नई दिल्ली/पलवलः पिछले लंबे समय से जिले के लोगों को मुख्यमंत्री विवाह शगुन योजना का कोई लाभ नहीं मिल पा रहा है. आवेदनकर्ता विभाग के चक्कर लगा-लगाकर थक चुके हैं, लेकिन उनकी कोई सुनने वाला नहीं है.
पलवल जिले के 813 आवेदनकर्ताओं का मुख्यमंत्री शगुन योजना का दो करोड़ 88 लाख रुपये पेंडिंग हैं. आवेदनकर्ताओं का कहना है कि विभाग से पैसे न मिलने के चलते उन्हें कर्जदाताओं की और से परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है.
6 महीने से काट रहे हैं चक्कर
पलवल के भिडूकी गांव निवासी वासुदेव ने बताया कि उन्होंने फरवरी महीने में अपनी दो बहनों की शादी के बाद मुख्यमंत्री शगुन राशि लेने के लिए वर्ष 2020 में फार्म भरा था, लेकिन करीब 6 महीने से भी ज्यादा समय बीतने के बाद उन्हें अभी शगुन योजना की राशि नहीं मिली.
उन्होंने अपनी बहनों की शादी में कर्ज पर पैसा लेकर शादी की थी. अब जिनसे पैसे लिए थे वो अपने पैसे मांग रहे हैं और बार-बार चक्कर काटने के बाद भी उन्हें विभाग से राशि नहीं मिल रही.
लोग काट रहे दफ्तरों के चक्कर
वहीं होडल निवासी सुभाष ने बताया कि गत 29 जून को उन्होंने अपनी बेटी की शादी कर मुख्यमंत्री विवाह शगुन योजना का लाभ लेने के लिए फार्म भरा था, लेकिन अभी तक उन्हें योजना का लाभ नहीं मिला.
जब भी वो विभाग के कार्यालय आते है उन्हें कोई न कोई बहाना बनाकर दिया जाता है. इंद्र ने अपनी बेटी की शादी 10 फरवरी को की थी और उसके बाद मुख्यमंत्री विवाह शगुन योजना के लिए फार्म भरा था, लेकिन इतने दिन बीतने के बाद भी उन्हें एक पैसा मिला. उन्होंने बताया कि बार बार दफ्तर के चक्कर काटकर वो परेशान है और यहां उनकी कोई सुनने वाला नहीं है.
क्या कहते हैं अधिकारी?
वहीं इस बारे में जब जिला कल्याण अधिकारी जगदेव सिंह से बात की गई तो उन्होंने बताया कि पलवल जिले के 813 आवेदनकर्ताओं के दो करोड़ 88 लाख रुपये पेंडिंग हैं. उन्होंने बताया कि रूका हुआ पैसा एफडी से पास नहीं हुआ जिसकी वजह से लोगों को परेशानी हो रही है. इस बारे में विभाग के उच्चधिकारिओं को भी अवगत कराया है. कभी भी समस्या का समाधान हो सकता है.
क्या है योजना?
हरियाणा सरकार ने आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग की लड़कियों के लिए मुख्यमंत्री विवाह शगुन योजना शुरू की थी. इस योजना के तहत लड़कियों की शादी के लिए 11,000 से लेकर 51,000 रुपये की धनराशि शगुन के तौर पर दी जाती है. अनुसूचित जाति और पिछड़े वर्ग की लड़कियों को भी इस योजना का लाभ मिलता है.