वाशिंगटन: दक्षिण चीन सागर में जलक्षेत्र को लेकर चीन के दावों को चुनौती देने के लिए अमेरिका के दो युद्धपोत विवादित द्वीप श्रृंखला के पास से गुजरे. मीडिया की एक खबर में इस घटनाक्रम के बारे में बताया गया है.
खबरों के मुताबिक, निर्देशित मिसाइल विध्वंसक यूएसएस स्प्रूअंस और यूएसएस प्रेबल नौवहन संचालन की आजादी के तहत विवादित स्प्रेटली द्वीप श्रृंखला से 12 समुद्री मील की दूरी से होकर गुजरा.
इस वाकये से भड़के चीन ने आरोप लगाया कि अमेरिका ने सोमवार को विवादित दक्षिण चीन सागर द्वीप के पास से मिसाइल विध्वंसक भेजकर ‘तनाव भड़काने’ की कोशिश की है. चीन के विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता हुआ चुनइंग ने नियमित संवाददाता सम्मेलन में बताया कि बीजिंग के दावे वाले स्पार्टली द्वीप के पास से सोमवार तड़के दो युद्ध पोत गुजरे थे. इसे अमेरिका ने ‘नौवहन अभियान की आजादी’ बताया है.
उन्होंने कहा कि अमेरिका का मकसद दक्षिण चीन सागर में तनाव भड़काना और शांति को कम करना है. चुनइंग ने अमेरिका से ‘भड़काउ कार्रवाई’ नहीं करने का अनुरोध किया. बता दें कि अमेरिका और चीन के बीच व्यापार युद्ध (ट्रेड वार) चल रहा है.
यूएसएस स्प्रुआंस और यूएसएस प्रेबल ऐसे वक्त में द्वीप के नजदीक से होकर गुजरे हैं, जब अमेरिका और चीन को इस हफ्ते अहम व्यापार वार्ता करनी है. इस बातचीत का मकसद दुनिया की दो सबसे बड़ी अर्थव्यवस्थाओं के बीच व्यापार जंग को रोकना है.
पढ़ें: लंदन में पैदा हुआ सुई के आकार का बच्चा
चीन लगभग समूचे दक्षिण चीन सागर पर अपना दावा करता है, जबकि ताइवान, फिलीपीन, ब्रुनेई, मलेशिया और वियतनाम भी इस पर दावा करते हैं. अमेरिका और उसके सहयोगी अक्सर दक्षिण चीन सागर द्वीपों के नजदीक से अपने विमान और युद्ध पोत भेजते हैं.
दक्षिण चीन सागर में स्प्रेटली द्वीप को लेकर विवाद है. इस द्वीप श्रृंखला की सीमा फिलिपीन, मलेशिया और दक्षिणी वियतनाम के करीब है. दक्षिण चीन सागर के तकरीबन समूचे हिस्से पर चीन अपना दावा करता है, जबकि ताइवान, फिलिपीन, ब्रूनेई, मलेशिया और वियतनाम भी इसके कुछ हिस्सों पर अपना-अपना दावा करते हैं.
अमेरिकी नौसेना के सातवें बेड़े के प्रवक्ता कमांडर क्ले डॉस ने कहा कि समुद्री क्षेत्र को लेकर बढ़-चढ़कर किये जा रहे दावे को चुनौती देने और अंतरराष्ट्रीय कानून के तहत जलमार्ग तक पहुंच सुरक्षित बनाने के लिए सोमवार की कार्रवाई की गयी.
डॉस ने कहा कि अंतरराष्ट्रीय कानून के तहत परिचालन को अंजाम दिया गया और यह प्रदर्शित करता है कि अमेरिका अंतरराष्ट्रीय कानून के तहत मिली इजाजत के मद्देनजर उड़ान, नौवहन को अंजाम देगा.