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IS सरगना प्रमुख अबू बक्र अल-बगदादी मारा गया

अमेरिका ने आतंकी संगठन इस्लामिक स्टेट (आईएसआईएस) के सरगना बगदादी को मार गिराया है. बगदादी के मारे जाने के बाद पहली बार अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने बयान दिया है. जानें पूरा विवरण...

donald trump on death of bagdadi
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Published : Oct 27, 2019, 7:28 PM IST

Updated : Oct 28, 2019, 7:45 PM IST

वाशिंगटन : अमेरिका ने आईएसआईएस सरगना और कुख्यात आतंकी अबु बक्र अल-बगदादी को मार गिराया है. बगदादी के मारे जाने के बाद अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने पहली बार मीडिया को संबोधित किया.

बगदादी की मौत की पुष्टि करते हुए ट्रंप ने कहा कि आईएस का सरगना अपने जीवन के अंतिम क्षणों में रोया, चीखा-चिल्लाया और फिर अपने तीन बच्चों की हत्या कर खुद को बम से उड़ा लिया.

बगदादी के मारे जाने पर ट्रंप का बयान.

ट्रम्प ने कहा कि बगदादी अब मर चुका है, उसे बुरी तरह कुचल दिया गया है. अब वह कभी भी किसी निर्दोष आदमी, बच्चे या औरत को नुकसान नहीं पहुंचा पाएगा. वह एक कुत्ते की मौत मारा गया है, एक बुजदिल की तरह मरा है. विश्व अब और सुरक्षित जगह हो गया है, भगवान अमेरिका को और मजबूती दे.

ट्रंप ने कहा कि अमेरिका के विशेष अभियान बलों ने रात के समय 'साहसिक और जोखिम भरे अभियान' को शानदार ढंग से अंजाम दिया. उन्होंने कहा, 'अमेरिका ने दुनिया के नंबर एक आतंकी सरगना को मार गिराया. अबू बक्र अल बगदादी मर चुका है.'

अमेरिकी राष्ट्रपति ने कहा, 'वह आईएसआईएस का संस्थापक और नेता था, जो दुनिया का सबसे क्रूर और हिंसक आतंकी संगठन है. अमेरिका कई वर्षों से बगदादी की तलाश कर रहा था. बगदादी को पकड़ना या मारना मेरे प्रशासन की राष्ट्रीय सुरक्षा की सर्वोच्च प्राथमिकता रही.'

अमेरिकी सेना का खौफ !
ट्रंप ने कहा, 'वह एक तरफ से बंद सुरंग में भागते हुए गया. इस दौरान वह पूरे समय रोता और चिल्लाता रहा. जिस ठग ने दूसरों के मन में डर पैदा किया, उसके जीवन के अंतिम क्षण अमेरिकी सेना के खौफ में बीते.'

उन्होंने कहा कि अभियान में एक भी अमेरिकी सैनिक की मौत नहीं हुई, लेकिन बगदादी के कई समर्थक मारे गये. उन्होंने कहा कि उसके पास से बेहद संवेदनशील सामग्री और जानकारी मिली है.

ट्रंप ने कहा कि उन्होंने उपराष्ट्रपति माइक पेंस और शीर्ष सैन्य अधिकारियों के साथ व्हाइट हाउस से अभियान का सीधा प्रसारण देखा. उन्होंने कहा कि अमेरिकी कमांडों ने परिसर की दीवार को धमाका कर उड़ा दिया. विस्फोट ने बगदादी के शरीर को विकृत कर दिया, लेकिन डीएनए जांच में उसकी पहचान की पुष्टि हो गई.

ट्रंप की बड़ी राजनीतिक जीत !
गौरतलब है कि आईएस ने लोगों पर बहुत अत्याचार किये, जिसके चलते हजारों लोगों को जान गंवानी पड़ी. पिछले पांच वर्षों में, बगदादी के ठिकाने के बारे में बहुत कम जानकारी मिल पाई थीं. इस दौरान कई बार उसके मारे जाने की खबरें भी आई. ऐसे में बगदादी की मौत को राष्ट्रपति ट्रंप के लिये बड़ी राजनीतिक जीत माना जा रहा है, जो विपक्षी डेमोक्रेटिक पार्टी की ओर से महाभियोग की प्रक्रिया का सामना कर रहे हैं.

ट्रंप ने अभियान में सहयोग देने के लिये रूस, तुर्की, सीरिया, और इराक को धन्यवाद दिया. उन्होंने अभियान में मददगार जानकारी उपलब्ध कराने के लिये सीरियाई कुर्दों को भी धन्यवाद कहा. उन्होंने कहा, 'कुर्दों ने सैन्य भूमिका नहीं निभाई लेकिन उन्होंने हमें जानकारी उपलब्ध कराई.'

