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बिजली खपत में वृद्धि नवंबर में धीमी होकर 4.7 प्रतिशत रही

बिजली मंत्रालय के आंकड़ों के अनुसार इस साल सितंबर महीने में बिजली खपत सकारात्मक दायरे में आयी और अक्टूबर में इसमें दहाई अंक में वृद्धि हुई. इस साल सितंबर में बिजली खपत 4.4 प्रतिशत बढ़कर 112.24 अरब यूनिट रही जबकि पिछले साल इसी महीने में खपत 107.51 अरब यूनिट थी.

बिजली खपत में वृद्धि नवंबर में धीमी होकर 4.7 प्रतिशत रही
बिजली खपत में वृद्धि नवंबर में धीमी होकर 4.7 प्रतिशत रही
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Published : Dec 1, 2020, 5:07 PM IST

नई दिल्ली: भारत में खासकर उत्तरी भागों में सर्दी जल्द शुरू होने के बीच बिजली खपत की वृद्धि दर नवंबर महीने में धीमी होकर 4.7 प्रतिशत रही. इस दौरान कुल खपत 98.37 अरब यूनिट दर्ज की गयी. सरकारी आंकड़े के अनुसार पिछले साल नवंबर में बिजली खपत 93.99 अरब यूनिट थी.

बिजली मंत्रालय के आंकड़ों के अनुसार इस साल सितंबर महीने में बिजली खपत सकारात्मक दायरे में आयी और अक्टूबर में इसमें दहाई अंक में वृद्धि हुई. इस साल सितंबर में बिजली खपत 4.4 प्रतिशत बढ़कर 112.24 अरब यूनिट रही जबकि पिछले साल इसी महीने में खपत 107.51 अरब यूनिट थी.

अक्टूबर में 12 फीसदी बढ़ी खपत

आंकड़ों के अनुसार देश में बिजली खपत इस साल अक्टूबर महीने में करीब 12 प्रतिशत की वृद्धि के साथ 109.53 अरब यूनिट रही थी जबकि पिछले साल इसी महीने में यह 97.84 अरब यूनिट थी.

विशेषज्ञों के अनुसार खासकर देश के उत्तरी भागों में ठंड जल्दी पड़ने से बिजली खपत पर असर पड़ा है. लॉकडाउन से जुड़ी पाबंदियों में ढील देने से आर्थिक गतिविधियां लगभग सामान्य स्तर पर आ गयी हैं. आने वाले महीनों में बिजली उपभोग में वृद्धि बनी रहने की उम्मीद है.

मौसम विभाग के अनुसार दिल्ली में नवंबर महीना पिछले 71 साल में सबसे सर्द रहा है. देश के अन्य भागों में भी पारा लुढ़का है.

सरकार ने कोविड-19 महामारी की रोकथाम के लिये 25 मार्च से देशव्यापी लॉकडाउन लगाये जाने की घोषणा की थी. उस समय से आर्थिक गतिविधियां लगभग ठप होने से बिजली खपत में गिरावट शुरू हुई.

कोरोना के प्रभाव से गिरी थी बिजली की खपत

कोविड-19 के कारण मार्च से अगस्त तक बिजली की खपत पर असर पड़ा. सालाना आधार पर बिजली खपत में इस साल मार्च में 8.7 प्रतिशत, अप्रैल 23.2 प्रतिशत, मई में 14.9 प्रतिशत, जून में 10.9 प्रतिशत, जुलाई में 3.7 प्रतिशत और अगस्त में 1.7 प्रतिशत की गिरावट आयी.

वहीं इस साल फरवरी में बिजली खपत में 11.73 प्रतिशत की वृद्धि हुई थी. इस बीच, नवंबर में बिजली की अधिकतम मांग यानी एक दिन में बिजली की अधिकतम आपूर्ति नवंबर में 1,60,770 मेगावॉट दर्ज की गयी जो पिछले साल इसी महीने में 1,55,320 मेगावॉट के मुकाबले 3.5 प्रतिशत अधिक है.

