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नोएडा में प्रदर्शन कर रहे किसानों पर कई धाराओं में दर्ज हुआ मुकदमा

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Published : Oct 12, 2021, 8:50 PM IST

Updated : Oct 17, 2021, 6:34 PM IST

नोएडा प्राधिकरण पर तालाबंदी करने के दौरान उग्र प्रदर्शन करने वाले किसानों पर पुलिस से धक्का-मुक्की, मारपीट, भड़काऊ भाषण देने और कोरोना की गाइडलाइन का उल्लंघन करने सहित तमाम धाराओं में मुकदमा दर्ज किया गया है.

Case filed against farmers protested against Noida Authority
प्रदर्शन कर रहे किसानों के ऊपर दर्जन भर से अधिक धाराओं में दर्ज हुआ मुकदमा

नई दिल्ली/नोएडा: दिल्ली से सटे नोएडा में महीने भर से अधिक दिनों से चल रहा किसान आंदोलन सोमवार उग्र हो गया. जिसके बाद किसानों और पुलिस के बीच में धक्कामुक्की देखने को मिली. वहीं पुलिस ने जब बल प्रयोग किया तो किसानों ने पुलिस की वर्दी तक फाड़ दी और कई पुलिसकर्मी इसमें चोटिल भी हुए. इस पूरे प्रकरण में नोएडा प्राधिकरण और पुलिस द्वारा किसानों को भड़काने के आरोप में थाना सेक्टर 20 पर करीब आधा दर्जन से अधिक धाराओं में मुकदमा दर्ज कराया गया है, जिसमें 40 लोगों को नामजद और करीब 1500 अज्ञात लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर जांच की जा रही है.

दरअसल, नोएडा के सेक्टर 5 स्थित हरौला में किसान अपनी विभिन्न मांगों को लेकर पिछले एक महीने से धरना प्रदर्शन कर रहे थे. अचानक सोमवार को किसान भारी संख्या में महिलाओं के साथ सेक्टर 5 से निकले और नोएडा प्राधिकरण की तरफ कूच कर दिया. जहां पहुंचकर किसानों द्वारा पहले पुलिस द्वारा लगाए गए बैरियर को हटाने का काम किया गया. वहीं जब पुलिस द्वारा उन्हें रोकने का प्रयास किया गया तो किसान उग्र हुए और बैरियर को तोड़ते हुए नोएडा प्राधिकरण के गेट पर ताला लगाने के लिए आगे बढ़े. यहां जब पुलिस ने उन्हें रोका तो वह उग्र हो गये.

वीडियो रिपोर्ट.

नोएडा प्राधिकरण के गेट पर किसानों और पुलिस के बीच हुई हाथापाई

नोएडा के थाना सेक्टर 20 पर प्राधिकरण के सहायक प्रबंधक रामचंद्र के द्वारा तहरीर दी गई कि किसान नेता किसान नेता सुखबीर खलीफा, राजेंद्र यादव, सुरेंद्र प्रधान और ऊदल सिंह ने प्राधिकरण के विरुद्ध भड़काऊ भाषण देकर लोगों को प्राधिकरण पर तालाबंदी करने के लिए उकसाया. जिसके बाद करीब 12 से 15 सौ महिला-पुरुषों की आक्रोशित भीड़ बिना किसी अनुमति के प्राधिकरण के विरुद्ध नारेबाजी करते हुए हरौला बराबर से मुख्य मार्ग पर आ गई, जिससे यातायात पूर्ण रूप से बाधित हो गया.

वहीं भीड़ ने मुख्य प्रशासनिक भवन की ओर आने वाले मार्ग पर लगे बैरियर को तोड़ा, इसके बाद प्राधिकरण की ओर आने वाले मार्ग पर लोहे के गेट को तोड़ा और फिर प्राधिकरण के स्वागत कक्ष के पास रस्से से बंधे बैरियर को तोड़ते समय पुलिस के साथ गाली-गलौज और धक्का-मुक्की की. इसके साथ ही महिलाओं व बच्चों को आगे करते हुए प्राधिकरण के मुख्य प्रवेश द्वार पर ताला लगा दिया.

