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रेजरपे, कैशफ्री को RBI से मिली मंजूरी, जानें क्या होगा फायदा

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By ETV Bharat Hindi Team

Published : Dec 20, 2023, 9:44 AM IST

Razorpay, Cashfree receive final RBI nod for payment- डिजिटल पेमेंट कंपनी रेजरपे और कैशफ्री पेमेंट्स को भुगतान एग्रीगेटर्स के रूप में काम करने के लिए भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) से अंतिम मंजूरी मिल गई है. पढ़ें पूरी खबर...

RBI
भारतीय रिजर्व बैंक

नई दिल्ली: डिजिटल पेमेंट कंपनी रेजरपे और कैशफ्री पेमेंट्स को भुगतान एग्रीगेटर्स के रूप में काम करने के लिए भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) से अंतिम मंजूरी मिल गई है. इसमें फिनटेक लगभग एक साल पुराने नियामक प्रतिबंध के बाद नए व्यापारियों को शामिल करने में सक्षम हो जाएंगे. कंपनियों ने कहा कि उन्होंने मंगलवार को नियामक से पेमेंट एग्रीगेटर (पीए) लाइसेंस हासिल कर लिया है. कंपनी ने बताया कि नए व्यापारियों को अपने साथ जोड़ने पर लगा प्रतिबंध आज हटा लिया गया है. कैशफ्री पेमेंट्स के प्रवक्ता ने मीडिया को बताया कि कंपनी को आरबीआई से पेमेंट एग्रीगेटर (पीए) लाइसेंस मिल गया है। अब यह अपने पेमेंट गेटवे पर नए व्यापारियों को जोड़ेगा. कंपनी को आरबीआई से पेमेंट एग्रीगेटर (पीए) लाइसेंस मिल गया है. अब यह अपने पेमेंट गेटवे पर नए व्यापारियों को जोड़ेगा.

आरबीआई ने नए व्यापारियों को जोड़ने पर लगाई थी रोक
पिछले साल दिसंबर में आरबीआई ने रेजरपे और कैशफ्री को नए व्यापारियों को अपने साथ जोड़ना बंद करने को कहा था. रेजरपे को भुगतान निपटान अधिनियम, 2007 के तहत भुगतान एग्रीगेटर के रूप में काम करने के लिए भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) से अंतिम प्राधिकरण प्राप्त हुआ है. रेजरपे के प्रवक्ता ने कहा कि नया पीए लाइसेंस प्राप्त करने के बाद, अब हम नए ग्राहकों को जोड़ना फिर से शुरू करते हैं और उन्हें अपने साथ सेवा देने के लिए प्रतिबद्ध हैं. बता दें कि PayU, Paytm, JusPay जैसे अन्य खिलाड़ियों को अभी तक नए व्यापारियों को शामिल करने के लिए नियामक से मंजूरी नहीं मिली है.

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नई दिल्ली: डिजिटल पेमेंट कंपनी रेजरपे और कैशफ्री पेमेंट्स को भुगतान एग्रीगेटर्स के रूप में काम करने के लिए भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) से अंतिम मंजूरी मिल गई है. इसमें फिनटेक लगभग एक साल पुराने नियामक प्रतिबंध के बाद नए व्यापारियों को शामिल करने में सक्षम हो जाएंगे. कंपनियों ने कहा कि उन्होंने मंगलवार को नियामक से पेमेंट एग्रीगेटर (पीए) लाइसेंस हासिल कर लिया है. कंपनी ने बताया कि नए व्यापारियों को अपने साथ जोड़ने पर लगा प्रतिबंध आज हटा लिया गया है. कैशफ्री पेमेंट्स के प्रवक्ता ने मीडिया को बताया कि कंपनी को आरबीआई से पेमेंट एग्रीगेटर (पीए) लाइसेंस मिल गया है। अब यह अपने पेमेंट गेटवे पर नए व्यापारियों को जोड़ेगा. कंपनी को आरबीआई से पेमेंट एग्रीगेटर (पीए) लाइसेंस मिल गया है. अब यह अपने पेमेंट गेटवे पर नए व्यापारियों को जोड़ेगा.

आरबीआई ने नए व्यापारियों को जोड़ने पर लगाई थी रोक
पिछले साल दिसंबर में आरबीआई ने रेजरपे और कैशफ्री को नए व्यापारियों को अपने साथ जोड़ना बंद करने को कहा था. रेजरपे को भुगतान निपटान अधिनियम, 2007 के तहत भुगतान एग्रीगेटर के रूप में काम करने के लिए भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) से अंतिम प्राधिकरण प्राप्त हुआ है. रेजरपे के प्रवक्ता ने कहा कि नया पीए लाइसेंस प्राप्त करने के बाद, अब हम नए ग्राहकों को जोड़ना फिर से शुरू करते हैं और उन्हें अपने साथ सेवा देने के लिए प्रतिबद्ध हैं. बता दें कि PayU, Paytm, JusPay जैसे अन्य खिलाड़ियों को अभी तक नए व्यापारियों को शामिल करने के लिए नियामक से मंजूरी नहीं मिली है.

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