आंकड़ों के अनुसार अक्टूबर महीने में बिजली की अधिकतम मांग 1,70,040 मेगावॉट रही जो एक साल पहले 2019 के इसी महीने में 1,64,250 मेगावॉट के मुकाबले 3.5 प्रतिशत अधिक है.

(पीटीआई-भाषा)

ये भी पढ़ें: नवंबर में जीएसटी संग्रह 1.04 लाख करोड़ रुपये रहा, अक्ट्रबर की तुलना में मामूली गिरावट

नई दिल्ली: भारत में खासकर उत्तरी भागों में सर्दी जल्द शुरू होने के बीच बिजली खपत की वृद्धि दर नवंबर महीने में धीमी होकर 4.7 प्रतिशत रही. इस दौरान कुल खपत 98.37 अरब यूनिट दर्ज की गयी. सरकारी आंकड़े के अनुसार पिछले साल नवंबर में बिजली खपत 93.99 अरब यूनिट थी.

बिजली मंत्रालय के आंकड़ों के अनुसार इस साल सितंबर महीने में बिजली खपत सकारात्मक दायरे में आयी और अक्टूबर में इसमें दहाई अंक में वृद्धि हुई. इस साल सितंबर में बिजली खपत 4.4 प्रतिशत बढ़कर 112.24 अरब यूनिट रही जबकि पिछले साल इसी महीने में खपत 107.51 अरब यूनिट थी.

अक्टूबर में 12 फीसदी बढ़ी खपत

आंकड़ों के अनुसार देश में बिजली खपत इस साल अक्टूबर महीने में करीब 12 प्रतिशत की वृद्धि के साथ 109.53 अरब यूनिट रही थी जबकि पिछले साल इसी महीने में यह 97.84 अरब यूनिट थी.

विशेषज्ञों के अनुसार खासकर देश के उत्तरी भागों में ठंड जल्दी पड़ने से बिजली खपत पर असर पड़ा है. लॉकडाउन से जुड़ी पाबंदियों में ढील देने से आर्थिक गतिविधियां लगभग सामान्य स्तर पर आ गयी हैं. आने वाले महीनों में बिजली उपभोग में वृद्धि बनी रहने की उम्मीद है.

मौसम विभाग के अनुसार दिल्ली में नवंबर महीना पिछले 71 साल में सबसे सर्द रहा है. देश के अन्य भागों में भी पारा लुढ़का है.

सरकार ने कोविड-19 महामारी की रोकथाम के लिये 25 मार्च से देशव्यापी लॉकडाउन लगाये जाने की घोषणा की थी. उस समय से आर्थिक गतिविधियां लगभग ठप होने से बिजली खपत में गिरावट शुरू हुई.

कोरोना के प्रभाव से गिरी थी बिजली की खपत

कोविड-19 के कारण मार्च से अगस्त तक बिजली की खपत पर असर पड़ा. सालाना आधार पर बिजली खपत में इस साल मार्च में 8.7 प्रतिशत, अप्रैल 23.2 प्रतिशत, मई में 14.9 प्रतिशत, जून में 10.9 प्रतिशत, जुलाई में 3.7 प्रतिशत और अगस्त में 1.7 प्रतिशत की गिरावट आयी.

वहीं इस साल फरवरी में बिजली खपत में 11.73 प्रतिशत की वृद्धि हुई थी. इस बीच, नवंबर में बिजली की अधिकतम मांग यानी एक दिन में बिजली की अधिकतम आपूर्ति नवंबर में 1,60,770 मेगावॉट दर्ज की गयी जो पिछले साल इसी महीने में 1,55,320 मेगावॉट के मुकाबले 3.5 प्रतिशत अधिक है.

आंकड़ों के अनुसार अक्टूबर महीने में बिजली की अधिकतम मांग 1,70,040 मेगावॉट रही जो एक साल पहले 2019 के इसी महीने में 1,64,250 मेगावॉट के मुकाबले 3.5 प्रतिशत अधिक है.

(पीटीआई-भाषा)

ये भी पढ़ें: नवंबर में जीएसटी संग्रह 1.04 लाख करोड़ रुपये रहा, अक्ट्रबर की तुलना में मामूली गिरावट

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