ETV Bharat / business

आयकर रिटर्न दाखिल करने से पहले चुकाना होगा बढ़ा हुआ बकाया अधिभार: सीबीडीटी - बिजनेस न्यूज

विभाग ने स्पष्ट किया है चूंकि संबंधित वित्त वर्ष का बजट जुलाई में पेश किया गया था. इसमें अधिभार की बढ़ी दरें वर्ष के शुरू से लागू मानी गयी थी इस लिए कर दाताओं के इस बकाए पर ब्याज नहीं लगाया जाएगा. लेकिन ब्याज छूट के लिए शर्त यह है कि करदाता ने पुरानी दर पर टीडीएस/टीसीएस सही काटा हो और उसे सही समय के अंदर जमा करा दिया हो.

आयकर रिटर्न दाखिल करने से पहले चुकाना होगा बढ़ा हुआ बकाया अधिभार: सीबीडीटी
आयकर रिटर्न दाखिल करने से पहले चुकाना होगा बढ़ा हुआ बकाया अधिभार: सीबीडीटी
author img

By

Published : Apr 15, 2020, 2:58 PM IST

नई दिल्ली: आयकर विभाग ने कहा है कि दो करोड़ रुपये या उससे अधिक की वार्षिक आय वाले करदाताओं को इस बार अपना आयकर विवरण जमा कराने से पहले वित्तीय वर्ष 2019-20 के बढ़े हुये अधिभार के मुताबिक बकाया कर जमा कराना होगा.

यह आदेश उन लोगों के लिए है जिन्होंने 2019-20 में आय के स्रोत पर कर की कटौती (टीडीएस) की गणना करते समय बढ़े हुये अधिभार के मुताबिक कर नहीं चुकाया है.

ये भी पढ़ें-चार मई से चरणबद्ध तरीके से शुरू करेंगे उड़ानें: इंडिगो

विभाग ने स्पष्ट किया है चूंकि संबंधित वित्त वर्ष का बजट जुलाई में पेश किया गया था. इसमें अधिभार की बढ़ी दरें वर्ष के शुरू से लागू मानी गयी थी इस लिए कर दाताओं के इस बकाए पर ब्याज नहीं लगाया जाएगा. लेकिन ब्याज छूट के लिए शर्त यह है कि करदाता ने पुरानी दर पर टीडीएस/टीसीएस सही काटा हो और उसे सही समय के अंदर जमा करा दिया हो.

वर्ष 2019-20 का बजट पांच जुलाई को प्रस्तुत किया गया था. उसमें दो से पांच करोड़ रुपये के बीच की आय वालों के लिए कर अधिभार बढ़ा कर 25 प्रतिशत कर दिया गया. इसी तरह पांच करोड़ रुपये से ऊपर की आय वालों पर अधिभार की दर 37 प्रतिशत कर दी गयी थी.

पहले अधिभार की दर 15 प्रतिशत थी और बढ़ी दरों को पहली अप्रैल 2019 से लागू माना गया है.

वर्ष 2019 में मई में मोदी सरकार के दूसरी बार सत्ता संभालने के बाद जुलाई में पूर्ण बजट पेश किया गया. वित्त विधेयक जुलाई में पारित हुआ. इससे पहले फरवरी में आम चुनाव से पहले अंतरिम बजट पेश किया गया था.

केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (सीबीडीटी) ने एक स्पष्टीकरण में कहा है कि उसे ऐसे कई मामले नजर में आए हैं जहां करदाताओं ने 1 अप्रैल से 4 जुलाई 2019 के बीच के लेनदेन पर टीडीएस/ टीसीएस (स्रोत पर कर संग्रह) की कटौती अधिभार की बढ़ी हुई दर से नहीं की है. इस लिए उन्होंने चूक की है.

बहरहाल विभाग ने उनकी कठिनाई को दूर करने के लिये कुछ राहत दी है जिसमें उन्हें डिफाल्ट नहीं माना जायेगा और ब्याज भी नहीं लिया जायेगा. बशर्ते कि ऐसे करदाता तय शर्तो के अनुरूप बकाया कर रिटर्न दाखिल करने से पहले चुका दें.

(पीटीआई-भाषा)

नई दिल्ली: आयकर विभाग ने कहा है कि दो करोड़ रुपये या उससे अधिक की वार्षिक आय वाले करदाताओं को इस बार अपना आयकर विवरण जमा कराने से पहले वित्तीय वर्ष 2019-20 के बढ़े हुये अधिभार के मुताबिक बकाया कर जमा कराना होगा.

यह आदेश उन लोगों के लिए है जिन्होंने 2019-20 में आय के स्रोत पर कर की कटौती (टीडीएस) की गणना करते समय बढ़े हुये अधिभार के मुताबिक कर नहीं चुकाया है.

ये भी पढ़ें-चार मई से चरणबद्ध तरीके से शुरू करेंगे उड़ानें: इंडिगो

विभाग ने स्पष्ट किया है चूंकि संबंधित वित्त वर्ष का बजट जुलाई में पेश किया गया था. इसमें अधिभार की बढ़ी दरें वर्ष के शुरू से लागू मानी गयी थी इस लिए कर दाताओं के इस बकाए पर ब्याज नहीं लगाया जाएगा. लेकिन ब्याज छूट के लिए शर्त यह है कि करदाता ने पुरानी दर पर टीडीएस/टीसीएस सही काटा हो और उसे सही समय के अंदर जमा करा दिया हो.

वर्ष 2019-20 का बजट पांच जुलाई को प्रस्तुत किया गया था. उसमें दो से पांच करोड़ रुपये के बीच की आय वालों के लिए कर अधिभार बढ़ा कर 25 प्रतिशत कर दिया गया. इसी तरह पांच करोड़ रुपये से ऊपर की आय वालों पर अधिभार की दर 37 प्रतिशत कर दी गयी थी.

पहले अधिभार की दर 15 प्रतिशत थी और बढ़ी दरों को पहली अप्रैल 2019 से लागू माना गया है.

वर्ष 2019 में मई में मोदी सरकार के दूसरी बार सत्ता संभालने के बाद जुलाई में पूर्ण बजट पेश किया गया. वित्त विधेयक जुलाई में पारित हुआ. इससे पहले फरवरी में आम चुनाव से पहले अंतरिम बजट पेश किया गया था.

केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (सीबीडीटी) ने एक स्पष्टीकरण में कहा है कि उसे ऐसे कई मामले नजर में आए हैं जहां करदाताओं ने 1 अप्रैल से 4 जुलाई 2019 के बीच के लेनदेन पर टीडीएस/ टीसीएस (स्रोत पर कर संग्रह) की कटौती अधिभार की बढ़ी हुई दर से नहीं की है. इस लिए उन्होंने चूक की है.

बहरहाल विभाग ने उनकी कठिनाई को दूर करने के लिये कुछ राहत दी है जिसमें उन्हें डिफाल्ट नहीं माना जायेगा और ब्याज भी नहीं लिया जायेगा. बशर्ते कि ऐसे करदाता तय शर्तो के अनुरूप बकाया कर रिटर्न दाखिल करने से पहले चुका दें.

(पीटीआई-भाषा)

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.