यह भी पढ़ें:- अप्सरा बॉर्डर पर बहके किसान, रूट तोड़ कर दिल्ली में घुसने की कोशिश

तहरीर में दर्ज है कि प्रदर्शनकारियों द्वारा पुलिस से की गई धक्का-मुक्की में कई पुलिस अधिकारियों व कर्मचारियों की वर्दी एवं अलंकरण टूटे हैं, जिससे प्राधिकरण में कार्य बाधित हो गया. वहीं प्राधिकरण के कर्मचारी अपने काम को छोड़कर खुद को बचाने के लिए सुरक्षित स्थान ढूंढने लगे और पूरे परिसर में भय का माहौल निर्मित हो गया. इसके साथ ही इन लोगों द्वारा कोविड-19 महामारी के प्रोटोकाल और धारा 144 का भी खुलेआम उल्लंघन किया गया है, जिसे देखते हुए उनके खिलाफ तहरीर दी गई है. सहायक प्रबंधक वर्क सर्किल वन के द्वारा दी गई तहरीर के आधार पर पुलिस ने मुकदमा दर्ज किया है.

इन किसानों पर दर्ज हुआ मुकदमा

राजेंद्र यादव, सुरेंद्र प्रधान और उदल सिंह के नेतृत्व में महेश, सोनू, अंकित, ओमवीर, विजेंद्र, अतुल, सुरेंद्र प्रधान, अनिल यादव, सुधीर चौहान, राजेंद्र, यादव राहुल नवीन सतपाल अर्जुन गौरव राहुल सागर विनोद विजेंद्र, रमेश, रविंद्र, सुबोध, अमित भाटी ,राकेश यादव, अतुल यादव, कपिल यादव ,सुनील चौहान, विनोद यादव, बबीता, बबली शर्मा, पूनम, आशीष चौहान, चेतन चौहान, सोनू यादव, नितिन यादव और प्रिंस यादव व अन्य.

इन धाराओं में दर्ज हुआ मुकदमा

एडिशनल डीसीपी नोएडा रणविजय सिंह ने बताया कि उग्र प्रदर्शन करने वाले लोगों के खिलाफ धारा 147 ,188, 269, 270, 332,307, 341, 342 ,353, 427, 504, 34आईपीसी , 7 सीएलए एक्ट, 3 महामारी अधिनियम , 3/4 सर्वाधिक संपत्ति निवारण अधिनियम के तहत मुकदमा दर्ज कर जांच की जा रही है, जो भी दोषी हैं, उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी. किसी के भी द्वारा अगर कानून को हाथ में लेने और कानून व्यवस्था बिगाड़ने की कोशिश की जाएगी तो उसके खिलाफ सख्ती से पेश आया जाएगा और उसके खिलाफ वैधानिक कार्रवाई भी की जाएगी.

नई दिल्ली/नोएडा: दिल्ली से सटे नोएडा में महीने भर से अधिक दिनों से चल रहा किसान आंदोलन सोमवार उग्र हो गया. जिसके बाद किसानों और पुलिस के बीच में धक्कामुक्की देखने को मिली. वहीं पुलिस ने जब बल प्रयोग किया तो किसानों ने पुलिस की वर्दी तक फाड़ दी और कई पुलिसकर्मी इसमें चोटिल भी हुए. इस पूरे प्रकरण में नोएडा प्राधिकरण और पुलिस द्वारा किसानों को भड़काने के आरोप में थाना सेक्टर 20 पर करीब आधा दर्जन से अधिक धाराओं में मुकदमा दर्ज कराया गया है, जिसमें 40 लोगों को नामजद और करीब 1500 अज्ञात लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर जांच की जा रही है.

दरअसल, नोएडा के सेक्टर 5 स्थित हरौला में किसान अपनी विभिन्न मांगों को लेकर पिछले एक महीने से धरना प्रदर्शन कर रहे थे. अचानक सोमवार को किसान भारी संख्या में महिलाओं के साथ सेक्टर 5 से निकले और नोएडा प्राधिकरण की तरफ कूच कर दिया. जहां पहुंचकर किसानों द्वारा पहले पुलिस द्वारा लगाए गए बैरियर को हटाने का काम किया गया. वहीं जब पुलिस द्वारा उन्हें रोकने का प्रयास किया गया तो किसान उग्र हुए और बैरियर को तोड़ते हुए नोएडा प्राधिकरण के गेट पर ताला लगाने के लिए आगे बढ़े. यहां जब पुलिस ने उन्हें रोका तो वह उग्र हो गये.

वीडियो रिपोर्ट.