अमेरिकी राष्ट्रपति ने कहा कि अमेरिकी विशेष बलों ने तुर्की के किसी क्षेत्र से उड़ान भरी थी. उन्होंने कहा कि हमने रूस से बात कर उसे बताया कि हम वहां आ रहे हैं...उन्होंने बहुत अच्छी प्रतिक्रिया दी. हमने रूस को यह नहीं बताया कि हमारा मिशन क्या है.

दो पत्नियां भी मारी गईं
ट्रंप ने कहा, यह एक खुफिया अभियान था. वहां घुसते ही हल्की गोलीबारी हुई, जिसका तुरंत जवाब दिया गया. अभियान की प्रक्रिया शाम पांच बजे शुरू की गई. उन्होंने कहा कि अभियान से पहले 11 बच्चों समेत कई लोगों को बचाया गया. डीएनए जांच में साबित हो गया है कि वह बगदादी था. हमले में उसकी दो पत्नियां भी मारी गईं.

इससे पहले इस्लामिक स्टेट के नेता अबू बक्र अल-बगदादी को निशाना बनाते हुए अमेरिका द्वारा एक ऑपरेशन किये जाने की खबरें सामने आई. कार्रवाई पर अमेरिकी अधिकारी के बयान और बगदादी के मारे जाने की खबरों के बीच अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप ने ट्वीट कर कहा 'अभी कुछ बहुत बड़ा हुआ है.'

ये भी पढ़ें : ISIS सरगना बगदादी की मौत की खबर, ट्रंप बोले 'कुछ बड़ा हुआ'

बता दें कि दुनिया की सबसे अच्छी खुफिया एजेंसियों द्वारा खोजे जाने और अमेरिकी अधिकारियों द्वारा उसके बारे में सूचना देने के लिए ढाई करोड़ अमेरिकी डॉलर का इनाम रखने के बावजूद बगदादी हाथ नहीं आया.

गौरतलब है कि बगदादी इराक में अल-कायदा में शामिल हो गया, जिसका बाद में इराक के इस्लामिक स्टेट और अन्य इस्लामी समूहों के साथ विलय हो गया. वह अमेरिकी सेना द्वारा अपने पूर्ववर्ती के मारे जाने के बाद 2010 में समूह का नेता बन गया.

इसके बाद उसने 2013 में समूह का नाम बदलकर आईएसआईएल या आईएसआईएस कर 2014 में खुद को खलीफा 'घोषित' कर लिया.

(एक्स्ट्रा इनपुट- पीटीआई)

वाशिंगटन : अमेरिका ने आईएसआईएस सरगना और कुख्यात आतंकी अबु बक्र अल-बगदादी को मार गिराया है. बगदादी के मारे जाने के बाद अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने पहली बार मीडिया को संबोधित किया.

बगदादी की मौत की पुष्टि करते हुए ट्रंप ने कहा कि आईएस का सरगना अपने जीवन के अंतिम क्षणों में रोया, चीखा-चिल्लाया और फिर अपने तीन बच्चों की हत्या कर खुद को बम से उड़ा लिया.

बगदादी के मारे जाने पर ट्रंप का बयान.

ट्रम्प ने कहा कि बगदादी अब मर चुका है, उसे बुरी तरह कुचल दिया गया है. अब वह कभी भी किसी निर्दोष आदमी, बच्चे या औरत को नुकसान नहीं पहुंचा पाएगा. वह एक कुत्ते की मौत मारा गया है, एक बुजदिल की तरह मरा है. विश्व अब और सुरक्षित जगह हो गया है, भगवान अमेरिका को और मजबूती दे.

ट्रंप ने कहा कि अमेरिका के विशेष अभियान बलों ने रात के समय 'साहसिक और जोखिम भरे अभियान' को शानदार ढंग से अंजाम दिया. उन्होंने कहा, 'अमेरिका ने दुनिया के नंबर एक आतंकी सरगना को मार गिराया. अबू बक्र अल बगदादी मर चुका है.'

अमेरिकी राष्ट्रपति ने कहा, 'वह आईएसआईएस का संस्थापक और नेता था, जो दुनिया का सबसे क्रूर और हिंसक आतंकी संगठन है. अमेरिका कई वर्षों से बगदादी की तलाश कर रहा था. बगदादी को पकड़ना या मारना मेरे प्रशासन की राष्ट्रीय सुरक्षा की सर्वोच्च प्राथमिकता रही.'

अमेरिकी सेना का खौफ !
ट्रंप ने कहा, 'वह एक तरफ से बंद सुरंग में भागते हुए गया. इस दौरान वह पूरे समय रोता और चिल्लाता रहा. जिस ठग ने दूसरों के मन में डर पैदा किया, उसके जीवन के अंतिम क्षण अमेरिकी सेना के खौफ में बीते.'

