नई दिल्ली/नोएडा: यूपी के नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट लिमिटेड और ज्यूरिख एयरपोर्ट इंटरनेशनल ए. जी के प्रतिनिधियों ने कन्सेशन एग्रीमेंट पर हस्ताक्षर कर दिए हैं. 4 फेज में जेवर एयरपोर्ट बनकर तैयार हो जाएगा जिसकी क्षमता 70 मिलियन होगी. एक रनवे, 12 मिलियन कैपेसिटी के साथ साल 2024 में पहली उड़ान भरी जाएगी. पहले चरण में 1,334 हेक्टेयर में एयरपोर्ट विकसित किया जाएगा.
यमुना प्राधिकरण के सीईओ डॉ. अरुणवीर सिंह ने ईटीवी भारत से एक्सक्लूसिव बातचीत करते हुए बताया कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में यह सब हो सका है. पूरे प्रदेश के लिए यह ऐतिहासिक पल है. जेवर एयरपोर्ट चार चरण में बनकर तैयार होगा और इसकी कुल लागत 30 हजार करोड़ आंकी गई है. इस परियोजना की मदद से तकरीबन 7 गुना इकनोमिक एक्टिविटी बढ़ जाएगी.
जेवर एयरपोर्ट बनने से तकरीबन तीन लाख लोगों को रोजगार मिलेगा. एयरपोर्ट से भी 1 लाख लोगों को प्रत्यक्ष-अप्रत्यक्ष रोजगार मिलेगा. जेवर एयरपोर्ट के आसपास अपैरल पार्क, MSME, हैंडीक्राफ्ट-हैंडलूम, पार्क, मेडिकोस पार्क, एविएशन से संबंधित इंडस्ट्री, एमआरओ और टॉय सिटी भी डिवेलप हो रही है.
जेवर एयरपोर्ट को बेहतर कनेक्टिविटी देने के लिए सभी विकल्पों को देखा जा रहा है. ईस्टर्न पेरीफेरल एक्सप्रेसवे, मेट्रो, पीआरटी, बुलेट ट्रेन (दिल्ली से वाराणसी) डीपीआर में स्टॉपेज तय किए गए. पलवल खुर्जा एक्सप्रेसवे और इसके साथ ही 100 मीटर की समानांतर रोड भी तैयार की जा रही है.
यमुना प्राधिकरण के मुख्य कार्यपालन अधिकारी डॉ. अरुणवीर सिंह ने बताया कि साल 2023-24 में पहली उड़ान भरी जाएगी. 1,334 हेक्टेयर में पहले चरण में काम शुरू होगा. कुल 4 चरणों में काम होना है, जैसे-जैसे जमीन की जरूरत पड़ेगी उसका अधिग्रहण भविष्य में किया जाएगा.