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योगी के मंत्री का अपनी ही सरकार पर हमला, कहा- आबकारी विभाग को सरकार तवज्जो नहीं देती

जय प्रताप सिंह ने कहा कि अभी मद्य निषेध विभाग का इंपैक्ट बड़े स्तर पर नहीं हो पा रहा. उन्होंने बातों-बातों में ये भी कहा कि इस विभाग के पास कर्मचारियों की कमी है.

योगी के मंत्री ने अपनी ही सरकार को घेरा
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Published : Jun 26, 2019, 3:08 PM IST

Updated : Jun 26, 2019, 5:05 PM IST

नई दिल्ली/गाजियाबाद: राष्ट्रीय मादक एवं मद्य निषेध दिवस के मौके पर गाजियाबाद के राजनगर इलाके में संगोष्ठी का आयोजन किया गया. जहां मुख्य अतिथि के रूप में प्रदेश सरकार के मादक एवं मद्य निषेध विभाग के मंत्री जय प्रताप सिंह मौजूद रहे.

'मद्य निषेध विभाग महज औपचारिकता'
इस दौरान मीडिया से बात करते हुए मंत्री जय प्रताप सिंह ने कहा कि बजटीय व्यवस्था के अंतर्गत मद्य निषेध विभाग महज औपचारिकता बनकर रह गया है.

योगी के मंत्री ने अपनी ही सरकार को घेरा

मैंने खुद इस सम्बंध में मुख्यमंत्री से बात की है कि इस विभाग का बजट बढ़ाया जाए. ताकि गांवों में मद्य निषेध का प्रचार-प्रसार शुरू किया जा सके.

जय प्रताप सिंह ने कहा कि अभी मद्य निषेध विभाग का इंपैक्ट बड़े स्तर पर नहीं हो पा रहा. उन्होंने बातों-बातों में ये भी कहा कि इस विभाग के पास कर्मचारियों की कमी है. साथ ही कई जगहों पर इस विभाग का अपना ऑफिस भी नहीं है. सरकार में इस विभाग के प्रति इच्छाशक्ति की कमी है.

'कानून में किए बदलाव'
जहरीली शराब से हो रही मौतों पर मंत्री ने कहा कि आबकारी कानून की कई धाराओं में बदलाव किए गए हैं. अब जहरीली शराब बेचने वालों को उम्र कैद से लेकर मृत्यु तक की सजा का प्रावधान किया गया है. ज़हरीली शराब को बिकने से रोकने के लिए टीमों का भी गठन किया गया है. जो क्षेत्रों में घूम-घूम कर जहरीली शराब को को नष्ट कर रहे हैं.

नई दिल्ली/गाजियाबाद: राष्ट्रीय मादक एवं मद्य निषेध दिवस के मौके पर गाजियाबाद के राजनगर इलाके में संगोष्ठी का आयोजन किया गया. जहां मुख्य अतिथि के रूप में प्रदेश सरकार के मादक एवं मद्य निषेध विभाग के मंत्री जय प्रताप सिंह मौजूद रहे.

'मद्य निषेध विभाग महज औपचारिकता'
इस दौरान मीडिया से बात करते हुए मंत्री जय प्रताप सिंह ने कहा कि बजटीय व्यवस्था के अंतर्गत मद्य निषेध विभाग महज औपचारिकता बनकर रह गया है.

योगी के मंत्री ने अपनी ही सरकार को घेरा

मैंने खुद इस सम्बंध में मुख्यमंत्री से बात की है कि इस विभाग का बजट बढ़ाया जाए. ताकि गांवों में मद्य निषेध का प्रचार-प्रसार शुरू किया जा सके.

जय प्रताप सिंह ने कहा कि अभी मद्य निषेध विभाग का इंपैक्ट बड़े स्तर पर नहीं हो पा रहा. उन्होंने बातों-बातों में ये भी कहा कि इस विभाग के पास कर्मचारियों की कमी है. साथ ही कई जगहों पर इस विभाग का अपना ऑफिस भी नहीं है. सरकार में इस विभाग के प्रति इच्छाशक्ति की कमी है.

'कानून में किए बदलाव'
जहरीली शराब से हो रही मौतों पर मंत्री ने कहा कि आबकारी कानून की कई धाराओं में बदलाव किए गए हैं. अब जहरीली शराब बेचने वालों को उम्र कैद से लेकर मृत्यु तक की सजा का प्रावधान किया गया है. ज़हरीली शराब को बिकने से रोकने के लिए टीमों का भी गठन किया गया है. जो क्षेत्रों में घूम-घूम कर जहरीली शराब को को नष्ट कर रहे हैं.

Intro:गाजियाबाद : राष्ट्रीय मादक एवं मद्य निषेध दिवस के अवसर पर गाजियाबाद के राजनगर इलाके में आज एक संगोष्ठी का आयोजन किया गया. जहां मुख्य अतिथि के रूप में प्रदेश सरकार के मादक एवं मद्य निषेध विभाग के मंत्री जय प्रताप सिंह मौजूद रहे.


Body:इस दौरान मीडिया से बात करते हुए मंत्री जय प्रताप सिंह ने कहा कि बजटीय व्यवस्था के अंतर्गत मद्य निषेध विभाग महज औपचारिकता बनकर रह गया है. मैंने खुद इस सम्बंध में मुख्यमंत्री से बात की है कि इस विभाग का बजट बढ़ाया जाए. ताकि गांवों में मद्य निषेध का प्रचार प्रसार शुरू किया जा सके.उन्होंने कहा कि अभी मद्य निषेध विभाग का इंपैक्ट बड़े स्तर पर नही हो पा रहा. उन्होंने बातों-बातों में यह भी कहा कि इस विभाग के पास कर्मचारियों की कमी है. साथ ही कई जगहों पर इस विभाग का अपना ऑफिस भी नहीं है. सरकार की इस विभाग के प्रति इच्छाशक्ति की कमी है

जहरीली शराब से हो रही मौत पर मंत्री ने कहा कि अबकारी कानून के कई धाराओं में बदलाव किए गए हैं. अब जहरीली शराब बेचने वालों को उम्र कैद से लेकर मृत्यु तक की सजा का प्रावधान किया गया है. ज़हरीली शराब को बिकने से रोकने के लिए टीमों का भी गठन किया गया है. जो क्षेत्रों में घूम-घूम कर जहरीली शराब को को नष्ट कर रहे हैं.


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Last Updated : Jun 26, 2019, 5:05 PM IST
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