उन्होंने कहा कि अभियान में एक भी अमेरिकी सैनिक की मौत नहीं हुई, लेकिन बगदादी के कई समर्थक मारे गये. उन्होंने कहा कि उसके पास से बेहद संवेदनशील सामग्री और जानकारी मिली है.

ट्रंप ने कहा कि उन्होंने उपराष्ट्रपति माइक पेंस और शीर्ष सैन्य अधिकारियों के साथ व्हाइट हाउस से अभियान का सीधा प्रसारण देखा. उन्होंने कहा कि अमेरिकी कमांडों ने परिसर की दीवार को धमाका कर उड़ा दिया. विस्फोट ने बगदादी के शरीर को विकृत कर दिया, लेकिन डीएनए जांच में उसकी पहचान की पुष्टि हो गई.

ट्रंप की बड़ी राजनीतिक जीत !
गौरतलब है कि आईएस ने लोगों पर बहुत अत्याचार किये, जिसके चलते हजारों लोगों को जान गंवानी पड़ी. पिछले पांच वर्षों में, बगदादी के ठिकाने के बारे में बहुत कम जानकारी मिल पाई थीं. इस दौरान कई बार उसके मारे जाने की खबरें भी आई. ऐसे में बगदादी की मौत को राष्ट्रपति ट्रंप के लिये बड़ी राजनीतिक जीत माना जा रहा है, जो विपक्षी डेमोक्रेटिक पार्टी की ओर से महाभियोग की प्रक्रिया का सामना कर रहे हैं.

ट्रंप ने अभियान में सहयोग देने के लिये रूस, तुर्की, सीरिया, और इराक को धन्यवाद दिया. उन्होंने अभियान में मददगार जानकारी उपलब्ध कराने के लिये सीरियाई कुर्दों को भी धन्यवाद कहा. उन्होंने कहा, 'कुर्दों ने सैन्य भूमिका नहीं निभाई लेकिन उन्होंने हमें जानकारी उपलब्ध कराई.'

अमेरिकी राष्ट्रपति ने कहा कि अमेरिकी विशेष बलों ने तुर्की के किसी क्षेत्र से उड़ान भरी थी. उन्होंने कहा कि हमने रूस से बात कर उसे बताया कि हम वहां आ रहे हैं...उन्होंने बहुत अच्छी प्रतिक्रिया दी. हमने रूस को यह नहीं बताया कि हमारा मिशन क्या है.

दो पत्नियां भी मारी गईं
ट्रंप ने कहा, यह एक खुफिया अभियान था. वहां घुसते ही हल्की गोलीबारी हुई, जिसका तुरंत जवाब दिया गया. अभियान की प्रक्रिया शाम पांच बजे शुरू की गई. उन्होंने कहा कि अभियान से पहले 11 बच्चों समेत कई लोगों को बचाया गया. डीएनए जांच में साबित हो गया है कि वह बगदादी था. हमले में उसकी दो पत्नियां भी मारी गईं.

इससे पहले इस्लामिक स्टेट के नेता अबू बक्र अल-बगदादी को निशाना बनाते हुए अमेरिका द्वारा एक ऑपरेशन किये जाने की खबरें सामने आई. कार्रवाई पर अमेरिकी अधिकारी के बयान और बगदादी के मारे जाने की खबरों के बीच अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप ने ट्वीट कर कहा 'अभी कुछ बहुत बड़ा हुआ है.'

ये भी पढ़ें : ISIS सरगना बगदादी की मौत की खबर, ट्रंप बोले 'कुछ बड़ा हुआ'

बता दें कि दुनिया की सबसे अच्छी खुफिया एजेंसियों द्वारा खोजे जाने और अमेरिकी अधिकारियों द्वारा उसके बारे में सूचना देने के लिए ढाई करोड़ अमेरिकी डॉलर का इनाम रखने के बावजूद बगदादी हाथ नहीं आया.

गौरतलब है कि बगदादी इराक में अल-कायदा में शामिल हो गया, जिसका बाद में इराक के इस्लामिक स्टेट और अन्य इस्लामी समूहों के साथ विलय हो गया. वह अमेरिकी सेना द्वारा अपने पूर्ववर्ती के मारे जाने के बाद 2010 में समूह का नेता बन गया.

इसके बाद उसने 2013 में समूह का नाम बदलकर आईएसआईएल या आईएसआईएस कर 2014 में खुद को खलीफा 'घोषित' कर लिया.

(एक्स्ट्रा इनपुट- पीटीआई)

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Last Updated : Oct 28, 2019, 7:45 PM IST
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