नई दिल्ली/नोएडा: ग्रेटर नोएडा में बनने वाले प्रदेश के मुख्यमंत्री के ड्रीम प्रोजेक्ट जेवर एयरपोर्ट के लिए हनुमान जी की मूर्ति विस्थापित की गई. प्रशासनिक अधिकारियों ने मूर्ति विस्थापित करने से पहले पूजा-अर्चना की इसके बाद रोही गांव में स्थापित हनुमान मूर्ति को क्रेन की मदद से हटाया. जेवर बांगर में एयरपोर्ट के लिए भूमि देने वाले किसानों का विस्थापन का कार्य पूरा हो चुका है. इसी क्रम में हनुमान जी की मूर्ति विस्थापित की गई है. इस समय जेवर एयरपोर्ट के लिए भूमि के समतलीकरण और चारदीवारी का निर्माण कार्य शुरू हो चुका है और वहीं प्रशासन द्वारा काम काफी तेजी के साथ कराया जा रहा है ताकि जल्द से जल्द काम पूरा हो और एयरपोर्ट का शिलान्यास किया जा सके.
जेवर एयरपोर्ट के शिलान्यास से पूर्व की लगभग सभी औपचारिकताएं पूरी हो गई हैं. अब केंद्र सरकार की अनुमति और प्रधानमंत्री के कार्यक्रम तय होने के बाद समारोह का आयोजन किया जाना है. नवरात्र को भी शुभ कार्य की शुरुआत के लिए बेहद शुभ माने जाते हैं. ऐसे में इसी समय शिलान्यास की उम्मीद जताई जा रही है. जेवर एयरपोर्ट दुनिया की बेहतरीन और नवीन तकनीक से बनेगा. यहां सारी सुविधाएं डिजिटल होंगी. इस एयरपोर्ट पर यात्रियों को उनकी जरूरत के हिसाब से सुविधाएं दी जाएंगी. एयरपोर्ट अपनी श्रेणी में पहला नेट जीरो एमीशन एयरपोर्ट होगा.
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जेवर में एयरपोर्ट के लिए 6 गांवों के 5926 किसानों की जमीन का अधिग्रहण किया गया है. इन गांवों में रन्हेरा, रोही, पारोही, बनवारीवास, किशोरपुर, दयानतपुर गांव शामिल है. करीब 1 हजार 339 हेक्टेयर में बनाए जाने वाले इस एयरपोर्ट पर करीब 29 हजार 500 करोड़ रुपये की लागत आएगी. भारत का यह एक अनोखा एयरपोर्ट भी माना जाएगा.
जेवर एयरपोर्ट में आने वाले गांवों को भी विस्थापित किया जा चुका है. रोही गांव को विस्थापित कर दूसरी जगह बसा दिया गया है. इसके अलावा प्राचीन मंदिरों को भी विस्थापित किया जा रहा है. यह जमीन जेवर एयरपोर्ट के लिए अधिग्रहित थी. अब पूजा-अर्चना के बाद हनुमान जी की मूर्ति की स्थापना बनवारी बाग गांव में की जाएगी