नोएडा प्राधिकरण के गेट पर किसानों और पुलिस के बीच हुई हाथापाई

नोएडा के थाना सेक्टर 20 पर प्राधिकरण के सहायक प्रबंधक रामचंद्र के द्वारा तहरीर दी गई कि किसान नेता किसान नेता सुखबीर खलीफा, राजेंद्र यादव, सुरेंद्र प्रधान और ऊदल सिंह ने प्राधिकरण के विरुद्ध भड़काऊ भाषण देकर लोगों को प्राधिकरण पर तालाबंदी करने के लिए उकसाया. जिसके बाद करीब 12 से 15 सौ महिला-पुरुषों की आक्रोशित भीड़ बिना किसी अनुमति के प्राधिकरण के विरुद्ध नारेबाजी करते हुए हरौला बराबर से मुख्य मार्ग पर आ गई, जिससे यातायात पूर्ण रूप से बाधित हो गया.

वहीं भीड़ ने मुख्य प्रशासनिक भवन की ओर आने वाले मार्ग पर लगे बैरियर को तोड़ा, इसके बाद प्राधिकरण की ओर आने वाले मार्ग पर लोहे के गेट को तोड़ा और फिर प्राधिकरण के स्वागत कक्ष के पास रस्से से बंधे बैरियर को तोड़ते समय पुलिस के साथ गाली-गलौज और धक्का-मुक्की की. इसके साथ ही महिलाओं व बच्चों को आगे करते हुए प्राधिकरण के मुख्य प्रवेश द्वार पर ताला लगा दिया.

यह भी पढ़ें:- अप्सरा बॉर्डर पर बहके किसान, रूट तोड़ कर दिल्ली में घुसने की कोशिश

तहरीर में दर्ज है कि प्रदर्शनकारियों द्वारा पुलिस से की गई धक्का-मुक्की में कई पुलिस अधिकारियों व कर्मचारियों की वर्दी एवं अलंकरण टूटे हैं, जिससे प्राधिकरण में कार्य बाधित हो गया. वहीं प्राधिकरण के कर्मचारी अपने काम को छोड़कर खुद को बचाने के लिए सुरक्षित स्थान ढूंढने लगे और पूरे परिसर में भय का माहौल निर्मित हो गया. इसके साथ ही इन लोगों द्वारा कोविड-19 महामारी के प्रोटोकाल और धारा 144 का भी खुलेआम उल्लंघन किया गया है, जिसे देखते हुए उनके खिलाफ तहरीर दी गई है. सहायक प्रबंधक वर्क सर्किल वन के द्वारा दी गई तहरीर के आधार पर पुलिस ने मुकदमा दर्ज किया है.

इन किसानों पर दर्ज हुआ मुकदमा

राजेंद्र यादव, सुरेंद्र प्रधान और उदल सिंह के नेतृत्व में महेश, सोनू, अंकित, ओमवीर, विजेंद्र, अतुल, सुरेंद्र प्रधान, अनिल यादव, सुधीर चौहान, राजेंद्र, यादव राहुल नवीन सतपाल अर्जुन गौरव राहुल सागर विनोद विजेंद्र, रमेश, रविंद्र, सुबोध, अमित भाटी ,राकेश यादव, अतुल यादव, कपिल यादव ,सुनील चौहान, विनोद यादव, बबीता, बबली शर्मा, पूनम, आशीष चौहान, चेतन चौहान, सोनू यादव, नितिन यादव और प्रिंस यादव व अन्य.

इन धाराओं में दर्ज हुआ मुकदमा

एडिशनल डीसीपी नोएडा रणविजय सिंह ने बताया कि उग्र प्रदर्शन करने वाले लोगों के खिलाफ धारा 147 ,188, 269, 270, 332,307, 341, 342 ,353, 427, 504, 34आईपीसी , 7 सीएलए एक्ट, 3 महामारी अधिनियम , 3/4 सर्वाधिक संपत्ति निवारण अधिनियम के तहत मुकदमा दर्ज कर जांच की जा रही है, जो भी दोषी हैं, उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी. किसी के भी द्वारा अगर कानून को हाथ में लेने और कानून व्यवस्था बिगाड़ने की कोशिश की जाएगी तो उसके खिलाफ सख्ती से पेश आया जाएगा और उसके खिलाफ वैधानिक कार्रवाई भी की जाएगी.

Last Updated : Oct 17, 2021, 6:34 PM IST
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