की संख्या को 50 प्रतिशत कम करने का निर्णय लिया है.'

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